संयुक्त राष्ट्रसंघ में अफगानिस्तान का पाकिस्तान पर गंभीर आरोप

संयुक्त राष्ट्र, दि. २१: ‘अफगानिस्तान में सीमा पर से निर्यात होनेवाले आतंकवाद की पूछताछ करने के लिए आंतर्राष्ट्रीय एजन्सी की जरूरत है,’ ऐसी माँग करते हुए अफगानिस्तान ने संयुक्त राष्ट्रसंघ में पाकिस्तान के खिलाफ शिक़ायत दर्ज़ की है| ‘आतंकवादियों की सहायता करनेवाले देश द्वारा अलापा जानेवाला ’ना’ का सुर और प्रत्यारोप इन कारणों से इस मसले की ओर जितना चाहिए उतनी मात्रा में दुनिया ग़ौर नहीं करती, ऐसी तकरार संयुक्त राष्ट्र संघ में अफगानिस्तान के राजदूत महमूद सैकाल ने की|

संयुक्त राष्ट्रसंघभारत के संयुक्त राष्ट्रसंघ स्थित राजदूत सय्यद अकबरूद्दीन ने, अफगानिस्तान के पड़ोसी देश से आतंकवाद की निर्यात होती रहने का इल्ज़ाम दो दिन पहले लगाया था| साथ ही, इसके खिलाफ़ आंतर्राष्ट्रीय समुदाय द्वारा सख्त कार्रवाई की जरूरत है, ऐसा अकबरूद्दीन ने कहा था| ‘जो तुम बोओगे, वही उगेगा,’ ऐसा कहकर, ‘कुछ देशों ने आतंकवाद के विनाशकारी पौधें उगाए हैं, इससे आतंकवाद का ही फल मिल रहा है’ इन शब्दों में अकबरुद्दीन ने पाकिस्तान को फटकारा था| इसके बाद अफगानिस्तान के ‘महमूद सैकाल’ ने भी पाकिस्तान की आतंकवादी नीति पर प्रहार किया|

आतंकवाद के आरोपों को हमेशा नकारवाले, साथ ही, प्रत्यारोप कर आरोपों को टालनेवाले देशों की पूछताछ होनी चाहिए और इसके लिए आंतर्राष्ट्रीय एजन्सी चाहिए’ ऐसी माँग सैकाल ने की| इस मामले में, भारत के अमृतसर में हुए ‘हार्ट ऑफ एशिया’ समिट में अफगानिस्तान के राष्ट्राध्यक्ष अश्रफ गनी ने कड़ा रूख अपनाया था, इसकी याद सैकाल ने कराई| सीमापार से निर्यात होनेवाले आतंकवाद का विनाश और घातपाती कारनामों का पर्दाफाश करने के लिये एशियाई स्तर पर एवं आंतर्राष्ट्रीय स्तर पर एजन्सी की जरूरत है, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष गनी ने इस समिट में कहा था|

अफगानिस्तान में सर्दियाँ शुरू हो रही हैं, इस मौसम में तालिबानी आतंकवादी पाकिस्तान में शरण लेते है| यह उनके लिये अगलली तैयारी का समय रहता है| इसी दौरान तालिबानी आतंकवादी, अफगाणी सरकार के साथ शांतिचर्चा के लिए पहल करते हैं| इस तरह से रणनीति का इस्तेमाल कर हमेशा से खूनखराबा करने की तालिबान की योजना रहती है, ऐसी आलोचना सैकाल ने की|

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