अमरीका-ब्रिटेन-यूरोपिय महासंघ ने लगाए रशिया पर सख्त प्रतिबंध

वॉशिंग्टन/लंदन/ब्रुसेल्स – यूक्रैन में सेना को घुसानेवाली रशिया पर सख्त प्रतिबंध लगाने का ऐलान पश्‍चिमी देशों ने किया है| रशियन राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमीर पुतिन की सरकार के वरिष्ठ नेता, संबंधित उद्यमी, बैंक और व्यापारी वर्ग पर अमरीका, ब्रिटेन और यूरोपिय महासंघ ने प्रतिबंध घोषित किए हैं| रशिया की सेमीकंडक्टर और सैन्य से जुड़ी कंपनियों को पश्‍चिमी देशों ने इन प्रतिबंधों के माध्यम से लक्ष्य किया है| इस हफ्ते पश्‍चिमी देशों ने रशिया पर दूसरी बार प्रतिबंध लगाए हैं|

दो दिन पहले ही रशिया ने दो देशों को स्वीकृति प्रदान की और इसके बाद अमरीका, यूरोपिय महासंघ एवं जापान ने रशिया पर प्रतिबंध लगाए थे| रशिया की दो प्रमुख बैंकों के साथ राष्ट्राध्यक्ष पुतिन के करीबी और रशियन संसद के लगभग ३५० सदस्यों पर प्रतिबंध लगाने की कार्रवाई हुई थी| पश्‍चिमी देशों के यह प्रतिबंध काफी कम हैं और इसका रशिया पर कोई असर नहीं पडेगा, ऐसी आलोचना ब्रिटेन के माध्यम कर रहे थे| रशिया ने यूक्रैन में फौज़ उतारने के बाद पश्‍चिमी देशों ने इससे अधिक सख्त प्रतिबंध लगाने की उम्मीद थी|

गुरूवार को रशियन फौज़ यूक्रैन में दाखिल होने के बाद अमरीका, ब्रिटेन, जापान, दक्षिण कोरिया, ऑस्ट्रेलिया जैसे सभी देशों ने और यूरोपिय युनियन ने रशिया की जोरदार आलोचना की| अमरीका, ब्रिटेन और यूरोपिय महासंघ ने रशिया के ऊर्जा क्षेत्र को छोड़कर अन्य सभी क्षेत्रों पर और संबंधितों पर प्रतिबंध लगाए| रशिया से यूक्रैन के रास्ते आपूर्ति हो रहे गैस वायु पर ही यूरोपिय देश निर्भर हैं| रशिया-यूक्रैन तनाव के कारण पहले ही यूरोपिय देशों में ईंधन गैस की कीमतों में भारी उछाल आया है| इससे रशिया के ऊर्जा क्षेत्र और उससे संबंधितों पर कार्रवाई करने पर इसका विपरीत प्रभाव अपने पर ही होगा, इसका अहसास यूरोपिय देशों को है|

रशिया पर लगाए गए नए प्रतिबंध काफी सख्त होने का दावा अमरीका और ब्रिटेन कर रहे हैं| इन प्रतिबंधों की वजह से रशिया की अर्थव्यवस्था पर लंबे समय तक असर पडेगा, यह दावा अमरीका के राष्ट्राध्यक्ष ज्यो बायडेन ने किया| इसके अनुसार अमरीका ने रशिया को स्विफ्ट पेमेंट सिस्टम से बाहर निकाला है| इससे रशिया के विश्‍वभर हो रहे बैंक कारोबार पर असर पडेगा, ऐसा अमरिकी माध्यमों का कहना है| इससे अधिक सख्त कार्रवाई की गई तो उसका सीधा असर यूरोपिय देशों पर भी पडेगा, इस ओर अंतरराष्ट्रीय माध्यम ध्यान आकर्षित कर रहे हैं|

ब्रिटेन ने रशिया के खिलाफ दस प्रतिबंधों का ऐलान किया| इसके अनुसार ब्रिटेन ने रशिया की दो बड़ी बैंक खातों को कुर्क किया| तथा राष्ट्राध्यक्ष पुतिन के करीबी लोग एवं परिवार पर भी प्रतिबंध लगाने की कार्रवाई करने का ऐलान किया है| तो, रशिया की प्रमुख यात्री विमान कंपनी को भी ब्रिटेन ने प्रवेश देने से इन्कार किया है| पश्‍चिमी मित्रराष्ट्रों ने रशियन सेना को घेरने के उद्देश्य से प्रमुख उच्च तकनीक के सामान के निर्यात पर रोक लगाई है| यह प्रतिबंध रशिया के रक्षा एवं एरोस्पेस क्षेत्र को लक्ष्य करेंगे और इनमें सेमीकंडक्टर, दूरसंचार, सुरक्षा उपकरण, लेज़र और सेन्सर का समावेश है| 

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