पाकिस्तान ने भारत पर रखा आरोप अफ़गानिस्तान ने ठुकराया

नई दिल्ली – पाकिस्तान को अस्थिर बनाने के लिए ‘तेहरिक-ए-तालिबान, पाकिस्तान’ (टीटीपी) अफ़गानिस्तान में सक्रिय है और भारत के इशारे पर काम कर रही है, यह आरोप पाकिस्तान ने रखा था। इस पर अफ़गानिस्तान ने पाकिस्तान को आईना दिखाया है। अफ़गानिस्तान सभी आतंकी संगठनों के विरोध में, किसी भी प्रकार का भेदभाव किए बिना कार्रवाई कर रहा है। ‘टीटीपी’ के आतंकी अफ़गानिस्तान की कार्रवाई में मारे गए हैं। इसी दौरान जैश, लश्‍कर जैसे आतंकी संगठनों के विदेशी आतंकी अफ़गानिस्तान में गिरफ्तार हो चुके है, ऐसें सटिक शब्दों में अफ़गानिस्तान के विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान को फटकार लगाई है। साथ ही, भारत अफ़गानिस्तान की ज़मीन का इस्तेमाल पाकिस्तान के विरोध में कर रहा होने के आरोप भी अफ़गानिस्तान के विदेश मंत्रालय ने ठुकराए हैं।

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‘टीटीपी’ भारत के समर्थन से, अफ़गानिस्तान में रहकर पाकिस्तान में हरकतें कर रही हैं, इस बात की पुष्टि संयुक्त राष्ट्रसंघ की ‘एनालिटिकल सपोर्ट ॲण्ड सैंक्शन मॉनिटरींग टीम’ ने की है, यह दावा पाकिस्तान की सरकार ने गुरुवार के दिन किया था। पाकिस्तान को अस्थिर बनाने के लिए ‘टीटीपी’ का इस्तेमाल किया जा रहा होने के आरोप पाकिस्तान ने किए थे। इन आरोपों पर अफ़गानिस्तान ने ही पाकिस्तान को ठेंठ ज़वाब दिया है।

पाकिस्तान ने किए आरोप बेबुनियाद होकर, अफ़गानिस्तान सभी आतंकी संगठनों पर किसी भी प्रकार का भेदभाव किए बिना कार्रवाई कर रहा है। सिर्फ़ ‘टीटीपी’ ही नहीं, बल्कि ‘जैश’ और ‘लश्‍कर-ए-तोयबा’ जैसे संगठनों के विदेशी आतंकियों पर भी अफ़गानिस्तान में कार्रवाई होने की याद अफ़गानिस्तान के विदेश मंत्रालय ने दिलाई। साथ ही, इससे आतंकवादियों के विरोध में लड़ने की अफ़गानिस्तान की प्रबल इच्छाशक्ति भी दिखाई देती है, ऐसा व्यंगात्मक ताना भी अफ़गान सरकार ने पाकिस्तान को मारा है।

करीबन ६.५ हज़ार पाकिस्तानी आतंकी अफ़गानिस्तान में सक्रिय होने की बात संयुक्त राष्ट्रसंघ की एक रिपोर्ट से स्पष्ट हुई है। इनमें ‘जैश’, ‘लश्‍कर’ जैसे पाकिस्तानी संगठनों के आतंकी भी शामिल होने की बात इस रिपोर्ट में दर्ज़ है। पहले ही ‘एफएटीएफ’ की ‘ग्रे लिस्ट’ में शामिल किए गए पाकिस्तान की, इस रिपोर्ट से और भी बेइज्जती हुई थी। कुछ महीनें पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इम्रान खान ने, अपने देश में ४० हज़ार आतंकी थे, इस बात को ज़ाहिर रूप में स्वीकार किया था। इस पर संबंधित रिपोर्ट ने मुहर लगाई होने के दावें विश्‍लेषक कर रहे हैं।

इस पृष्ठभूमि पर, पाकिस्तान ने अफ़गानिस्तान से पाकिस्तानविरोधी गतिविधियाँ शुरू हैं और इसके पीछे भारत है, यह आरोप किया था। लेकिन, अफ़गानिस्तान ने पाकिस्तान को, उनकी ज़मीन से चल रहीं आतंकी हरकतों की याद दिलाई और पाकिस्तान को ही मुँह की खाने पर मज़बूर किया।

इससे पहले भारत के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने भी पाकिस्तान को फटकार लगाई थी। भारत और अफ़गानिस्तान में दरार बनाने में पाकिस्तान कामयाब नहीं होगा। आतंकियों को पनाह और प्रशिक्षण कौन देता है, उन्हें हथियारों की आपूर्ति कौन करता है, इसके बारे में अफ़गान नागरिक और जागतिक समुदाय को सब कुछ ज्ञात हैं, यह बयान अनुराग श्रीवास्तव ने किया था।

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