सीरिया में ‘आईएस’ के हमले में ९ रशियन जवान ढेर

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तर

मॉस्को – सीरिया के पूर्वी इलाके में ‘आईएस’ के आतंकवादियों ने किये हमले में ३५ लोगों की जान गई है, जिसमें ९ रशियन जवान भी शामिल हैं, यह जानकारी रशियन रक्षा मंत्रालय ने दी है। इस दौरान भडके संघर्ष में ‘आईएस’ के ४३ आतंकवादियों को ख़त्म करने का दावा भी रशियन रक्षा मंत्रालय ने किया है।

कुछ दिनों पहले ‘देर अल-झोर’ इस सीरिया के पूर्वी इलाके में स्थित प्रान्त में रशियन और सीरियन सैनिकों पर हमला हुआ था। रात के अँधेरे में आतंकवादियों ने यहाँ पर तैनात सीरियन लष्कर के तोपखाने पर तूफानी हमला किया। इस हमले में २६ सीरियन सैनिकों की जान जाने की जानकारी रशियन रक्षा मंत्रालय ने दी है।

‘आईएस’

आतंकवादियों के इस हमले में रशिया के दो जवान भी मारे गए हैं। अन्य सात जवान गंभीर रूपसे घायल हुए थे। इन जवानों को लष्करी अस्पताल में दाखिल करने के बाद उन पर इलाज करते समय उनकी जान गई है। रशिया ने किए हमले में आतंकवादियों को भी बहुत बड़ी जीवितहानि बर्दाश्त करनी पड़ी है, ऐसा रशियन रक्षा मंत्रालय ने दावा किया है। इस हमले में आतंकवादियों ने छः वाहनों को नष्ट किया है।

इस संघर्ष में मारे गए रशियन सैनिक नहीं बल्कि लष्करी सलाहकार थे, ऐसा रशियन रक्षा मंत्रालय ने दावा किया है। लेकिन ‘देर अल-झोर’ इलाके में रशियन लष्कर के सलाहकार नहीं हैं, बल्कि जवान और अनुबंधित सैनिक तैनात होने की जानकारी इसके पहले ही सामने आई है। पिछले कुछ सालों से सीरिया में चल रहे संघर्ष में रशिया के अनुबंधित सैनिक अस्साद राजवट के बचाव के लिए तैनात हैं।

रशिया के इन अनुबंधित सैनिकों के बारे में पश्चिमी मीडिया से खबरें सामने आ रहीं थी। लेकिन रशिया ने इन दावों को ख़ारिज किया था। लेकिन पिछले फ़रवरी महीने में ‘देर अल-झोर’ के संघर्ष में सीरियन लष्कर के साथ रशिया के इन अनुबंधित सैनिकों ने अमरिकी सैनिकों पर हमला करने के बाद यह मामला भड़क गया था। लगभग ६० अमरिकी सैनिकों ने सीरियन सैनिक और रशिया के अनुबंधित सैनिकों पर जोरदार कार्रवाई की थी। इस कार्रवाई में रशिया के १०० से भी अधिक सैनिकों के मारे जाने की खबर भी सामने आई थी। इस कार्रवाई में शामिल हुए अमरिकी सैनिकों ने यह खबर दी थी।

दौरान, इराक की सीमा के पास स्थित ‘देर अल-झोर’ प्रान्त पर कब्ज़ा पाने के लिए रशिया समर्थक सीरियन लष्कर, अमरिका, कुर्द बागी और ‘आईएस’ के आतंकवादियों का संघर्ष शुरू है। इसमें से युफ्रेट्स नदी के पूर्वी किनारे के दूसरी तरफ के इलाके पर अमरिका और कुर्दों का वर्चस्व है और पश्चिमी किनारे के इलाके में सीरियन लष्कर ने तम्बू डाला है।

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