अमरिका को तिब्बत में मुक्त प्रवेश की उम्मीद – अमरिकी विदेश मंत्रालय

Third World Warवॉशिंगटन/बीजिंग: व्यापार युद्ध, साउथ चाइना सी, तैवान के मुद्दे पर अमरिका और चीन में निर्माण हुए तनाव में एक और मुद्दे की बढ़ोतरी हो रही है| चीन तिब्बत में जनता के मानव अधिकार का उल्लंघन करने का आरोप अमरिका के विदेश मंत्रालय ने किया है| तथा चीन अपने तरिके से अमरिकी नागरिकों को के तिब्बत में प्रवेश करने में बाधा निर्माण कर रहा है, यह आरोप अमरिका के विदेश मंत्रालय ने किया है| साथ ही अमरिकी नागरिकों को तिब्बत में मुक्त प्रवेश मिलना चाहिए ऐसी कडी मांग रखी है| तथा अमरिका के यह आरोप ठुकराकर तिब्बत के मामले में दलाई लामा ने अमरिका को बहकाया है, यह आलोचना चीन ने की है|

अमरिका के विदेश मंत्रालय ने कुछ दिनों पहले एक रिपोर्ट प्रसिद्ध किया था| इस रिपोर्ट में चीन तिब्बत में जनता पर दबाव डालने का आरोप अमरिका ने किया है| यह दबावतंत्र दुनिया के सामने ना आए इसके लिए चीन अपने ढंग से अमरिकी नागरिक, राजनैतिक अधिकारी तथा पत्रकारों को तिब्बत में प्रवेश से रोक रहा है, ऐसा अमरिका के विदेश मंत्रालय ने कहा था| पिछले वर्ष तिब्बत जाने के लिए उत्सुक अमरिकी ५० प्रतिशत नागरिकों की मांग चीन ने ठुकराई थी| इनमें चीन के अमरीकी राजदूत टेरी ब्रॅनस्टॅड इन की मांग का भी समावेश था|

अमरिका, तिब्बत, मुक्त प्रवेश, उम्मीद, अमरिकी, विदेश मंत्रालय, वॉशिंगटन, बीजिंगतिब्बत में शांति होने का दावा चीन कर रहा है| पर वास्तव में चीन तिब्बत में राजनैतिक एवं लष्करी दबाव कार्यान्वित करने की कड़ी आलोचना अमरिका के विदेश मंत्रालय ने अपनी रिपोर्ट से की थी| इसके लिए अमरिका को तिब्बत में मुक्त प्रवेश चाहिए, ऐसी भूमिका अमरिका के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रॉबर्ट पैलाडिनो ने प्रस्तुत की थी| चीनी नागरिक एवं राजनैतिक अधिकारी और माध्यमों को जिस प्रकार से अमरिका में मुक्त प्रवेश दिया जाता है, उसी तरह अमरिका को तिब्बत के लिए भी अनुमति मिलनी चाहिए, ऐसा पैलाडिनो ने कहा है|

पर अमरिकन विदेश मंत्रालय के इस रिपोर्ट पर चीन ने आक्षेप लिया है| तिब्बत चीन का सर्वभौम भाग होकर वहां की जनता को सभी अधिकार होने का दावा चीन ने किया है| तथा तिब्बत में आर्थिक विकास होने की बात भी चीन के अधिकारी ने कही है| साथ ही तिब्बत में प्रवेश करने पर किसी पर भी कोई भी पाबंदी नहीं है, ऐसा कहकर चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने अमरिका के आरोप ठुकराए हैं| पर अमरिकी राजदूत ‘ब्रॅनस्टॅड’ को अनुमति देने से इन्कार क्यो किया, इस पर खुलासा देने से चीन दूर रहा है|

तथा ‘ब्रॅनस्टॅड’ में मानव अधिकार के नियमों का उल्लंघन होने पर अमरिका के आरोप निरर्थक और वास्तव से दूर होने की बात शुआंग ने कही है| तथा चीन ने तिब्बत में सत्ता पर बैठे हुए उप गवर्नर नोरबू दोंद्रूप ने भी कम्युनिस्ट पार्टी का समर्थन करके, दुनिया भरके तिब्बती जनता के धर्मगुरु दलाई लामा पर आलोचना की है| दलाई लामा द्वारा बहकाने पर अमरिका चीन पर आरोप कर रहा है, ऐसा आरोप दोंद्रूप ने किया है|

चीन में कम्युनिस्ट हुकूमत स्थापित होने से पहले दलाई लामा के समय में तिब्बत का समाज अंधकार में जी रहा था| दलाई लामा ने ही चीन के मानव अधिकार कुचले है, इसलिए उन्हें इस बारे में बोलने का कोई अधिकार नहीं है, ऐसा तिब्बत के उप गवर्नर दोंद्रूप ने कहा है| चीन पर आरोप करके अमरिका भी दलाई लामा इनके गुट में जा बैठने की आलोचना दोंद्रूप ने की है|

चीन ने तिब्बत में मानव अधिकार के बारे में अमरिका के आरोप ठुकराकर सफाई दी है| फिर भी २००९ वर्ष में तिब्बती भिक्कू पर हुए अत्याचार के बारे में चीन का कम्युनिस्ट प्रशासन बोलने के लिए तैयार नहीं है, ऐसी आलोचना अंतरराष्ट्रीय माध्यम एवं विश्‍लेषक कर रहे हैं| १० वर्षों पहले चीन ने तिब्बत में तिब्बती जनता के विरोध में शुरू की हुई कार्रवाई के विरोध में दुनिया का ध्यान खींचने के लिए लगभग १५० तिब्बती ने चीन के रास्तों पर आत्मदहन किया था| दौरान २ वर्षों पहले चीन के राष्ट्राध्यक्ष शी जिनपिंग फ्रान्स के दौरे पर होते समय तिब्बती तथा उघुर वंशीयो ने पैरिस में प्रदर्शन किए थे|

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