महिने के अन्त तक हिंद महासागर में होगा ‘ब्रह्मोस’ का परीक्षण

नई दिल्ली – चीन के साथ तनाव बढ़ने की स्थिति में भारत मौजूदा महीने के अन्त में, हिंद महासागर के क्षेत्र में सुपरसोनिक क्रूझ मिसाइल ‘ब्रह्मोस’ का परीक्षण कर रहा है। तीनों रक्षाबलों के लिए तैयार किए गए ‘ब्रह्मोस’ मिसाइल की सभी आवृत्तियों का इस दौरान परीक्षण किया जाएगा, यह जानकारी सरकारी सूत्रों ने साझा की है। बीते महीने से भारत ने ‘ब्रह्मोस’ के तीन सफल परीक्षण किए है।

‘ब्रह्मोस’ का परीक्षण

‘ब्रह्मोस’ मिसाइल भारत का सबसे प्रगत एवं घातक मिसाइल है और यह विश्‍व का सबसे गतिमान सुपरसोनिक क्रूझ मिसाइल समझा जाता है। ‘ब्रह्मोस’ हवा से हवा में और हवा से ज़मीन पर हमला करने में भी सक्षम है। कुछ महीनें पहले ही रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने ‘ब्रह्मोस’ की मारक क्षमता २९० किलोमीटर से बढ़ाकर अब ४०० किलोमीटर करने का ऐलान किया था। इस पृष्ठभूमि पर, मौजूदा महीने के अन्त में ब्रह्मोस के होनेवाले परीक्षणों को बड़ी अहमियत प्राप्त हुई है।

इसी बीच अक्तूबर के आखरी सप्ताह में लड़ाकू ‘सुखोई – ३० एमकेआय’ विमान से सुपरसोनिक ब्रह्मोस क्रूझ मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया था। इस मिसाइल ने बंगाल की खाड़ी में करीबन ४०० किलोमीटर दूरी पर होनेवाले निर्धारित लक्ष्य को सटिकता से निशाना किया था। उससे पहले अरब सागर में, स्वदेशी स्टेल्थ विध्वंसक ‘आयएनएस चेन्नई’ से नौसेना के लिए निर्माण किए गए सुपरसोनिक ‘ब्रह्मोस’ मिसाइल का परीक्षण किया गया था। इस दौरान ब्रह्मोस ने अरब सागर में तय लक्ष्य को तहस-नहस किया था। वहीं, अक्तूबर महीने के पहले सप्ताह में ‘ब्रह्मोस’ की विस्तारित मारक क्षमता के मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया था।

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