रशियन ‘एस-४००’ खरीद को लेकर अमरिका ने तुर्की को धमकाया

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरवॉशिंगटन/अंकारा – अमरिका और तुर्की के बीच शुरू रक्षा सहयोग देखा जाए तो तुर्की ने रशिया से ‘एस-४००’ हवाई सुरक्षा यंत्रणा की खरीदी की तो उसका असर द्विपक्षीय सहयोग पर हो सकता है, ऐसी धमकी अमरिकी रक्षा विभाग ने दी है| वही, अमरिका के अंतरिम रक्षा मंत्री पैट शैनाहन इन्होंने यह चेतावनी दी है की, ‘तुर्की ने रशिया की यंत्रणा की खरीद की तो अमरिका तय मर्यादा लांघने के लिए विवश होगी|’

तुर्की ने वर्ष २०१७ में रशिया के साथ ‘एस-४००’ इस प्रगत हवाई सुरक्षा यंत्रणा की खरीद करने के लिए समझौता किया था| यह समझौता लगभग ढाई अरब डॉलर्स का है और तुर्की के राष्ट्राध्यक्ष रेसेप एर्दोगन इन्होंने यह समझौता पूरा होने का वादा किया है| लेकिन, अमरिका और यूरोप की पहल से गठित की गई ‘नाटो’ का सदस्य होने के बावजूद तुर्की ने रशियन यंत्रणा की खरीद करना पश्‍चिमी देशों की नाराजगी का कारण बनी है| पिछले वर्ष में अमरिका और यूरोपीय देशों ने लगातार आलोचना करने पर भी तुर्की ‘एस-४००’ तैनाती पर कायम है और वर्ष २०१९ में यह यंत्रणा तुर्की में दखिल होने के दावे किए जा रहे है|

इस पृष्ठभूमि पर अमरिका ने फिर एक बार तुर्की पर दबाव बनाने की कोशिश शुरू की है| पिछले हफ्ते में अमरिका के अंतरिम रक्षा मंत्री पैट शैनाहन ने ‘एस-४००’ के मुद्दे पर तुर्की को फटकार लगाई थी?इसके लिए शैनाहन इन्होंने लडाकू ‘एफ-३५’ विमानों की परियोजना से तुर्की को बाहर करने की धमकी भी दी थी| ‘एफ-३५’ यह अमरिका से विकसित किया जा रहा ‘फिफ्थ जनरेशन फायटर जेट’ है और इसमें तुर्की के साथ अन्य नाटो देश भी शामिल है|

तुर्की की कुछ कंपनी ‘एफ-३५’ के निर्माण में शामिल है और उसके अलावा तुर्की ने १०० ‘एफ-३५’ खरीदने की तैयारी भी रखी है| लेकिन, ‘एस-४००’ के मुद्दे पर तनाव में बढोतरी हो रही है, ऐसे में अमरिका ने तुर्की को ‘एफ-३५’ देने पर पाबंदी लगाई है| रक्षा मंत्री शैनाहन इन्होंने तुर्की को चेतावनी देते समय ‘एस-४००’ एवं ‘एफ-३५’ यह दोनों चीजें एक समय पर प्राप्त नही हो सकती, ऐसा कहा है| साथ ही अमरिका से ‘पैट्रियॉट’ मिसाइल यंत्रणा की खरीद तुर्की करेगा, इसका ध्यान अमरिका रखेगा, ऐसा भी शैनाहन इन्होंने कहा है|

शैनाहन इनकी इस चेतावनी के साथ ही अमरिकी रक्षा विभाग ने ‘एस-४००’ के मुद्दे पर तुर्की को दुबारा फटकार लगाई है| रशियन यंत्रणा की खरीद अमरिका और तुर्की के रक्षा सहयोग पर गंभीर असर कर सकती है, ऐसा कहकर इस पर हल निकालने के लिए अमरिका तुर्की को सलाह दे सकती है, यह दावा भी उन्होंने किया| लेकिन, ‘एस-४००’ की खरीद के परिणामों का दायरा काफी बडा होगा, इसका एहसास तुर्की रखे, ऐसा रक्षा विभाग के प्रवक्ता एरिक पैहोन ने कहा है|

तुर्की के राष्ट्राध्यक्ष रेसेप एर्दोगन इन्होंने पिछले हफ्ते में ‘एस-४००’ की खरीद पर अमरिका की भूूमिका में बदलाव होगा, यह उम्मीद जताई थी| साथ ही रशियन यंत्रणा की खरीदी तुर्की की सुरक्षा के लिए काफी अहम होने का दावा करके अमरिका के दबाव के सामने झुकने से उन्होंने इन्कार भी किया था|

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