मांगे स्वीकारी तो यूक्रेन के साथ शांति वार्ता करने के लिए रशिया तैयारी होगी – ब्रिटेन में नियुक्त रशियन राजदूत का दावा

लंदन/मास्को/किव – नाटो में शामिल ना होने की गवाही और रशिया ने जीत लिए क्षेत्र को स्वीकृति प्रदान की तो यूक्रेन से शांति वार्ता करने के लिए रशिया तैयार होगी, ऐसा बयान ब्रिटेन में रशियन राजदूत ने किया है। साथ ही यूक्रेन ने रशियन भाषा को ‘स्टेट लैन्गवेज’ का दर्जा देकर रशियन भाषिकों से भेद का बर्ताव करना रोकना होगा, यह भी रशिया की प्रमुख मांग है, ऐसा ब्रिटेन में नियुक्त रशिया के राजदूत आंद्रे केलिन ने कहा है। 

शांति वार्तायूक्रेन के साथ शांति वार्ता करने के लिए रशिया तैयार है। लेकिन, इसके लिए तय शर्तों से किसी भी स्थिति में पीछे नहीं हटेगी, ऐसा बयान रशियन राजदूत ने किया है। रशिया कल भी बातचीत करने के लिए तैयार होगी। लेकिन, यूक्रेन के राष्ट्राध्यक्ष ने ही शांति वार्ता पर रोक लगाई है और यही सबसे बड़ा अड़ंगा है, इस ओर रशियन राजदूत आंद्रे केलिन ने ध्यान आकर्षित किया। रशिया के राजदूत शांति वार्ता को लेकर बयान कर रहे थे तभी यूक्रेन के वरिष्ठ सलाहकार ने यह कहा है कि, रशिया के साथ किसी भी तरह का समझौता मुमकिन नहीं है। रशिया के साथ किया समझौता युद्ध के नए चरण को बढ़ावा दे सकता है, ऐसा यूक्रेनी राष्ट्राध्यक्ष के सलाहकार मिखाईल पोडोलिआक ने कहा है।  

शांति वार्तारशिया ने पिछले वर्ष फ़रवरी महीने में यूक्रेन पर हमला किया था। इसके बाद शुरू हुआ रशिया-यूक्रेन युद्ध अब पिछले १५ महीनों से चल रहा हैं और इसमें दोनों में से किसी एक देश को भी निर्णायक सफलता प्राप्त नहीं हुई हैं। साथ ही दोनों देशों के शासक अगले कई महीनों तक युद्ध शुरू रखने की तैयार होने के संकेत दे रहे हैं। इसके बावजूद रशिया और यूक्रेन का समर्थन कर रहे एवं युद्ध का विरोध कर रहे कुछ देश युद्ध विराम और शांति स्थापित करने के लिए जोर दे रहे हैं। इसके लिए विभिन्न स्तरों पर उनकी कोशिश भी जारी है।

चीन ने रशिया-यूक्रेन शांति वार्ता के लिए लि हुई को बतौर विशेष दूत नियुक्त किया है। उन्होंने रशिया और यूक्रेन के साथ यूरोप के प्रमुख देशों का दौरा किया है और संबंधित देशों से बातचीत भी की है। चीन के राष्ट्राध्यक्ष शी जिनपिंग ने यूक्रेन के राष्ट्राध्यक्ष से फोन पर बातचीत करने की बात कही जा रही है। अफ्रीकी देशों ने भी इस बीच यह कहा है कि, हमारा शिष्टमंड़ल रशिया और यूक्रेन का दौरा करके शांति वार्ता से संबंधित चर्चा करेगा। 

इस पृष्ठभूमि के मद्देनज़र रशिया के राजदूत ने किया बयान ध्यान आकर्षित कर रहा हैं। ब्रिटेन की सरकार वृत्तसंस्था को दिए साक्षात्कार में राजदूत केलिन ने सशर्त चर्चा करने की तैयारी दिखाते हुए रशिया की शर्ते भी स्पष्ट की। यूक्रेन के नाटो का हिस्सा होने से रशिया के लिए खतरा बनेगा, ऐसी हरकत ना करने की गवाही दे, यह रशिया की पहली शर्त होने का बयान केलिन ने किया।

साथ ही मौजूदा भू-राजनीतिक स्थिति स्वीकार करके यूक्रेन ने फिलहाल रशिया ने हासिल किए क्षेत्र को स्वीकृति प्रदान करें, यह रशिया की अगली शर्त होने की बात केलिन ने साझा की। यूक्रेन में रशियन नागरिकों से समान बर्ताव हो और रशियन भाषा को ‘स्टेट लैन्ग्वेज’ का स्थान प्राप्त हो, ऐसा रशिया का कहना होने का बयान रशियन राजदूत ने किया।

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