आतंकी हमले के ड़र से ईरान ने परमाणु प्रकल्प के उपकरणों को छुपाया

तेहरान/ब्रुसेल्स – ‘पीछले साल ईरान के कराज परमाणु केंद्र पर हुए आतंकी हमले के बाद ईरान ने अपने परमाणु प्रकल्पों की सुरक्षा के लिए कुछ अहम कदम उठाएँ हैं| इसी के तहत ईरान ने ‘सेंट्रिफ्यूज’ तैयार करनेवाले संयत्र को किसी परमाणु प्रकल्प के ज़मीन के अंदर काफी गहराई पर रख दिया हैं’, ऐसी जानकारी ईरान के परमाणु ऊर्जा संस्था के प्रवक्ता बेहरोज़ कमालवंदी ने साझा की| ईरान के अधिकारी ने परमाणु प्रकल्पों पर हुए हमले के लिए किसी को भी ज़िम्मेदार बताना टाल दिया| लेकिन, पिछले डेढ़-दो सालों में परमाणु कार्यक्रम पर हुए हमलों की वजह से बने ड़र के कारण ईरान ने यह कदम उठाया दिख रहा है|

अंतरराष्ट्रीय परमाणु आयोग के प्रमुख राफेल ग्रॉसी ने गुरुवार को माध्यमों से बातचीत करते हुए ईरान के परमाणु प्रकल्प की गतिविधियों को लेकर नई जानकारी साझा की| ईरान ने नातांज़ परमाणु प्रकल्प में सेंट्रीफ्यूजेस तैयार करनेवाली मशिन को बड़ी गहराई में छुपा रखा हैं| हवाई हमलों से बचाने के लिए ईरान ने इस मशिन को इतनी बड़ी गहराई में रखा होने का बयान ग्रॉसी ने किया| राजधानी तेहरान के करीबी कराज़ परमाणु प्रकल्प से इस मशिन को नातांज़ पहुँचाया गया, यह जानकारी ग्रॉसी ने साझा की|

नातांज़ परमाणु प्रकल्प के तहखाने के बड़े हॉल में इस मशिन को रखा गया हैं| इससे पहले नातांज़ परमाणु प्रकल्प में सीर्फ युरेनियम संवर्धन का काम हो रहा था| सेंट्रीफ्यूजेस बनाने की व्यवस्था नातांज़ प्रकल्प में नहीं थी| कराज परमाणु प्रकल्प में ही सेंट्रीफ्यूजेस की मशिन थी| लेकिन पिछले साल जून महीने में कराज परमाणु प्रकल्प पर ड्रोन हमलें हुए| इसमें कराज प्रकल्प का बड़ा नुकसान होने का दावा किया जाता है| इसके बाद ईरान ने सेंट्रीफ्यूजस की यह मशिन भी नातांज़ में रखने का निर्णय किया, यह दावा हो रहा है|

ईरान के परमाणु ऊर्जा संस्था के प्रवक्ता बेहरोज़ कमालवंदी ने भी सुरक्षा के कारण इस मशिन को कराज़ से नातांज पहुँचाने की बात कही| लेकिन, इसके लिए अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा आयोग ज़िम्मेदार हैं, यह आरोप कमालवंदी ने लगया| इस्रायल हमारें परमाणु प्रकल्पों पर हमलें कर रहा हैं, इसपर ईरान ने परमाणु ऊर्जा आयोग का ध्यान आकर्षित किया था| लेकिन, आयोग इस्रायल पर कार्रवाई करने में नाकाम हुआ और इसी वजह से ईरान को अपने परमाणु कार्यक्रम की सुरक्षा के लिए उपाय करने पड़े, यह आरोप कमालवंदी ने लगाया|

इसी बीच, पिछले डेढ़ सालों में ईरान के नातांज के साथ परमाणु कार्यक्रम और सेना से जुड़े ठिकानों पर संदिग्ध विस्फोट हुए हैं| इसके पीछे इस्रायल होने का आरोप ईरान लगा रहा हैं|

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