कुलभूषण जाधव के रिहाई के लिए सरकार से ज़ोरदार प्रयत्न- रक्षामंत्री निर्मला सीतारामन

अहमदाबाद: कुलभूषण जाधव को अपने मातृभूमि में लाने के लिए सरकार सभी प्रकार के प्रयत्न कर रही है।हालही मे जाधव को उनके पत्नी से मुलाकात करने के लिए अनुमति मिल रही है। यह अच्छी बात होकर उसकी वजह से उनका मनोबल बढ़ेगा, ऐसा विश्वास रक्षामंत्री निर्मला सीतारामन ने व्यक्त किया है। शुक्रवार को पाकिस्तान के विदेश मंत्रालयने कुलभूषण जाधव को उनकी पत्नी से मिलने की अनुमति घोषणा की थी, उसपर रक्षा मंत्री सीतारामन बोल रही थी।

रिहाई

बलूचिस्तान तथा पाकिस्तान के अन्य प्रांतों में रक्तपात का षड्यंत्र रचने का आरोप रखकर पाकिस्तान के लष्करी न्यायालय ने कुलभूषण जाधव को फांसी की सजा सुनाई थी। उसके बाद भारत ने अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में न्याय मांगा था और इसकी वजह से पाकिस्तान को यह सजा रोकनी पड़ी थी। जाधव निर्दोष होकर उनपर लगे आरोप बेबुनियाद होने का भारत का कहना था। तथा अंतराष्ट्रीय नियमों के अनुसार जाधव को वकील की सहायता प्रदान करने का भारत का अधिकार पाकिस्तान ने झुठलाया था। इस पर भी भारत में ध्यान केंद्रित किया था। तथा जाधव को अपने परिवार से मिलने का अधिकार होकर पाकिस्तान से यह मांग अमान्य होने के बाद भारत ने उसपर टीका की थी।

इस संदर्भ में भारत ने किए विनती पाकिस्तान ने ठुकराने के बाद,भारत ने भी पाकिस्तान से आने वाले रोगियों को प्रवेश से इनकार किया था। इसकी वजह से पाकिस्तान के बीमारी से पीड़ित लोग विवश हुए थे। इस बात को कुछ महीने होने के बाद पाकिस्तान की भूमिका में बदलाव आने के बाद दिखाई दे रही है।

शुक्रवार को पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने जाधव को उनके पत्नी से मिलने के अनुमति घोषित की थी। मानवतावादी भूमिका से पाकिस्तान यह अनुमति दे रहा है, ऐसा फैसल ने कहा था। इसपर बोलते हुए रक्षामंत्री निर्मला सीतारामन ने समाधान व्यक्त किया था।

दौरान, जाधव इनका यह मुकदमा अंतरराष्ट्रीय न्यायालय में चल रहा है। सरकार उन्हें मातृभूमि में लाने के लिए सभी तौर पर प्रयत्न कर रही है। दौरान, उन्हें पत्नी से मुलाकात करने का अवसर मिला है और इसकी वजह से उनका मनोबल बढ़ेगा, ऐसा सीतारमन ने कहा है। पाकिस्तान ने घोषित किए इस निर्णय का भारत से स्वागत हुआ है। फिर भी अंतरराष्ट्रीय दबाव की वजह से पाकिस्तान को यह निर्णय लेना पड़ा ऐसा कुछ लोगों का कहना है उसी समय पाकिस्तान फिलहाल भारत के साथ संबंध सुधारने के लिए प्रयत्न कर रहा है और जाधव उनके बारे में पाकिस्तान ने लिया निर्णय उसका भाग हो सकता है।

रक्षामंत्री सीतारामन ने अपने अरुणाचल प्रदेश दौरे पर चीन ने लिए आक्षेप पर भी उत्तर दिया है। अरुणाचल प्रदेश भारत का अविभाज्य भूभाग होकर इसके बारे में दूसरे किसीकी क्या राय है, इसकी हमें परवाह नहीं। हम अरुणाचल प्रदेश को भेंट देते रहेंगे, ऐसा रक्षामंत्री सीतारामन ने कहा है।

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