भारत-अफगानिस्तान सहयोग से पाकिस्तान की अस्वस्थता बढ़ी

नई दिल्ली/इस्लामाबाद, दि. १६ (वृत्तसंस्था) – ‘पाकिस्तान में जंग जारी है| लेकिन मिडिया इसकी ख़बरें नहीं दे रही है’, ऐसा कहते हुए इसपर नाराज़गी जतानेवाले अफगानी राष्ट्राध्यक्ष अश्रफ गनी के बयान के बाद पाकिस्तान में एक ही हलचल मची है| पाकिस्तान की मीडिया ने, भारत के बाद अब अफगानिस्तान भी पाकिस्तान के एकसंघता को चुनौती दे रहा है, ऐसा दोषारोपण किया है|

Ashraf-Ghani-.jpg- पाकिस्तान की अस्वस्थता

‘अफगानिस्तान की भूमि का इस्तेमाल पाकिस्तान के हितसंबंधों के खिलाफ़ नहीं होना चाहिए| अगर ऐसा हुआ, तो पाकिस्तान चुप नहीं बैठेगा’, ऐसी धमकी पाकिस्तान के विदेशमंत्रालय ने दी है|

बुधवार को अफगानिस्तान के राष्ट्राध्यक्ष गनी भारत की यात्रा पर आये थे| इस दौरे में दोनों देशों के बीच महत्त्वपूर्ण समझौते संपन्न हुए| अफगानी राष्ट्राध्यक्ष की यात्रा की ओर पाकिस्तान का सारा ध्यान लगा हुआ था| अफगानी सुरक्षाबलों को भारत आधुनिक हथियार की सप्लाई करें, ऐसी माँग लेकर गनी भारत गये है, ऐसी ख़बरें प्रकाशित हुई थीं| इस वजह से चिंताग्रस्त तालिबान ने भी, भारत  को लष्करी हथियारों की सप्लाई ना करें, ऐसा आवाहन किया था| लेकिन भारतयात्रा पर आये राष्ट्राध्यक्ष गनी ने पाकिस्तान की आतंकवादी नीति का कड़े शब्दों में समाचार लिया| पाकिस्तान में फ़िलहाल जंग जारी है, लेकिन मीडिया इसकी दखल नहीं ले रही है| पाकिस्तान में जारी जंग की जिस तरह दख़ल लेनी चाहिए, उतनी नहीं ली जा रही है, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष गनी ने कहा|

‘ख़ैबर पख़्तुनवाला और बलुचिस्तान इन प्रांतों में पाकिस्तान के लगभग २ लाख ७ हजार सैनिक तैनात हैं| इन इलाकों में जारी ज़ुल्मों के लिए आवाज़ उठाने की ज़रूरत है और इस संदर्भ में मीडिया अपनी ज़िम्मेदारी नहीं उठा रही है’ ऐसा राष्ट्राध्यक्ष गनी ने अपनी भारतयात्रा के दौरान कहा| साथ ही, पाकिस्तान बल का प्रयोग करते हुए अपनी जनता को एकसाथ रखने का प्रयास कर रहा है, ऐसे संकेत देकर गनी ने, ‘बल का प्रयोग करते हुए एकता नहीं रखी जा सकती’ ऐसी आलोचना की है| इसी समय, धर्म का आधार लेकर आतंकवाद फैलानेवाली पाकिस्तान की नीति पर भी राष्ट्राध्यक्ष गनी ने ऐतराज़ जताया है|

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राष्ट्राध्यक्ष गनी ने भारत यात्रा के वक्त अपनाई हुई इस आक्रमक भूमिका की गूँजें पाकिस्तान से सुनायी देने लगी हैं| गनी भारत के सूर में सूर मिलाकर पाकिस्तान को निशाना बना रहे है, ऐसा दावा पाकिस्तान की मीडिया कर रही है| भारत और अफगानिस्तान मिलकर पाकिस्तान को घेरने की कोशिश कर रहे हैं, ऐसा दिखाई दे रहा है, ऐसी चिंता पाकिस्तान की मीडिया जता रही है| कुछ दिन पहले, भारत के साथ अफगानिस्तान की व्यापारी यातायात रोकनेवाले पाकिस्तान को गनी ने स्पष्ट शब्दों में चेतावनी दी थी| अगर पाकिस्तान ने, भारत के साथ व्यापार करने के लिए अफगानिस्तान को अपनी भूमि का इस्तेमाल करने नहीं दिया, तो अफगानिस्तान पाकिस्तान का मध्य अफएशियाई देशों के साथ व्यापार बंद कर देगा, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष गनी ने कडे शब्दों में कहा था| इसका भी उदाहरण देते हुए पाकिस्तानी मीडिया, अफगानिस्तान की नीति भारत को अनुकूल है, ऐसी आलोचना कर रही है|

इसी दौरान, पाकिस्तानी विदेशमंत्रालय के प्रवक्ता नफीस झकारिया ने, अफगानिस्तान की भूमि का इस्तेमाल पाकिस्तान के खिलाफ़ नहीं किया जाना चाहिए, ऐसी माँग की है| अगर ऐसा होता है, तो पाकिस्तान भी चुप नहीं बैठेगा| पाकिस्तान को अपनी क्षमता का पूरा एहसास है और पाकिस्तान अपने हितसंबंधो की रक्षा करेगा, ऐसा झकारिया ने कहा है| उसी दौरान, संयुक्त राष्ट्र स्थित पाकिस्तान की राजदूत मलिहा लोधी ने दावा किया है कि अफगानिस्तान ने यदि पाकिस्तान के साथ अपनी सीमा नियंत्रित करने के लिए सहायता की, तो आतंकवाद का मसला हल हो सकता है|

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