आर्सेलर मित्तल समूह ओडिशा में दो हज़ार करोड़ रुपयों का निवेश करेगा

Arcellar-Mittalभुवनेश्वर – दुनिया की सबसे बड़ी इस्पात उत्पाद कंपनी ‘आर्सेलर मित्तल’ समूह ने ओडिशा में २ हज़ार करोड़ रुपयों का निवेश करने की योजना बनायी है। ओडिशा में निवेश करने के संदर्भ में, ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के साथ व्हिडिओ कॉन्फरन्सिंग के ज़रिये चर्चा की, ऐसा कंपनी के अध्यक्ष और मुख्य कार्यकारी अधिकारी एलएन मित्तल ने कहा। विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने हेतु केंद्र सरकार द्वारा प्रयास किये जा रहे हैं; और ऐसे में आर्सेलर मित्तल समूह द्वारा भारत में किया जा रहा निवेश महत्त्वपूर्ण साबित होता है।

दुनियाभर में फैल रहे कोरोनावायरस की पृष्ठभूमि पर, दुनिया के प्रमुख देश सुरक्षित निवेश के लिए अन्य विकल्पों का विचार करने लगे हैं। वर्तमान परिस्थिति में, कई बहुराष्ट्रीय कंपनियाँ भारत की ओर बतौर विकल्प देख रहीं हैं। इसलिए भारत आनेवाले निवेशकों और नये उद्योगों को अड़चनें ना आयें, इसलिए केंद्र सरकार द्वारा प्रयास किये जा रहे हैं। विदेशी कंपनियों को आकर्षित करने के लिए प्रयास चल ही रहे हैं कि तभी आर्सेलर मित्तल समूह, भारत के ओडिशा में निवेश करेगा, ऐसी ख़बर आयी है।

ओडिशा में दो हज़ार करोड़ का निवेश करने की आर्सेलर मित्तल समूह की योजना है। राज्य सरकार के मार्गदर्शन में इस संदर्भ में काम चालू है। गुजरात के हाजीर स्थित परियोजना में से यदि उत्पाद का लक्ष्य पूरा न हो सका, तो ओडिशा की खान से इस्पात उत्पाद लिया जायेगा और उसकी निर्यात की जायेगी, ऐसा मित्तल ने कहा। पिछले ही साल मित्तल ने, गुजरात के हाजीरस्थित ‘एस्सार स्टील इंडिया लिमिटेड’ कंपनी ४२ हज़ार करोड़ रुपयों में ख़रीद ली थी।

Arcellar-Mittal-Odishaओडिशा में शुरुआती दौर में दो हज़ार करोड़ रुपयों का निवेश किया जानेवाला होकर, अगले दौर में कंपनी का विस्तार किया जायेगा, ऐसा उन्होंने बताया। हम सगसाई और ठाकुरानी इन दो खानों का विकास करने का काम कर रहे हैं। इन दो खानों में से एक खान नीलामी के द्वारा ली गयी है। इसी बीच, राज्य सरकार की ओर से हरसंभव सहयोग करने का आश्वासन मुख्यमंत्री पटनायक ने मित्तल को दिया। कंपनी द्वारा पारादीप स्थित ‘पॅलेट प्लांट’ का विस्तार किया जानेवाला होकर, उत्पाद ६ एमटीपीए(मिलियन टन पर इयर) से १२ एमटीपीए तक ले जाया जायेगा, ऐसा बताया जाता है। इसीके साथ, केनझार ज़िले के बडुणास्थित परियोजना का उत्पाद ५ एमटीपीए से १६ एमटीपीए तक बढ़ाने की विचार कंपनी कर रही है।

देश में आनेवाले निवेशकों को किसी भी प्रकार की मुश्किलों का सामना करना ना पड़ें, इसके लिए प्रयास किये जा रहे हैं। मंज़ुरी प्रक्रिया में लगनेवाली कालावधि कम करने की सूचनाएँ दी गयीं हैं। साथ ही, औद्योगिक ज़मीनें, क्षेत्रों के परिसर में बुनियादी सुविधाओं का विकास और उद्योगों को आवश्यक आर्थिक सहायता की आपूर्ति करने के भी प्रयास किये जा रहे हैं।

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