‘डोकलाम’ की समस्या पहलेके सीमा विवाद से बहुत ही अलग है – चीन का दावा

बीजिंग, दि.१२: इसके पहले भी भारत और चीन के बीच सीमा विवाद निर्माण हुआ था।लेकिन दोनों देशों ने इन विवादों में समझदारी दिखाई थी, इस बात की याद दिलाते हुए भारत के विदेश सचिव एस. जयशंकरजी ने दोनों देशों को ‘डोकलाम’ के सम्बन्ध में चर्चा करने का आवाहन किया है। पर अब की बार का विवाद पहले के विवाद से बहुत ही अलग होने का बहाना बनाकर, चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गैंग शुआंग ने अपना देश पीछे हटने को तैयार नहीं है, इस बात का दावा किया है।

विदेश सचिव एस. जयशंकर जी की इस बात को शुआंग ने माना है कि, भारत और चीन के बीच सीमा रेखा अस्पष्ट होने के कारण दोनों देशों में विवाद होते रहते हैं।लेकिन अभी जिस ‘डोकलाम’ सीमारेखा पर दोनों देशों की सेना तैनात है, वह भारत और चीन के बीच की सीमारेखा निश्चित है, ऐसा शुआंग ने कहा।इस वजह से भारत इस जगह से सेना हटाए और विवाद को आगे बढ़ने से रोकने की एहतियात बरतने को शुआंग ने कहा है।इस बात से साफ जाहिर होता है कि चीन इस विवाद में पीछे हटने या राजनितिक स्तर पर चर्चा करके, इस विवाद को सुलझाने की कोशिश नहीं करेगा।

चीन के इस जिद्दी भूमिका की वजह से सिक्किम के सीमा क्षेत्र में निर्माणहुआ यह विवाद जल्दी सुलझने वाला नहीं है। भारतीय सेना ने भी यहाँ पर तम्बू ठोककर बहुत दिनों तक रहने की तयारी की है।

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