नाटो के सायबर सुरक्षा गुट में दक्षिण कोरिया का समावेश

सेऊल – नाटो ने दक्षिण कोरिया को अपने सायबर सुरक्षा गुट में शामिल किया है। कोरियन गुप्तचर यंत्रणा ने इस बात का ऐलान किया। इससे दक्षिण कोरिया नाटो का हिस्सा होनेवाला पहला एशियाई देश बना है। यह बात दक्षिण कोरिया के पड़ोसी उत्तर कोरिया और चीन को उकसानेवाली साबित हो सकती है।

nato-cyber-security-south-koreaइस्टोनिया में स्थित नाटो के ‘को-ऑपरेटिव्ह सायबर डिफेन्स सेंटर ऑफ एक्सलन्स’ (सीसीडीसीओई) गुट में दक्षिण कोरिया का अधिकृत समावेश हुआ। ‘नैशनल इंटेलिजन्स एजेन्सी’ (एनआईए) ने दक्षिण कोरिया के इस समावेश की जानकारी सार्वजनिक की। ‘सायबर हमलों की वजह से कोई व्यक्ती या देश की ही नहीं, बल्कि अन्य देशों की सुरक्षा के लिए भी खतरा बना रहा हैं। ऐसी स्थिति में नाटो के सायबर सुरक्षा गुट में दक्षिण कोरिया का समावेश होने से वैश्‍विक सायबर सुरक्षा का स्तर बढ़ेगा’, यह उम्मीद दक्षिण कोरिया की ‘एनआईए’ ने जतायी।

साल २००८ में रशिया ने इस्टोनिया पर भीषण सायबर हमलें करने के बाद नाटो ने ‘सीसीडीसीओई’ का गठन किया था। नाटो के सदस्य देशों पर सायबर हमलें होने से रोकना ही इस संगठन का उद्देश्‍य हैं। दक्षिण कोरिया के समावेश के बाद सीसीडीसीओई के सदस्य देशों की संख्या ३२ हुई। यूक्रैन और रशिया का युद्ध जारी होने के दौरान नाटो ने दक्षिण कोरिया को अपने सायबर सुरक्षा गुट में शामिल किया हैं, इसी पर पश्‍चिमी माध्यम ध्यान आकर्षित कर रहे हैं।

इसी बीच, ब्रिटेन की विदेशमंत्री लिझ ट्रूस ने पिछले हफ्ते ही नाटो के विस्तार के संकेत दिए थे। अमरीका, कनाड़ा और यूरोपिय देशों तक सीमित यह सैनिकी संगठन, आनेवाले समय में इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के देशों को सदस्यता प्रदान करें, ऐसा सुझाव ट्रूस ने दिया था। क्वाड के सदस्य जापान, ऑस्ट्रेलिया समेत ‘आशियान’ संगठन के आग्नेय एशियाई देशों को भी नाटो में शामिल करने का प्रस्ताव ब्रिटेन की विदेशमंत्री ने दियाथा।

इसके ज़रिये नाटो का वैश्‍विकीकरण शुरू है, ऐसी आलोचना यूरोप के कुछ समाचार चैनलों ने की थी। ऐसा होने पर यूरोप की सुरक्षा के लिए गठित की हुई नाटो का विश्‍वभर में विस्तार होगा और इससे चुनौतियाँ बढ़ेंगी। इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के देशों को सदस्य बनाने पर नाटो चीन से खुला बैर आमंत्रित करेगी, यह चेतावनी ये यूरोपियन समाचार चैनल दे रहे हैं। लेकिन, इस गुट में दक्षिण कोरिया का समावेश यानी अमरीका-नाटो की रणनीति का हिस्सा होने के संकेत प्राप्त हो रहे हैं। कुछ ही दिन पहलें यूक्रैन युद्ध की पृष्ठभूमि पर रशिया के खिलाफ जाने से इन्कार कर रहें भारत को सबक सिखाने की तैयारी अमरीका ने करने की खबरें जारी हुई थीं। चीन के वर्चस्ववाद को रोक रहें क्वाड संगठन में भारत के विकल्प के तौर पर दक्षिण कोरिया को शामिल करने की तैयारी अमरीका ने की है। दक्षिण कोरिया के एक अखबार ने यह वृत्त जारी किया था।

इस पृष्ठभूमि पर, नाटो के सायबर सुरक्षा संबंधित गुट में दक्षिण कोरिया का समावेश होना ध्यान आकर्षित करता हैं।

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