कश्‍मीर की नियंत्रण रेखा के करीब भारतीय सेना की अतिरिक्त तैनाती

नई दिल्ली – पाकिस्तान से हो रही आतंकियों की घुसपैठ रोकने के लिए भारतीय सेना ने नियंत्रण रेखा के करीब सेना की ब्रिगेड़ यानी ३,००० सैनिक तैनात किए हैं। सेनाप्रमुख जनरल मनोज मुकूंद नरवणे के जम्मू-कश्‍मीर दौरे के दो दिन बाद तुरंत ही यह तैनाती की गई है। बीते कुछ दिनों से पाकिस्तान भारतीय सीमा पर गोलीबारी कर रहा है और पाकिस्तान से बड़ी मात्रा में युद्धविराम का भंग किया जा रहा है। भारतीय सैनिकों ने पाकिस्तानी सेना को मुँहतोड़ प्रत्युत्तर दे रहे हैं। लद्दाख की सीमा पर भारत-चीन के बीच तनाव में बढ़ोतरी हुई है और तभी मित्रदेश चीन की सहायता के लिए पाकिस्तान की सेना कश्‍मीर की नियंत्रण रेखा पर कुछ भी हरकत कर सकती है, यह बात ध्यान में रखकर भारतीय सेना ने यह अतिरिक्त तैनाती करने की बात दिख रही है।

बीते कुछ दिनों से पाकिस्तानी सेना ने नियंत्रण रेखा पर हमले बढ़ाए हैं। १ मार्च से ७ सितंबर के दौरान पाकिस्तानी सेना ने सीमा पर २,४५३ बार युद्धविराम का उल्लंघन किया है, यह जानकारी रक्षा राज्यमंत्री श्रीपाद नाईक ने राज्यसभा में साझा की। तभी, इसी महीने में पाकिस्तानी सेना ने ३१ बार युद्धविराम का उल्लंघन करने की जानकारी सामने आ रही है। इसके अलावा पाकिस्तानी सैनिकों ने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर १९२ बार गोलीबारी करने की जानकारी भी नाईक ने प्रदान की। नियंत्रण रेखा के करीबी पूंच, राजौरी, गुरेज और बालाकोट में पाकिस्तानी सेना ने मॉर्टर्स और रॉकेटस्‌ के हमलों के साथ गोलीबारी जारी रखी है। इन हमलों की आड़ में पाकिस्तानी सेना आतंकियों की जम्मू-कश्‍मीर में घुसपैठ करने की कोशिश में जुटी होने का दावा किया जा रहा है। अगले दो महीनों में अक्तूबर और नवंबर में पाकिस्तान इसी तरह से युद्धविराम का उल्लंघन करके इसकी आड़ में घुसपैठ करवाने की जोरदार कोशिश करेगा, यह जानकारी लष्करी सूत्रों ने साझा की।

भारतीय सेना ने पाकिस्तान की हो रही गोलीबारी को मुँहतोड़ जवाब दिया है और बीते कुछ दिनों में हिज़बुल मुजाहिद्दीन, अल बद्र नामक पाकिस्तानी पुरस्कृत आतंकी संगठनों की कमर तोड़ रखी है। इन संगठनों के आतंकियों को ख़त्म करने के साथ ही भारतीय सेना ने जम्मू-कश्‍मीर पुलिस की सहायता से इन आतंकी संगठनों के एजंट्स को भी हिरासत में लिया है। ऐसे में आतंकियों को हथियारों की आपूर्ति करने के लिए पाकिस्तान ने ड्रोन्स का प्रयोग करना शुरू किया गया है और शुक्रवार की रात राजौरी में सेना की कार्रवाई में ‘ड्रोन्स’ से पहुँचाए गए २ एके रायफल्स, ६ मैगज़ीन्स, २ चीन में बने पिस्तौल-मैगज़ीन्स, ४ ग्रेनेड्स बरामद किए गए। कुछ दिन पहले कथुआ और जवाहर इलाकों से चार ड्रोन्स भी बरामद किए गए हैं।

पाकिस्तान की नियंत्रण रेखा के करीब बढ़ रहे तनाव की पृष्ठभूमि पर सेनाप्रमुख जनरल नरवणे ने गुरूवार और शुक्रवार के दिन जम्मू-कश्‍मीर का दौरा किया। पाकिस्तानी सेना युद्धविराम का उल्लंघन कर रही है तभी सेना की तैयारी का जाएज़ा भी सेनाप्रमुख ने लिया। पाकिस्तानी सेना एवं आतंकियों को जोरदार प्रत्युत्तर दे रहे भारतीय सैनिकों की सेनाप्रमुख ने सराहना की। साथ ही सीमा पर घुसपैठ की कोशिश नाकाम करने के लिए भारतीय सेना ने गश्‍त की प्रगत तकनीक का इस्तेमाल करना शुरू किया है, यह जानकारी भी सेनाप्रमुख ने साझा की। इसके बाद शनिवार के दिन पाकिस्तान के करीबी नियंत्रण रेखा पर ३,००० सैनिक तैनात करने की जानकारी सामने आ रही है।

लद्दाख की सीमा पर भारत-चीन में बने तनाव का लाभ उठाकर पाकिस्तानी सेना जम्मू-कश्‍मीर पर हमला करे, ऐसी सलाह पाकिस्तान में मौजूद जंगबाज़ विश्‍लेषक दे रहे हैं। साथ ही पाकिस्तान की सहायता से भारत को दो मोर्चों पर लड़ने के लिए मज़बूर करने की कोशिश चीन कर सकता है, ऐसी धमकियां चीन के सरकारी मुखपत्र दे रहे हैं। लेकिन, भारत एक ही समय पर दो मोर्चों पर लड़ने के लिए पूरी तरह से तैयार होने की बात सेनाप्रमुख जनरल नरवणे ने स्पष्ट की है। जम्मू-कश्‍मीर की नियंत्रण रेखा पर भारतीय सेना ने की हुई अतिरिक्त तैनाती यही बात रेखांकित कर रही है।

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