सीरिया में तुर्की से जुड़े आतंकियों पर रशिया ने किए हमले में ७८ ढ़ेर

दमास्कस – रशिया ने सीरिया के उत्तरी क्षेत्र में स्थित इदलिब में तुर्की के आतंकी ठिकानों पर हवाई हमला किया। इस हमले में कम से कम ७८ लोग मारे गए हैं। सीरिया में मौजूद सबसे अधिक प्रशिक्षित आतंकी संगठन पर रशिया ने यह हमला किया है, ऐसा कहा जा रहा है। बीते आठ महीनों के युद्धविराम के दौरान सीरिया में हुआ यह सबसे बड़ा और भीषण हमला है। इस वजह से सीरिया में नया संघर्ष भड़कने की संभावना जताई जा रही है। सीरिया में किए इस हवाई हमले के साथ ही रशिया ने तुर्की को चेतावनी दी है, यह भी दावा किया जा रहा है।

Russia-air-strikeतुर्की से जुडे ‘फयलाक अल शाम’ नामक आतंकी संगठन को सोमवार के दिन लक्ष्य किया गया। इदलिब में स्थित ‘फयलाक’ के सबसे बड़े प्रशिक्षण अड्डे पर यह हमले किए गए। इस हवाई हमले में प्रशिक्षण केंद्र के साथ ‘फयलाक’ का अहम अड्डा भी तबाह हुआ है और इस हमले में कम से कम ७८ आतंकी मारे गए हैं और ९० से अधिक घायल हुए। इन घायलों में से कईयों की स्थिति गंभीर है और इसी कारण मृतकों की संख्या बढ़ने की संभावना जताई जा रही है। ऐसे में रशिया या तुर्की ने इस हमले पर अधिकृत बयान नहीं किया है। लेकिन, तुर्की से जुडे आतंकी संगठन ने इस हवाई हमले के लिए रशिया को ज़िम्मेदार ठराया है। तभी सीरिया की मानव अधिकार संगठन ने भी रशियन लड़ाकू विमानों ने हमले करने का दावा किया है।

तुर्की से जुडे आतंकी संगठन ने इस हमले पर गुस्सा व्यक्त किया है और रशिया को इस हमले के परिणाम भुगतने पडेंगे, यह धमकी भी दी है। तभी इस हमले के साथ ही बीते ८ महीनों से इदलिब में स्थापित हुआ युद्धविराम खत्म हुआ है, यह चिंता भी मानव अधिकार संगठना व्यक्त कर रही है। इस वर्ष मार्च में इदलिब के इस क्षेत्र में युद्धविराम शुरू होने के बाद तुर्की ने सीरिया स्थित अस्साद की हुकूमत को धमकाया था। ‘फयलाक’ या तुर्की से संबंधित गुट पर कार्रवाई की गई तो पूरी ताकत के साथ प्रत्युत्तर देने के लिए पूरा अधिकार तुर्की को होगा, यह इशारा तुर्की ने दिया था। इस वजह से ‘फयलाक’ पर हुई इस कार्रवाई पर प्रत्युत्तर के तौर पर तुर्की अब सीरिया की अस्साद हुकूमत पर हमले करने की कड़ी संभावना है।

Russia-air-strikeतुर्की की सीमा के करीबी आतंकी ‘फयलाक’ संगठन के बड़े ठिकाने हैं और वहां पर आतंकियों की भर्ती की जाती है। बीते कुछ वर्षों में तुर्की ने सीरिया की अस्साद हुकूमत के विरोध में जारी संघर्ष में ‘फयलाक’ के आतंकियों का बड़ा इस्तेमाल किया जाता है और लीबिया के संघर्ष में भी इन्हीं आतंकियों को उतारा गया था। तभी बीते कुछ सप्ताहों से आर्मेनिया और अज़रबैजान के बीच शुरू संघर्ष में भी तुर्की ने आर्मेनिया के विरोध में ‘फयलाक’ के आतंकियों को उतारा है, यह दावा किया जा रहा है। आर्मेनिया और अज़रबैजान के विवाद का हल चर्चा से निकालने का आवाहन रशिया कर रही है। तभी तुर्की अपनी लष्करी ताकत के बल पर यह संघर्ष खत्म करने की धमकी दे रहा है। ऐसी स्थिति में सीरिया में स्थित तुर्की से जुड़ी ‘फयलाक’ संगठन पर हमले करके रशिया ने तुर्की को इशारा दिया है, यह दावा माध्यम कर रहे हैं।

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