भारत करेगा दक्षिण अमरिकी देशों से ‘लिथियम’ का आयात

नई दिल्ली – ‘लिथियम’ के लिए अब तक चीन पर निर्भर रहा भारत, अब अर्जेंटिना, चिली और बोलिविया जैसे दक्षिण अमरिकी देशों से लिथियम का आयात बढ़ाने की कोशिश कर रहा है। ‘लिथियम’ प्राप्त करने के लिए चीन पर बनी निर्भरता पूरी तरह से कम करने के नज़रिये से ही भारत ‘लिथियम ट्रैंगल’ वाले देशों से सहयोग बढ़ा रहा है। इसके तहत भारत अब इन देशों में ‘लिथियम’ के खदान खरीदने की तैयारी में होने का समाचार है। कुछ महीने पहले ही भारत सरकार की ‘खनिज विदेश लिमिटेड’ ने अर्जेंटिना के साथ खदान से संबंधित समझौता करने का वृत्त प्रसिद्ध हुआ है। लिथियम के बड़ा भंड़ार वाले देशों से भारत को लिथियम की आपूर्ति होने लगे तो भारत की चीन पर निर्भरता कम हो जाएगी। साथ ही लिथियम की आपूर्ति होने की गारंटी प्राप्त होने पर देश में ‘ई-कार’ को गति देने की सरकार की योजना को भी बल प्राप्त होगा।

भविष्य के ईंधन के तौर पर भारत को ‘लिथियम’ बैटरीज की आवश्‍यकता पडेगी। पेट्रोल, डिज़ल की निर्भरता कम करके देश में ई-कार का इस्तेमाल बढ़ाने की नीति सरकार ने तय की है। इसके लिए सरकार ‘ई-कार’ की खरीद पर सहुलियतें भी दे रही है। वर्ष २०३० तक देश में १०० प्रतिशत ‘ई-कार’ का इस्तेमाल करने का प्लैन तैयार करने में सरकार जुटी होने की खबरें भी प्राप्त हुई थीं। लेकिन, इसके लिए भारत में लिथियम की कमी बड़ी चुनौती है। सिर्फ ई-कार के लिए ही नहीं, बल्कि लैपटॉप और मोबाईल की रिचार्जेबल बैटरीज़ भी लिथियम से ही बनती हैं।

भारत में लिथियम की खदाने नहीं हैं। बीते वर्ष के शुरू में बंगलुरू से सौ किलोमीटर दूरी पर ‘लिथियम’ का भंड़ार बरामद हुआ है। लेकिन, भारत की भविष्य की ज़रूरतें पूरी करने के लिए यह भंड़ार पर्याप्त नहीं है। मौजूदा स्थिति में भारत चीन से लिथियम  आयात करता है। लेकिन, बीते कुछ महीनों से भारत और चीन के संबंधों में काफी तनाव निर्माण हुआ है। लद्दाख की गलवान घाटी में विश्‍वासघात से भारतीय सैनिकों पर हमला करनेवाले चीन से आयात कम करने की नीति पर भारत अमल कर रहा है।

इस पृष्ठभूमि पर भारत अब ‘लिथियम ट्रैंगल’ के तौर पर प्रख्यात अर्जेंटिना, चिली, बोलिविया से लिथियम आयात करने और वहां पर लिथियम की खदाने खरीदने की कोशिश कर रहा हैं। यह देश विश्‍व में सबसे अधिक लिथियम के उत्पादन वाले शीर्ष देशों में शामिल हैं। इन तीनों देशों के सरहदी क्षेत्र में लिथियम का अनगिनत भंड़ार है और इन खदानों को खरीदने में भारत ने रूचि दिखाई है। इसी नज़रिये से भारत की ‘खनिज विदेश लिमिटेड’ कंपनी ने अर्जेंटिना के साथ बीते वर्ष एक समझौता किया है, ऐसा समाचार है।

खनिज विदेश लिमिटेड का गठन वर्ष २०१९ में ही किया गया। नाल्को, हिंदुस्थान कॉपर, मिनरल एक्सप्लोरेशन लिमिटेड इन तीन सरकारी कंपनियों का विलिनिकरण करके इस कंपनी का गठन किया गया था। देश के लिए आवश्‍यक खनिजों की खरीद करने की ज़िम्मेदारी ‘खनिज विदेश लिमिटेड’ को दी गई है।

इसी बीच ‘ई-कार’ के लिए लिथियम आयर्न बैटरिज का अधिक निर्माण करने की दिशा में कोशिश की जा रही है और इसकी वजह से बैटरी चार्जिंग कम से कम समय में करना संभव होगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published.