‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ के निर्यात पर लगाई पाबंदी केंद्र सरकार ने हटाई

नई दिल्ली – कोरोना वायरस के मरीज़ों पर इलाज़ करने में प्रभावी साबित हुई ‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ औषधि निर्यात करने के लिए केंद्र सरकार ने अनुमति प्रदान की हैं, यह ऐलान केंद्रीय रसायन और उर्वरकमंत्री सदानंद गौडा ने किया है। सरकार के इस निर्णय का दवाइयों की कंपनियों ने स्वागत किया है। इससे पहले केंद्र सरकार ने इस दवा की निर्यात करने पर लगाई पाबंदी आंशिक मात्रा में हटाई थी। ‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ की दवाइयों का अतिरिक्त भंड़ार कुछ देशों को प्रदान किया गया था।

Hydroxychloroquine Exportकोरोना वायरस की महामारी की पृष्ठभूमि पर, देश में ‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ की कमी ना बनें, इसलिए अप्रैल की शुरुआत में इस दवाई की निर्यात पर भारत सरकार ने पूरी तरह से पाबंदी लगाई थी। मलेरिया के मरीज़ों पर इलाज़ करने के लिए इस्तेमाल हो रही यह दवा, कोरोना वायरस से संक्रमित मरीज़ों के लिए गेम चेंजर साबित होगी, यह दावा अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने वैज्ञानिकों के हवाले से किया था। इसके बाद पूरे विश्‍व में हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन की माँग में काफ़ी बढ़ोतरी हुई थी। भारत में भी इसी दवा से कोरोना के मरीज़ों पर इलाज़ शुरू किया गया था।

‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ इस दवा का भारत बड़ा उत्पादक देश है। हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन के जागतिक उत्पादन में भारत का हिस्सा ७० प्रतिशत है। इस वज़ह से, अमरीका के साथ अन्य देशों ने भी भारत के सामने इस दवा की सप्लाई करने की माँग रखी थी। इसके बाद यह पाबंदी कुछ मात्रा में हटाई गई थी। लेकिन देश की अन्तर्गत ज़रूरत पूरी करके, अतिरिक्त दवा की सप्लाई भारत ने अन्य देशों को करनी शुरू की। अब तक भारत ने करीबन १२० देशों को हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन की आपूर्ति की है।

Hydroxychloroquine tabletयह दवा कोरोना मरीज़ों के लिए जानलेवा साबित हो सकती है, यह दावा कुछ दिन पहले ही एक संशोधन रिपोर्ट में किया गया था। उसके बाद, कोरोना मरीज़ों पर इस दवा का हो रहा परीक्षण बंद करने की सूचना जागतिक स्वास्थ्य संगठन ने की थी। लेकिन, इस संशोधन रिपोर्ट को लेकर कई सवाल खड़े हुए। साथ ही, गलत जानकारी की बुनियाद पर आधारित यह संशोधन रिपोर्ट संबंधित वैज्ञानिक ने पीछे लेने के बाद, इस दवा के परीक्षण पुन: शुरू होंगे, ऐसा जागतिक स्वास्थ्य संगठन ने कहा था।

इस पृष्ठभूमि पर, दवानिर्माण विभाग ने ‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ की निर्यात पर लगाई पाबंदी हटाने के लिए अनुमति प्रदान की है। साथ ही, ‘हायड्रोक्सीक्लोरोक्वीन’ का बड़ी मात्रा में व्यवसायिक उत्पादन करने के लिए भी अनुमति दी गई है। सिर्फ़ शर्त यह है कि इस दवा का निर्माण करनेवालीं कंपनियों को, देश के अन्तर्गत मार्केट में २० प्रतिशत दवा की आपूर्ति करनी होगी। इससे संबंधित अधिसूचना जारी करने के लिए ‘विदेश व्यापार महासंचलनालय’ (डीजीएफटी) को कहा गया है। इसके लिए निर्यात नीति में भी सुधार किए जा रहे है।

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