रशियन राष्ट्राध्यक्ष के प्रक्षेपास्त्र हमलों के दावे हास्यास्पद- अमरिका की भूतपूर्व विदेश मंत्री कॉंडोलिझा राईस  

 वॉशिंग्टन: रशिया के मिसाइल हमलों से दुनिया का कोई भी देश सुरक्षित नहीं रह सकता, ऐसा दावा करके रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन ने अमरिका को इशारा दिया था। उसपर अमरिका की भूतपूर्व विदेश मंत्री कॉंडोलिझा राईस ने प्रतिक्रिया दी है। सन १९८० में भी रशिया के मिसाइल्स अमरिका को लक्ष्य बना सकते थे, इसकी याद दिलाकर राईस ने रशिया की ओर से अमरिका को नया खतरा संभव नहीं है, इस बात को स्पष्ट किया है। इस वजह से राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने किया हुआ दावा हास्यास्पद साबित होता है, ऐसा कहकर राईस ने पुतिन का मजाक उड़ाया है।

शुक्रवार को अमरिका के एक न्यूज़ चैनल को दिए साक्षात्कार में भूतपूर्व विदेश मंत्री राईस ने रशिया के इशारे अमरिका के लिए नए नहीं हैं, इस बात को स्पष्ट किया है। साथ ही अमरिका के मिसाइल सज्जता के बारे में रशियन राष्ट्राध्यक्ष के विचार पक्षपातपूर्ण होने का आरोप राईस ने किया है।

‘यूरोप अथवा अन्य देशों में तैनात अमरिका की मिसाइलभेदी यंत्रणा रशियन मिसाइलों को भेदने के लिए नहीं हैं, ऐसा अमरिका ने पहले ही घोषित किया था। अमरिका ने ईरान और उत्तर कोरिया के खिलाफ अपने मिसाइलों को तैनात किया है, यह अमरिका ने इससे पहले ही स्पष्ट किया है। मै विदेश मंत्री थी तब राष्ट्राध्यक्ष पुतिन के सामने अमरिका की यह भूमिका रखी थी’, ऐसा कहकर राईस ने रशियन नेतृत्व अमरिका की तरफ दुश्मन की नजर से देख रहा है, ऐसी टीका की है।

ट्रम्प प्रशासन ने रशिया पर डाले प्रतिबन्ध का भी राईस ने समर्थन किया है। ‘पुतिन और उनके निकटवर्तियों पर डाले प्रतिबन्ध बहुत प्रभावी साबित हो रहे हैं। पुतिन और उनके घनिष्ठ सहकारियों को अकेला करने के लिए यह प्रतिबन्ध आवश्यक हैं। लेकिन इस प्रतिबन्ध की वजह से पश्चिमी देशों के साथ संबंध प्रस्थापित करने के लिए कोशिश करने वाले रशियन जवानों पर परिणाम न हो’, ऐसी अपेक्षा राईस ने व्यक्त की है। उसी समय अमरिका के यह प्रतिबन्ध अपना प्रभाव दिखा रहे हैं, ऐसा कहकर राईस ने इस वजह से पुतिन और उनके निकटवर्तियों को झटका लगने का दावा किया है।

कुछ घंटों पहले ही व्हाईट हाउस ने रशिया पर लगाए गए प्रतिबंधों का अवधि बढाया है। इन प्रतिबंधों में रशियन राष्ट्राध्यक्ष पुतिन से संबंधित २१ व्यक्ति और ९ कंपनियों को लक्ष्य बनाया गया है। अमरिका के इस निर्णय पर रशिया ने टीका की थी।

अमरिकी नागरिकों के हथियार रखने के अधिकारों का भूतपूर्व विदेश मंत्री राईस ने समर्थन किया

वॉशिंग्टन: अमरिका के अलाबामा प्रान्त में १९५० और ६० के दशक में ‘कु क्लुक्स क्लॅन’ जैसे वर्णवर्चस्ववादी आतंकवादी समूह से बचने के लिए मेरे पिता और उनके सहकारियों ने बंदूकों का प्रभावी इस्तेमाल किया, ऐसा कहकर अमरिका की भूतपूर्व विदेश मंत्री और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार कॉंडोलिझा राईस ने अमरिकी संविधान के दूसरे घटना संशोधन का जोरदार समर्थन किया है। अमरिकी संविधान में दूसरे संशोधन द्वारा  अमरिकी जनता को हथियार रखने का अधिकार दिया गया है। पिछले कुछ दशकों में अमरिका में अंधाधुंध गोलीबारी और हत्याकांडों की घटनाएं बढने की वजह से दूसरे घटना संशोधन का मुद्दा बार बार उठाया जा रहा है।

पिछले महीने में फ्लोरिडा प्रान्त के एक स्कूल में हुए हत्याकांड में १७ छात्र और शिक्षकों की जान गयी थी। उसके बाद अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने, शिक्षकों को ‘सशस्त्र’ करने के बारे में साथ ही बन्दुक का लाइसेंस पाने के लिए आयुसीमा में बढ़ोत्तरी करने के सन्दर्भ में प्रस्ताव रखे हैं। उसी समय ‘बम्प स्टॉक रायफल्स’ पर भी बंदी के निर्देश दिए हैं। इस मुद्दे पर बोलते समय भूतपूर्व विदेश मंत्री राईस ने शस्त्र रखने के हक का समर्थन किया है।

ट्रम्प ने आयुसीमा में बढ़ोत्तरी करने के बारे में रखे प्रस्ताव को अमरिका के राजनीतिक नेताओं ने समर्थन देना चाहिए, ऐसी सलाह भी राईस ने दी है। पिछले हफ्ते एक रेडियो शो में राईस ने, आधुनिक काल में किसी व्यक्ति को हथियार रखने का अधिकार चाहिए मतलब निश्चित क्या, इस पर अमरिका में चर्चा होनी चाहिए, ऐसा मुद्दा रखा था। लेकिन उसी समय अमरिका के संविधान ने दिए हक़ अविभाज्य हैं, इस पर मुझे पूरा भरोसा है। संविधान का दूसरा संशोधन ठुकराकर पहली रखना, ऐसा नहीं हो सकता, ऐसा भी उन्होंने कहा है।

 

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