इस वर्ष वैश्विक अर्थव्यवस्था के एक तिहाई हिस्से को मंदी का झटका लगेगा – अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष के प्रमुख का इशारा

वॉशिंग्टन – इस वर्ष वैश्विक अर्थव्यवस्था के एक तिहाई हिस्से को आर्थिक मंदी का झटाका लगेगा, ऐसा इशारा अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष की प्रमुख क्रिस्तालिना जॉर्जिवा ने दिया है। पिछले वर्ष की तुलना में यह वर्ष वैश्विक अर्थव्यवस्था के लिए अधिक ऊबडखाबड होगा, ऐसा भी जॉर्जिवा ने आगाह किया। अमेरिका, युरोपिय महासंथ एवं चीन की अर्थव्यवस्थाएं मंद पड जाएंगीं, इस ओर भी मुद्राकोष की प्रमुख ने ध्यान आकर्षित किया। रशिया-युक्रेन युद्ध, चीन में कोरोना का संक्रमण एवं मध्यवर्ति बैंकों द्वारा बढाए जा रहे व्याजदर, यह घटक मंदी के लिए कारण बन रहे हैं, ऐसा भी जॉर्जिवा ने कहा।

पिछले कुछ महीनों से अंतरराष्ट्रीय स्तर के अध्ययन मंडल, वित्तसंस्थाएं, अर्थशास्त्री तथा विश्लेषक निरंतररूप से वैश्विक मंदी के धोखे की ओर ध्यान आकर्षित कर रहे हैं। सन 2019 में आए हुए कोरोना संक्रमण के बाद सन 2020 में विश्व की कई अर्थव्यवस्थाओं को मंदी का सामना करना पडा था। इसके बाद सन 2021 में अर्थव्यवस्था धीरे-धीरे पूर्ववत होने के संकेत मिले थे। पर पिछले वर्ष शुरु हुई रशिया-युक्रेन युद्ध के बाद सारे आर्थिक समीकरण लडखडा गए हैं।

रशिया-युक्रेन युद्ध की वजह से ईंधन के दाम उछले हैं और वैश्विक आपूर्ति की शृंखला डगमगा गई है। इसलिए अधिकांश देशों में महंगाई में उछाल आया है और आम जनता को ‘कॉस्ट ऑफ लिविंग क्रायसिस’ का सामना करना पड रहा है। इसके अलावा, महंगाई कम करने के लिए विश्व के सभी मध्यवर्ती बैंकों ने व्याजदर में बढोतरी करने की नीति अपनाई है। इसका भार अर्थव्यवस्था पर पड रहा है और कई क्षेत्रों की मांग घटती जा रही है।

पिछले महीने से चीन में फिर से कोरोना की नई लहर आई है और लगभग 25 करोड से अधिक मरीज़ पाए गए हैं। चीन की इस नई लहर ने विश्वभर में चिंता का माहौल निर्माण किया है और मुद्राकोष की प्रमुख ने भी इसका ज़िक्र किया है। आनेवाले तीन से छह महीने चीन में कोरोना का संक्रमण फैला हुआ रहेगा, ऐसा इशारा जॉर्जिवा ने दिया है।

‘आनेवाले कुछ महीनो तक चीन में अत्यंत तकलीफदेह दौर होगा। चीन का आर्थिक विकास नकारात्मक रहेगा और इसका विपरीत प्रभाव एशिया खंड और वैश्विक अर्थव्यवस्था पर भी पडेगा’, इस तरह अंतरराष्ट्रीय मुद्राकोष की प्रमुख क्रिस्तालिना जॉर्जिवा ने आगाह किया। पिछले चार दशकों में पहली बार चीन का आर्थिक विकास दर वैश्विक अर्थव्यवस्था के विकासदर से नीचे रहेगा, यह भी जॉर्जिवा ने कहा।

वैश्विक अर्थव्यवस्था के एक तिहाई हिस्से को मंदी का झटका लगेगा एवं जिन देशों मदी में नहीं होगी उन्हें भी इस वातावरण का झटका लग सकता है, ऐसा दावा मुद्राकोष की प्रमुख ने किया। मुद्राकोष की रपट में वैश्विक मंदी की संभावना से इन्कार किया ग्या होगा, पर इसके धोखे से पूरी तरह से इन्कार नहीं किया जा सकता, इस ओर भी उन्होंने ध्यान आकर्षित किया।

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