अमेरिका के बिना इस्रायल युद्ध में दस मिनिट भी खड़ा नहीं रह सकेगा – ईरान के विदेश मंत्री का दावा

तेहरान -‘गाजा के संघर्ष में अमेरिका ने इस्रायल की सहायजा करना जारी रखा तो इस क्षेत्र में शुरू इस संघर्ष का अधिक विस्तार होगा। लेकिन, यदि अमेरिका ने इस्रायल की सहायता पर रोक लगाई तो १० मिनिट से अधिक इस्रायल खड़ा नहीं रह सकेगा’, ऐसा दावा ईरान के विदेश मंत्री हुसेन अमिर-अब्दोल्लाहियान ने किया है। ईरान के राष्ट्राध्यक्ष इब्राहिम रईसी तुर्की के दौरे पर पहुंचे हैं और उन्होंने तुर्की के राष्ट्राध्यक्ष रेसेप एर्दोगन से मुलाकात की। इस बैठक में दोनों देशों के नेतृत्व ने इस्रायल के खिलाफ हमास को हथियार प्रदान करके तैयार करने करने के संकेत दिए हैं।

अमेरिका के बिना इस्रायल युद्ध में दस मिनिट भी खड़ा नहीं रह सकेगा - ईरान के विदेश मंत्री का दावाअमेरिका ने इस्रायल के लिए नई रक्षा सहायता का ऐलान किया है। अमेरिका के रिपब्लिकन नेता और ज्यूधर्मियों के गुटों की वजह से बायडेन प्रशासन को यह निर्णय करना पड़ा, ऐसा दावा किया जा रहा है। अमेरिका से इस्रायल को प्राप्त हो रही इस सहायता पर ईरान के विदेश मंत्री ने आलोचना की। अमेरिका को आवश्यक है तो वह इस्रायल को छोड़कर अपने खुद के देश की समस्याओं पर ध्यान दे, ऐसी सलाह ईरान के विदेश मंत्री आमीर-अब्दोल्लाहियान ने दी। अमेरिका के समर्थन के बिना इस्रायल १० मिनिट भी खड़ा नहीं रह सकता, ऐसा दावा ईरान के विदेश मंत्री ने किया।

अमेरिका के बिना इस्रायल युद्ध में दस मिनिट भी खड़ा नहीं रह सकेगा - ईरान के विदेश मंत्री का दावाईरान के राष्ट्राध्यक्ष इब्राहिम रईसी फिलहाल तुर्की के दौरे पर है और उन्होंने राष्ट्राध्यक्ष एर्दोगन से मुलाकात की। गाजा का संघर्ष, हमास को हथियारों से तैयार करना और हौथी विद्रोहियों के हमलों के मुद्दे पर प्रमुखता से चर्चा की। गाजा पट्टी, लेबनान और सीरिया में जारी इस्रायल के हमले इन देशों के साथ ही पूरे खाड़ी क्षेत्र के लिए खतरनाक साबित होने का आरोप रईसी-एर्दोगन ने लगाया। साथ ही ईरान और तुर्की की इस्रायली गुप्तचर यंत्रणा ‘मोसाद’ के एजंटस्‌ के मुद्दे पर भी दोनों नेताओं की चर्चा होने का दावा किया जाता है।

इसी बीच, इस्रायल के वित्त मंत्री नीर बरकत ने यह इशारा दिया कि, ईरान इसके आगे इस्रायल के मिसाइल हमलों का वैध लक्ष्य होगा। इस्रायल की सुरक्षा के लिए खतरा बने हमास, येमन के हौथी विद्रोही और लेबनान की हिजबुल्लाह को ईरान सहायता प्रदान कर रहा है, ऐसा आरोप बरकत ने लगाया। इस वजह से आगे के दौर में इस्रायल के विरोध में ईरान एवं ईरान के मित्र देश और उससे जुड़ी आतंकवादी संगठनों के बीछ बड़ा संघर्ष शुरू होने की संभावना जताई जा रही है।

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