अफगानिस्तान के ‘फराह’ प्रांत में अफगान सेना और तालिबान की लडाई

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरकाबूल – राजधानी काबूल में अमरिका के दूतावास के निकट हमलें करने के बाद तालिबान ने शुक्रवार के दीन फराह प्रांत में अफगान सेना के अड्डे पर हमला किया| इसके बाद अफगान सेना और तालिबानी आतंकियों के बीच बडा संघर्ष शुरू हुआ है और तालिबान को बडा नुकसान उठाना पडा है, यह दावा अफगान सेना कर रही है| इस संघर्ष का अमरिका और तालिबान की बातचीत पर असर होने की बात स्पष्ट तौर पर दिखाई दे रही है| इसी बीच अफगानिस्तान के राष्ट्राध्यक्ष अश्रफ गनी और अमरिका के विशेषदूत झल्मे खलिलजाद के बीच तालिबान के मुद्दे पर विवाद होने के समाचार प्रसिद्ध हुए है|

सोमवार और गुरूवार के दिन राजधानी काबूल में आत्मघाती हमलें करने के बाद तालिबानी आतंकियों ने शुक्रवार के दिन फराह प्रांत को लक्ष्य किया| पिछले पांच दिनों में तालिबानी आतंकियों का यह तिसरा हमला है| दर्जनों आतंकियों ने फराह प्रांत की राजधानी ‘फराह सिटी’ के अफगान सेना के अड्डे पर कब्जा करने की कोशिश की| लष्करी अड्डे पर तीन बाजू से हमलां कर रहे तालिबानी आतंकियों का टार्गेट वहां पर रखा हथियारों का भंडार और कारागृह था| लेकिन, अफगान सेना ने प्रतिहमला करके तालिबानीयों को रोका, यह जानकारी फराह प्रांत के गव्हर्नर फारूक बराकझाई ने दी|

अफगान सेना के प्रतिहमलें में तालिबान को बडी जीवित हानी उठानी पडी है, यह दावा बराकझाई ने किया| वही, अफगान सेना के अड्डे पर कब्जा करने का दावा तालिबान का प्रवक्ता कारी युसूफ अहमदी ने किया है| अभी भी यह संघर्ष खतम नही हुआ है और अफगान सेना और तालिबानी आतंकियों के बीच मुठभेड शुरू है| पिछले कुछ हफ्तों में फराह प्रांत में फराह प्रांत में तालिबानी आतंकियों ने किया यह दुसरा बडा हमला था| इससे पहले मई महीने में तालिबानियों ने फराह सिटी पर कब्जा करने की कोशिश की थी| लेकिन, अमरिकी और अफगान सेना की संयुक्त कार्रवाई के बाद तालिबानियों को पीछे हटना पडा था|

एक ओर अमरिका के साथ बातचीत कर रहा तालिबान और दुसरी ओर अफगान शहरपर हमलें करके अपने सामर्थ्य का प्रदर्शन कर रही है| फिर भी अमरिका ने तालिबान के साथ हो रही बातचीत खतम होने का अधिकृत स्तर पर ऐलान नही किया है| इस पर अफगान सरकार गुस्से से भरी प्रतिक्रिया दे रही है| अमरिका के विशेषदूत झल्मे खलिलजाद के साथ अफगान राष्ट्राध्यक्ष अश्रफ गनी के साथ विवाद होने की खबरें प्रसिद्ध हुई है| इसके पिछे अफगान सरकार की यह गुस्से से भी भावना होने की बात दिख रही है|

अमरिका और तालिबान के बीच बातचीत कामयाब होने के दावे झल्मे खलिलजाद ने किया था| इसमें कुछ सच्चाई नही है, यही बात तालिबान के यह हमलें दिखा रहे है और अफगान सरकार भी इस ओर उंगली दिखा रही है| अमरिका में भी इस स्थिति की गुंज सुनाई दे रही है और भूतपूर्व राजनयिक अधिकारी तालिबान पर विश्‍वास रखकर अमरिका को अफगानिस्तान से वापसी करना मुमकिन नही है, यह इशारा दिया है| इसके अलावा अमरिकी संसद की समिती ने खलिलजाद नको सुनवाई के लिए बुलाने की तैयारी करने की खबर है|

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