ट्रम्प और पुतिन ने की, शस्त्रप्रतिबंध एवं ईरान के मुद्दे पर चर्चा

वॉशिंग्टन – अमरीका के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प और रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमीर पुतिन के बीच फोन पर चर्चा हुई। इस दौरान सामरिक स्थिरता, शस्त्रप्रतिबंध, ईरान, कोरोनावायरस समेत अन्य अहम मुद्दों पर चर्चा होने की जानकारी दोनों देशों ने प्रसिद्ध की। ट्रम्प और पुतिन के बीच पिछले सप्ताह से हुई यह दूसरी चर्चा है। पिछले कुछ दिनों से विश्‍वभर में काफ़ी तेज़ गतिविधियाँ हो रही हैं और इस पृष्ठभूमि पर, ट्रम्प एवं पुतिन के बीच हुई इस चर्चा की ओर बड़ी गंभीरता से देखा जा रहा है।

Trump-Putin-Iranआंतर्राष्ट्रीय स्तर पर शांति और सुरक्षा की विशेष ज़िम्मेदारी अमरीका और रशिया पर है। इसी वज़ह से, सामरिक स्थिरता और शस्त्र प्रतिबंध के मुद्दों पर दोनों नेताओं के बीच गहराई से चर्चा होने की बात रशियन सरकार ने घोषित की है। वहीं, शस्त्र प्रतिबंध के मुद्दे पर अमरीका और रशिया के बीच लंबी चर्चा होने की बात व्हाईट हाउस के प्रवक्ता जुड डिरे ने साझा की है। ‘आनेवाले दौर में अमरीका, रशिया और चीन के बीच शस्त्रप्रतिस्पर्धा ना भड़कें, ऐसा आवाहन राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने किया है। साथ ही, वियन्ना की बैठक में शस्त्रप्रतिबंधों की कोशिशों को कामयाबी प्राप्त हों, यह उम्मीद ट्रम्प ने व्यक्त की है’, ऐसा व्हाईट हाउस के प्रवक्ता ने कहा।

परमाणु हथियार और मिसाइलों की संख्या कम करने से संबंधित ‘स्टार्ट’ नामक शस्त्रप्रतिबंध समझौते में, अमरीका और रशिया के साथ चीन को भी शामिल करें, यह माँग राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने पहले भी की थी। ‘स्टार्ट’ के तहत अमरीका और रशिया अपने मिसाइलों की संख्या में कटौती करने के मुद्दे पर चर्चा कर रहे थे, तभी चीन अपने मिसाइलों की संख्या में बढ़ोतरी कर रहा है, ऐसी आलोचना अमरीका ने की थी। इस वज़ह से भविष्य में चीन को भी ‘स्टार्ट’ में शामिल करना होगा। चीन को इस समझौते में शामिल किए बिना, अमरीका शस्त्रप्रतिबंध लगाने का कदम नहीं उठायेगी, यह भूमिका राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने अपनाई थी। लेकिन, अमरीका की यह माँग चीन ने ठुकराई थी। इस पृष्ठभूमि पर, पुतिन के साथ हुई इस चर्चा के दौरान ट्रम्प ने चीन का मुद्दा उपस्थित किया हुआ दिख रहा है।

साथ ही, ईरान का परमाणु कार्यक्रम और प्रतिबंधों के मुद्दों पर भी ट्रम्प और पुतिन के बीच अहम चर्चा होने की जानकारी क्रेमलिन ने साझा की है। अगले कुछ सप्ताहों में ईरान पर लगाए प्रतिबंधों की अवधि समाप्त हो रही है। लेकिन ईरान पर लगाए प्रतिबंधों की अवधि बढ़ाने की माँग अमरीका ने संयुक्त राष्ट्रसंघ के सामने रखी है। तभी रशिया और चीन ने नकाराधिकार (वीटो) का प्रयोग करके, अमरीका ने रखा प्रतिबंधों का प्रस्ताव ठुकराने की तैयारी है। संयुक्त राष्ट्रसंघ के स्थायी सदस्यों की अगले बैठक रशिया आयोजित कर रहा है। इस पृष्ठभूमि पर राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने राष्ट्राध्यक्ष पुतिन से चर्चा करने का दावा किया जा रहा है। इसके अलावा, कोरोनावायरस के विरोध में जारी जंग, दोनों देशों का आर्थिक सहयोग एवं आंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में हो रही र्इंधन से संबंधित गतिविधियाँ इनपर भी चर्चा होने का ऐलान किया गया है।

पिछले सप्ताह में चीन ने ईरान में ४०० अरब डॉलर्स का निवेश करने का ऐलान किया है। इस निवेश के साथ चीन खाड़ी देशों में अपना प्रभाव बढ़ा रहा है, यह बात कही जा रही है। इसके बाद अमरीका और रशिया के राष्ट्राध्यक्ष ने की हुई यह चर्चा अहम साबित हो रही है। इसी बीच पिछले चार महीनों में ट्रम्प और पुतिन के बीच हुई यह तीसरीं चर्चा है। पिछले महीने में ट्रम्प ने पुतिन को फोन करके ‘जी-७’ की बैठक का निमंत्रण दिया था। इस बैठक से चीन को हटाकर, भारत और रशिया को शामिल करने का प्रस्ताव राष्ट्राध्यक्ष ट्रम्प ने अपने मित्रदेशों के सामने रखा था।

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