सायबर क्षेत्र, सोशल मीडिया के ज़रिये आतंकवाद फैलने का खतरा बढ़ा – केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय

नई दिल्ली – सायबर क्षेत्र और सोशल मीडिया का इस्तेमाल करके आतंकी हमले करने का खतरा पहले की तुलना में कई गुना बढ़ा है, ऐसा केंद्रीय गृहराज्यमंत्री नित्यानंद राय ने कहा है। सीमा का बंधन ना होने वाले सायबर क्षेत्र के ज़रिये भारत से बैर रखनेवाले देशों की गुप्तचर संस्थाएं चरमपंथी एवं दुष्प्रचार को बढ़ावा दे रही हैं। यह देश की संप्रभुता एवं अखंड़ता के लिए घातक है, इसका अहसास केंद्रीय गृहराज्यमंत्री ने कराया।

सायबर क्षेत्रलोकसभा में पूछे गए सवाल पर लिखित जवाब देते हुए केंद्रीय गृहराज्यमंत्री नित्यानंद राय ने इस खतरे को रेखांकित किया। वर्चुअल स्तर का सायबर क्षेत्र सोशल मीडिया के विस्तार की सीमा से परे है। इसके ज़रिये गलत जानकारी एवं दुष्प्रचार और चरमपंथी विचार फैलाने वाला कोई भी अज्ञात रह सकता है। ऐसे में प्रौद्योगिकी की प्रगति की वजह से यह जानकारी फैलाने की गति काफी बढ़ी है। इसकी वजह से सायबर क्षेत्र और सोशल मीडिया का इस्तेमाल करके आतंकी हमले करने का खतरा बढ़ा है और यह खतरा पहले की तुलना में कई गुना बढा है, ऐसा नित्यानंद राय ने कहा।

भारत से बैर रखने वाले देशों की गुप्तचर संस्थाएं सायबर क्षेत्र और सोशल मीडिया का चरमपंथ फैलाने लिए इस्तेमाल कर रहे हैं, इस पर राय ने ध्यान आकर्षित किया। लेकिन, देश की सुरक्षा यंत्रणाओं की नज़रें सायबर और सोशल मीडिया पर हैं। इस तरह से देश की सुरक्षा को चुनौती देनेवाली अवैध हरकतें करनेवालों को सख्त कार्रवाई की जाएगी, यह इशारा केंद्रीय गृहराज्यमंत्री ने दी। भारतीय दंड़ संहिता की धारा ६९ए, इन्फॉर्मेशन टेक्नॉलॉजी ऐक्ट २००० के अनुसार सोशल मीडिया अकाउंट्स से अवैध एवं कुटिल इरादों से प्रसारित किए गए संदेश पर सख्त कार्रवाई करके इन संदेशों को ब्लॉक किया जा सकता है, यह जानकारी नित्यानंद राय ने साझा की।

इससे जुड़े अपराधिक मामलों की प्रभावी जांच एवं इस पर सख्त कार्रवाई करने के लिए ‘एनआईए ऐक्ट २००८’ में सुधारणा की गई है, इसकी याद भी नित्यानंद राय ने दिलाई। इसी बीच इससे पहले सोशल मीडिया पर बैर फैलाने वाले द्वेषपूर्ण संदेश जारी करने वाले अकाउंट्स पाकिस्तान से चलाए जाने की गंभीर बात सामने आयी थी। इसकी वजह से सायबर टेररिज़म की समस्या अधिक प्रखरता से महसूस हुई थी। पिछले महीने ही नई दिल्ली में आयोजित की गई ‘नो मनी फॉर टेरर’ परिषद में भारत ने इशारा दिया था कि, सोशल मीडिया का इस्तेमाल करके आतंकवाद फैलाने की और आतंकियों के लिए पैसे इकठ्ठा करने की साज़िश की जा रही है।

‘नो मनी फॉर टेरर’ परिषद का उद्घाटन करते समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस खतरे का पूरे विश्व को अहसास कराया। ऐसे में विदेश मंत्री एस.जयशंकर ने भी इस खतरे को रेखांकित करके अंतरराष्ट्रीय समुदाय से इस खतरे के खिलाफ एकजुट होने की गुहार लगाई थी।

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