यूक्रैन की समस्या का हल सिर्फ राजनीतिक बातचीत से निकलेगा – सुरक्षा परिषद में भारत की भूमिका

संयुक्त राष्ट्रसंघ – ‘यूक्रैन की स्थिति पर भारत बारीकी से नज़र रखे हुए है| इस देश में भारत के २० हज़ार से अधिक नागरिक है और उनकी सुरक्षा भारत की सर्वोच्च प्राथमिकता है| यूक्रैन और रशिया के बीच निर्मान हुआ तनाव जल्द से जल्द खत्म हो और इसके लिए राजनीतिक बातचीत के अलावा अन्य विकल्प नहीं है’, इन शब्दों में भारत ने अपनी भूमिका रखी|

राजनीतिक बातचीतयूक्रैन के डोनेस्क और लुहास्क प्रांतों को स्वतंत्र देश घोषित करके रशिया के राष्ट्राध्यक्ष ने पूरे विश्‍व को दहला दिया है| इसकी तीव्र गूंज संयुक्त राष्ट्र संघ की सुरक्षा परिषद में सुनाई दी| इस मसले पर सुरक्षा परिषद की बैठक का शीघ्रता से आयोजन किया गया| इस दौरान अमरीका और पश्‍चिमी देशों ने रशिया की जोरदार आलोचना की| सुरक्षा परिषद के सदस्य भारत ने इस मसले पर पहले से ही अपनाई तटस्थ भूमिका कायम रखी है|

सुरक्षा परिषद में बोलते समय भारत के राजदूत टी.एस.तिरुमूर्ती ने बातचीत के ज़रिये ही इस मसले का हल निकलेगा, यह इशारा दिया| तथा, यह तनाव जल्द से जल्द खत्म खत्म करने के लिए दोनों ओर से कोशिश की जाएगी, यह उम्मीद राजदूत तिरूमूर्ती ने व्यक्त की| रशिया और यूक्रैन के बीच हुए मिन्स्क समझौते की याद दिलाकर इसी के दायरे में इस मसले का हल निकाला जाए, यह मॉंग भारत ने की है| इसके अलावा, यूक्रैन में स्थित बीस हज़ार से अधिक भारतीय नागरिकों की सुरक्षा को भारत सरकार सर्वोच्च प्राथमिकता देगी, यह ऐलान राजदूत तिरुमूर्ती ने किया|

रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने भी यूक्रैन की समस्या का हल समझदारी से निकाला जाएगा, यह उम्मीद व्यक्त की है| भारत को शांति चाहिये और भारत हमेशा शांति की ही कोशिश करता रहेगा, ऐसा राजनाथ सिंह ने आगे कहा| यूक्रैन में २४० भारतीय नागरिकों को स्वदेश लाने के लिए भेजा गया विमान मंगलवार रात दस बजे नई दिल्ली के हवाई अड्डे पर उतरेगा, यह जानकारी प्राप्त हुई है| नागर विमानन मंत्रालय ने कहा है कि, अन्य यात्री विमान कंपनियॉं यूक्रैन में स्थित भारतीय नागरिकों को स्वदेश लाने के लिए कोशिश करेंगीं|

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