चीनी कर्ज के चंगुल में फंसे हुए मालदीव को भारत से सहयोग की अपेक्षा

माली – मालदीव के राष्ट्राध्यक्ष पद के सूत्र हाथ लेने के बाद केवल कुछ ही घंटों में इब्राहिम मोहम्मद सोलिह ने जनता को देश के सामने होने वाले समस्याओं का एहसास दिलाया है| राजनैतिक हेतु से बड़े तादाद में कर्ज लेकर शुरू किए प्रकल्प की वजह से मालदीव संकट में फंसा है और इन प्रकल्पों में भ्रष्टाचार एवं गलत व्यवहार होने का आरोप है, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने कहा है| इस परिस्थिति में भारत से उन्हें सहायता की अपेक्षा होने की बात राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने स्पष्ट की है| भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्राध्यक्ष सोलिह इन के साथ पत्रकार परिषद में भारत मालदिव को सभी तौर पर सहयोग करने की घोषणा की है|

चीन अपने आर्थिक बल का उपयोग करके अविकसित देशों को बडे रकमों का कर्जा दे रहा है| इस कर्ज की वापसी करना उन्हें संभव नहीं है, इसका अहसास होकर भी चीन इन प्रकल्पों के लिए बड़ी रकम खर्च कर रहा है| चीन के इस शिकारी वित्त शास्त्र अथवा रिक्त धनादेश की धारणा से सभी देशों को सतर्क रहने की आवश्यकता होने की बात अमरिका से सूचित की जा रही है| भूतपूर्व राष्ट्राध्यक्ष अब्दुल्ला यामीन इनके कार्यकाल में मालदीव जैसा छोटा देश भी चीन के इस कर्ज के चंगुल में फंसा है| शनिवार को राष्ट्राध्यक्ष पद का शपथ लेने वाले सोलिह ने मालदीव की जनता को इस संकट का एहसास दिलाया था| देश की वित्त व्यवस्था चिंताजनक स्थिति में है यह कहकर राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने इसके विरोध में गतिमान कदम उठाने आवश्यक होनेकी बात स्पष्ट की है|

अव्यवहार्य ठहरनेवाले मूलभूत सुविधाओं के प्रकल्प मालदीव में शुरू किये जा रहे हैं| राजनैतिक हेतु से शुरू किए इन प्रकल्पों ने मालदिव की वित्त व्यवस्था का बहुत बड़ा नुकसान किया है, ऐसे कड़े शब्दों में राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने मालदीव की जनता को वास्तविकता का एहसास दिलाया है| इतना ही नहीं तो इन प्रकल्पों में बड़े तादाद में भ्रष्टाचार और गैर व्यवहार होने का आरोप भी सोलिह ने किया है| इन संकटों से बाहर निकलने के लिए मालदीव को भारत की सहायता चाहिए और मालदीव इसके लिए भारत की ओर अपेक्षा से देख रहा है, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने कहा है|

उनके शपथ विधि समारोह के लिए मालदीव में आए हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोलिह इनके आवाहन को प्रतिक्रिया दी है|

भारत मालदीव को सभी तौर पर सहायता करने की बात प्रधानमंत्री मोदी ने इस देश को कह कर आश्वस्त किया है| आनेवाले समय में अपना देश भारत के साथ सहयोग अधिक सक्षम करेगा और यह संयोग नहीं ऊचाई पर ले जाने के लिए मालदीव की सरकार वचनबद्ध है, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने स्पष्ट किया है| तथा हिंदी महासागर क्षेत्र में स्थिरता एवं सुरक्षा के लिए भारत एवं मालदीव द्वारा एकजुट प्रयत्न होंगे, ऐसा प्रधानमंत्री मोदी एवं राष्ट्राध्यक्ष सोलिह ने संयुक्त पत्रकार परिषद में कहा है|

सोलिह राष्ट्राध्यक्ष पद पर आने के बाद मालदीव की यात्रा चीन से भारत की तरफ अर्थात हुकुमशाही से जनतंत्रशाही की तरफ शुरू होने के संकेत अंतरराष्ट्रीय वृत्त माध्यमों ने दिए हैं| अमरिका एवं अन्य प्रमुख देशों ने मालदीव में हुए इस बदलाव का स्वागत किया है| इसकी वजह से चीन अस्वस्थ होने से बात स्पष्ट तौर पर दिखने लगी है|

चीन के बेल्ट एंड रोड इनीशिएटिव बीआरआय इस महत्वाकांक्षी प्रकल्प को बहुत बड़ा झटका लग रहा है| राष्ट्राध्यक्ष सोलिह चीन के राष्ट्राध्यक्ष समारोह शपथ ग्रहण समारोह को भारतीय प्रधानमंत्री की उपस्थिति ध्यान केंद्रित करने वाली बात ठहरी है और चीन के बड़े नेताओं की इस समारोह में अनुपस्थिति बहुत कुछ बता रही है|

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