उघुरवंशीय को दबाने वाली चीन की एकाधिकारशाहीअमरिका के हितसंबंधों के लिए खतरनाक – अमरिका के संसदीय समिति की चेतावनी

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बीजिंग – चीन के राष्ट्राध्यक्ष शी जिनपिंग इनके नेतृत्व में चीन में धार्मिक एवं वार्षिक अल्पसंख्याक लोगों पर दबाव अधिक बड़ा है और यह मानवता के विरोध में गंभीर अपराध है, ऐसी चेतावनी अमरिका के संसदीय समिति ने दी है। उस समय चीन में सत्ताधारी शासन के बढ़ते एकाधिकारशाही की प्रवृत्ति, स्वतंत्र अमरिकन मूल्य एवं हितसंबंधों पर सीधा आघात करने वाली है, ऐसा भी कांग्रेसनल एग्जीक्यूटिव कमिशन ऑन चाइना ने सूचित किया है।

पिछले कई महीनों में अमरिकाके राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प इनके नेतृत्व में प्रशासन ने चीन के विरोध में जोरदार कार्रवाई या शुरू की है। व्यापार, रक्षा, तंत्रज्ञान, राजनैतिक संबंध, साइबर हमले, मानव अधिकार जैसे सभी मुद्दों पर अमरिकी प्रशासन ने चीन पर निशाना साधा है। दो महीनों पहले संयुक्त राष्ट्रसंघ ने अपने रिपोर्ट में चीन के सत्ताधारी शासन लगभग ११ लाख उघुरवंशीय इस्लामधर्मीयों के कट्टरवाद के विरोध में मुहिम के अंतर्गत दबाव बढ़ाने का आरोप किया था।

संयुक्त राष्ट्रसंघ के इस रिपोर्ट ने चीन के सत्ताधारी कम्युनिस्ट शासन तकलीफ में आ रही है। संयुक्त राष्ट्रसंघ के इस रिपोर्ट के बाद अमरिका एवं पाश्चात्य देशों ने चीन को लगातार लक्ष्य किया है। अंतरराष्ट्रीय समुदाय के दबाव की वजह से चीन तो झुकना पड़ रहा है और कुछ दिनों पहले चीन ने उघुरवंशीयों को शिविर में रखने की बात कहकर इकबालिया बयान दिया था। इस पृष्ठभूमि पर अमरिकी संसद में चीन के विरोध में आक्रामक भूमिका लेनेवाला रिपोर्ट प्रसिद्ध करने से ध्यान केंद्रित किया जा रहा है।

अमरिका के ‘कांग्रेसनल एग्जीक्यूटिव कमिशन ऑन चाइना’ ने प्रसिद्ध की रिपोर्ट में चीन के सत्ताधारी अधिक से अधिक आक्रामक धारणा कार्यान्वित कर रहे हैं और दुनिया के केंद्रस्थानी होनेवालों द्वारा प्रयत्न शुरू होने का दावा किया जा रहा है। यह करते हुए चीन विकास, व्यापार, इंटरनेट के साथ मानव अधिकार के लिए भी चीन नए नियम तैयार करने के प्रयत्न में होने की चिंता अमरिका के रिपोर्ट में व्यक्त की जा रही है। यह सभी करते हुए चीन में राजनीतिक व्यवस्था के मूलभूत एकाधिकारशाही की प्रवृत्ति नहीं बदली है, ऐसी आलोचना भी रिपोर्ट में की गई है।

अमरिकी संसद के रिपोर्ट में उघुरवंशीय और हुईवंशीय इस्लाम धर्मियों के साथ तिबेट तथा हांगकांग में चीन से शुरू होनेवाले दबाव का स्पष्ट उल्लेख है। राष्ट्राध्यक्ष शी जिनपिंग इनके कार्यकाल में यह दबाव अधिक बढ़ने का आरोप अमरिका ने किया है। हांगकांग की स्वायत्तता नष्ट करने के लिए चीन की कम्युनिस्ट शासन उस पर अनेक प्रतिबंध जारी कर रहा है।तिबेट में नागरिकों पर भी लगातार गश्ती की जा रही है और उनके धार्मिक एवं सांस्कृतिक हक से इनकार किया जा रहा है, ऐसा आरोप भी अमरिकी संसद ने किया है।

अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने चीन के सत्ताधारीओं से शुरू इस दबाव का निषेध करने के लिए स्वतंत्र विधेयक लाकर कार्रवाई की जाए, ऐसी मांग कांग्रेसनल एग्जीक्यूटिव कमिशन ऑन चाइना के रिपोर्ट में की गई है।

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