इस्रायल को आत्मरक्षा का अधिकार है-अमेरिका के विदेश मंत्री एंथनी ब्लिंकन

संयुक्त राष्ट्र संघ-वॉशिंग्टन-‘किसी भी तरह से आतंकवादी हमले का समर्थन नहीं किया जा सकता। फिर वह, मुंबई पर लश्कर-ए-तोयबा ने किया हमला हो, या इस्रायल के किबुत्झ बेरी पर हमास ने किया हमला हो’, ऐसा बयान अमेरिका के विदेश मंत्री एंथनी ब्लिंकन ने किया है। संयुक्त राष्ट्र संघ के महासचिव गुतेरस ने हमास ने इस्रायल पर किए आतंकवादी हमले के पीछे पृष्ठभूमि होने का बात कहकर इसका समर्थन किया है, ऐसे आरोप लगाए जा रहे हैं। इसपर इस्रायल तीखी प्रतिक्रिया दर्ज़ कर रहा हैं और इसी बीच अमेरिकी विदेश मंत्री ने यह कहकर ध्यान आकर्षित किया है कि, हमास ने किए हमले में १,४०० इस्रायली नागरिक मारे गए और इन मृतकों में ३० से अधिक देशों के नागरिक थे, यह बात अंतरराष्ट्रीय समुदाय न भूले।

अमेरिका के विदेश मंत्री ने सुरक्षा परिषद में बोलते समय अपने नागरिकों का किया गया हत्याकांड़ कोई भी देश बर्दाश्त नहीं करेगा, यह कहकर इस्रायल का आत्मरक्षा का अधिकार होन का अहसास कराया। इसके ज़रिये पिछले कुछ दिनों से इस्रायल ने गाजा पर शुरू की हुई सैन्य कार्रवाई रोकने के लिए अमेरिका की कोशिश जारी होने के दावे भी ब्लिंकन ने ठुकराए। इस्रायल अपने निर्णय स्वयं कर सकता हैं, ऐसा अमेरिकी विदेश मंत्री ने कहा हैं। साथ ही आतंकवाद को खत्म करना हर एक देश की ज़िम्मेदारी है, यह भी ब्लिंकन ने कहा।इस्रायल को आत्मरक्षा का अधिकार है-अमेरिका के विदेश मंत्री एंथनी ब्लिंकन

इसी बीच, युद्ध विराम करने के लिए इस्रायल पर दबाव बनाने की कोशिश में लगे लोगों को व्हाईट हाऊस के प्रवक्ता जॉन किरबाय ने दो टूक लगाई। मौजूदा समय में युद्ध विराम हुआ तो इससे हमास को ही लाभ होगा, यह इशारा भी उन्होंने दिया। इस युद्ध की दाहकता निरपराध नागरिकों को महसूस होगी, इसे नकारा नहीं जा सकता. लेकिन, युद्ध में रक्तपात होता हैं, यह दुर्भाग्यवश बात स्वीकारनी पड़ती है, ऐसा भी किरबाय ने कहा हैं।

इसी बीच, अमेरिका द्वारा इस्रायल को प्रचंड़ मात्रा में हथियार और रक्षा सामान प्रदान किया जा रहा हैं। इसकी जानकारी साझा करते हुए किरबाय ने यह कहा है कि, इस्रायल के लिए आवश्यक हथियार और रक्षा सामान की आपूर्ति करने के लिए अमेरिका प्रतिबद्ध हैं।

अमेरिका ने इस्रायल को अबतक हथियार और रक्षा सामान से भरे करीबन ४८ विमान रवाना किए होने की खबरें हैं। साथ ही इस्रायल की हवाई सुरक्षा भी अमेरिका ने बढ़ाई हैं और अमेरिका के युद्धपोत इस्रायल पर अन्य देशों के हमले न हो, इसका ध्यान रख रहे हैं। सबसे अहम बात यह है कि, इस्रायल-हमास युद्ध का बड़ा विस्फोत होने पर इस क्षेत्र में मौजूद अपने नागरिकों को अत्यल्प समय में यहां से बाहर निकालने की तैयारी भी अमेरिका ने रखी हैं।

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