पाकिस्तान की सेना पर गंदे आरोप ना करें – इम्रान खान तथा उनके समर्थकों को सेना की चेतावनी

इस्लामाबाद – कुछ नेता, पत्रकार और विश्‍लेषक पाकिस्तानी सेना पर गंदे आरोप कर रहे हैं। पकिस्तान की सेना को देश की सेवा करने दें, सेना को राजनीति का हिस्सा ना बनायें, ऐसी चेतावनी पाकिस्तानी सेना ने दी है। ‘इंटर सर्व्हिसेस पब्लिक रिलेशन्स-आयएसपीआर’ इस पाकिस्तानी सेना के विभाग ने एक निवेदन जारी करके यह चेतावनी दी। पूर्व प्रधानमंत्री इम्रान खान ने सत्ता गँवाने के बाद सेना की कड़ी आलोचना शुरू की है। पाकिस्तानी सेना फिर एक बार इम्रान खान को सत्ता में लायें, इसके लिए इम्रान खान सेना पर दबाव बना रहे होने की चर्चा इस देश में शुरू हुई है। ऐसी परिस्थिति में आयएसपीआर ने दी चेतावनी, यह इम्रान खान तथा उनके समर्थकों के लिए ही होने का दावा किया जाता है।

नवाझ शरीफ के साथ हुए तीव्र मतभेदों के कारण ही पाकिस्तान की सेना ने इम्रान खान को आगे करके शरीफ को प्रधानमंत्री पद से नीचे खींचा था। उसके बाद हुए चुनावों में सेना के सभी स्तरों पर की दख़लअन्दाज़ी के कारण इम्रान खान प्रधानपद पर आये। लेकिन उनका प्रदर्शन बहुत ही निम्न दर्ज़े का था। किसी भी मोरचे पर इम्रान खान की सरकार को क़ामयाबी नहीं मिल पायी थी। विदेश तथा आर्थिक नीतियों के हैंडलिंग में इम्रान खान की सरकार को मिली असफलता के भीषण परिणाम पाकिस्तान को आनेवाले समय में भी भुगतने पड़ेंगे, ऐसा विश्‍लेषकों का कहना है। साथ ही, अतिमहत्त्वाकांक्षी होनेवाले इम्रान खान ने सत्ता की मग़रूरी में सेनाप्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा को चुनौती दी थी।

उसके बाद इम्रान खान को प्रधानमंत्रीपद से हटाया गया। लेकिन इससे बेचैन हुए इम्रान खान ने, उन्हें सत्ता से हटाने के पीछे आन्तर्राष्ट्रीय साज़िश है, यह कहते हुए अमरीका पर दोषारोपण किया था। उसी के साथ, पाकिस्तान की सेना ने भी अमरीका का साथ दिया, ऐसा इम्रान खान अलग-अलग मार्गों से पाकिस्तान की जनता को सूचित कर रहे थे। लेकिन पिछले कुछ दिनों से इम्रान खान द्वारा सेना के की जा रही आलोचना बहुत ही तीख़ी बनी थी। साथ ही, इम्रान खान के समर्थक होनेवाले पत्रकार भी यह खुले आम बताने लगे हैं कि सेना से उन्हें धमकियाँ मिल रही हैं।

पाकिस्तान में हालाँकि नयी सरकार सत्ता में आयी है, फिर भी वे इस सरकार को काम करने नहीं देंगे, ऐसी धमकियाँ इम्रान खान दे रहे हैं। सेनाप्रमुख जनरल बाजवा उन्हें फिर से प्रधानमंत्रीपद पर बिठायें, इसके लिए खान जानतोड़ कोशिश कर रहे हैं। इसके लिए मिन्नतें करने लेकर चेतावनियाँ देने तक सभी मार्ग इम्रान खान ने अपनाकर देखे हैं, ऐसा दावा पाकिस्तान के कुछ पत्रकारों ने किया है। इतना हे नहीं, अपने समर्थकों की मदद से पाकिस्तान को हिला देनेवाले प्रदर्शन करवाने की तैयारी इम्रान खान तथा उनकी पार्टी ने दी है। इसके लिए माध्यमों का प्रभावी इस्तेमाल किया जा रहा होकर, इम्रान खान को समर्थन देनेवाले पत्रकार पाकिस्तान के सेनाप्रमुख की जमकर आलोचना कर रहे हैं।

इस पृष्ठभूमि पर, आयएसपीआर के निवेदन के ज़रिये पाकिस्तान की सेना ने दी यह चेतावनी ग़ौरतलब साबित हो रही है। आनेवाले समय में इम्रान खान तथा उनकी पार्टी अगर अपनी हरकतों से बाज़ नहीं आयें, तो उसके गंभीर परिणाम होंगी, ऐसी धमकी ही सेना ने दी है। लेकिन इम्रान खान और उनके समर्थक पीछे हटने की तैयारी में नहीं हैं। पाकिस्तान में फिलहाल सत्ता में होनेवाली सरकार गिराकर जल्द से जल्द चुनाव आयोजित करें, ऐसी उनकी माँग है। इतना ही नहीं, बल्कि उन चुनावों में पाकिस्तानी सेना ‘तटस्थ’ ना रहते हुए, इम्रान खान को ही फेर से सत्ता में ले आये, ऐसी इम्रान खान की उम्मीद है।

इम्रान खान की इन ग़ैरज़िम्मेदाराना और अड़ियल नीतियों के कारण पाकिस्तान की सेना का अनुशासन तथा एकता बाधित होने के दावे किये जाते हैं। लेकिन कुछ लष्करी अधिकारी इम्रान खान के समर्थन में खड़े हैं और उनका इस्तेमाल करके अपना मतलब निकालने की तैयारी इम्रान खाने कर रहे होने की भी चर्चा है। पाकिस्तान भले ही विनाश की ओर चला जायें, लेकिन सत्ता हासिल किये बग़ैर शान्त नहीं बैठना है यही इम्रान खान की नीति बनी है। उन्हीं की वजह से पाकिस्तान की जनता का एक गुट सेना के विरोध में गया, इन आरोपों को ताक़त मिल रही है। इस डर के कारण ही सेना ने अभी भी उनपर सख़्त कार्रवाई नहीं की है। लेकिन इम्रान खान की बेताल हरक़तों के मद्देनज़र, पाकिस्तान की सेना अब बहुत समय तक संयम नहीं बरत सकती, ऐसा इस देश के पत्रकारों का कहना है।

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