व्यापारमंत्री पियूष गोयल अमरीका के दौरे पर

सैन फ्रैन्सिस्को – अमरीका फिलहाल दूसरे किसी भी देश के साथ मुक्त व्यापार समझौता करने के लिए उत्सुक नहीं है। लेकिन, यदि अमरीका को भारत के साथ मुक्त व्यापारी समझौता करना हो, तो भारत इसके लिए निश्चितरूप से तैयार होगा, ऐसा व्यापारमंत्री पियूष गोयल ने कहा है। फिलहाल अमरीका के दौरे पर गोयल ने यह बयान करके बायडेन प्रशासन की भारत संबंधी नीति पर ध्यान आकर्षित किया हुआ दिख रहा है। भारत कनाड़ा के साथ ही मुक्त व्यापारी समझौते पर चर्चा कर रहा है और यूरोपिय महासंघ के साथ भी भारत की मुक्त व्यापारी समझौते पर चर्चा हो रही है, इसका अहसास व्यापारमंत्री पियूष गोयल ने कराया।

पिछले कुछ सालों से भारत और अमरीका ने अपने व्यापारी सहयोग में बड़ी बढ़ोतरी करने का ध्येय सामने रखा था। दोनों ओर से सालाना व्यापार तकरीबन ५०० अरब डॉलर्स तक बढ़ाने का ऐलान नेताओं ने किया था। लेकिन, राष्ट्राध्यक्ष बायडेन का प्रशासन भारत के साथ मुक्त व्यापारी समझौता करने के लिए पहल नहीं कर रहा था। फिलहाल दूसरे किसी भी देश के साथ ऐसा समझौता नहीं करना है, यही नीति इस प्रशासन ने अपनाई है। इसका दाखिला देकर भारत के व्यापारमंत्री ने अमरीका और भारत का मुक्त व्यापारी समझौता मुमकिन ना होने की बात स्पष्ट की थी। लेकिन, यदि अमरीका ने अपनी नीति में बदलाव किया तो भारत इस पर यकीनन रिस्पान्स देगा, यह भी व्यापारमंत्री गोयल ने कहा।

राष्ट्राध्यक्ष बायडेन अमरीका की पुरानी नीति को आगे बढ़ा रहे हैं और इसमें यूरोपिय देशों के साथ अमरीका के सहयोग को वे सबसे ज्यादा अहमियत देते हैं। बायडेन की राष्ट्राध्यक्षता से पहले ही कुछ विश्लेषकों ने उनकी इस नीति का अहसास कराया था। इससे चीन को अपवाद बनाकर भारत एवं अन्य एशियाई देशों के साथ व्यापारी संबंधों को बायडेन विशेष अहमियत नहीं देते हुए दिख रहे हैं। भारत के साथ सहयोग करने के कितने भी बड़े दावे किए जाएं तब भी वास्तव में उनका प्रशासन भारत के साथ व्यापार करने के बड़े निर्णय करने हेतु तैयार नहीं है। भारत के साथ मुक्त व्यापारी समझौता करने पर बायडेन प्रशासन दिखा रहीं अनास्था भी इसी का हिस्सा है।

इसी बीच व्यापारमंत्री पियूष गोयल ‘इंडो-पैसिफिक इकॉनॉमिक फोरम’ (आईपीईएफ) की बैठक में शामिल होने के लिए अमरीका का दौरा कर रहे हैं। इस संगठन की संकल्पना अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष ने ही पेश की थी। वैश्विक स्तर पर लगातार सामने आ रही चुनौतियों के मद्देनज़र सप्लाई चेन का अन्य विकल्प तैयार करने के लिए इस बैठक में चर्चा होगी। खास तौर पर वैश्विक उत्पादन का केंद्र चीन में होने से उभरी समस्याओं को दूर करने के लिए उत्पादन के लिए ज़रूरी सप्लाई चेन का नया विकल्प तैयार करने पर भी ‘आईपीईएफ’ में विचार-विमर्श होने की उम्मीद है। इसके लिए बायडेन प्रशासन ने पहल की है, फिर भी पुख्ता कदम उठाने के लिए बायडेन प्रशासन उतना प्रसिद्ध नहीं है।

Leave a Reply

Your email address will not be published.