कोरोना प्रतिबंधों को लेकर युरोप में शुरू हुए प्रदर्शनों ने लिया हिंसक मोड़

Europe-COVID-protest-02अ‍ॅमस्टरडॅम/कोपनहेगन – यूरोप में कोरोना की तीव्रता फिर से बढ़ने लगी होकर, उस पर नियंत्रण पाने के लिए विभिन्न देशों ने फिर से प्रतिबंध लगाने की शुरुआत की है। इन प्रतिबंधों की विरोध में युरोपीय जनता में असंतोष भड़का होकर लगभग 10 देशों में व्यापक प्रदर्शन शुरू हुए हैं। नीदरलैंड्स, डेन्मार्क, ऑस्ट्रिया, बेल्जियम जैसे देशों में प्रदर्शनों ने हिंसक मोड़ लिया होकर, आगजनी तथा पुलिस पर पथराव होने की बात सामने आई।

Europe-COVID-protest-01टीकाकरण की मुहिम धीमी पड़ना और सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का उल्लंघन, इसके साथ ही उत्तर गोलार्ध में शुरू हुई ठंड के कारण युरोप में मरीज़ों की संख्या बढ़ने की शुरुआत हुई है। दुनिया भर में सिर्फ युरोपीय देशों में ही कोरोना की तीव्रता बढ़ रही है, इसपर ‘वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनायझेशन’ (डब्ल्यूएचओ) ने भी गौर फ़रमाया है। इस पृष्ठभूमि पर युरोप के कई देशों ने फिर से प्रतिबंध लगाने की शुरुआत की होकर, उनमें लॉकडाउन का भी समावेश है।

Europe-COVID-protestलेकिन विभिन्न देशों की सरकारों ने इस संदर्भ में किए फैसले जनता में नाराजगी की भावना अधिक तीव्र करने वाले साबित हुए हैं। उस से असंतुष्ट निर्माण हुआ होकर कामा लाखों नागरिक सड़कों पर उतर आए हैं। नीदरलैंड्स, डेन्मार्क, ऑस्ट्रिया, बेल्जियम, क्रोएशिया, इटली, फ्रान्स, नॉर्दर्न आयर्लंड, स्वित्झर्लंड, नॉर्थ मॅसिडोनिया इन देशों में कोरोना के प्रतिबंधों के विरोध में व्यापक प्रदर्शन शुरू हुए हैं। उनमें से नीदरलैंड्स, डेन्मार्क, ऑस्ट्रिया तथा बेल्जियम के प्रदर्शनों ने हिंसक मोड़ ले लिया है।

नीदरलैंड्स तथा बेल्जियम में क्रोधित प्रदर्शनकारियों ने गाड़ियाँ तथा दूकानों को बड़े पैमाने पर आग लगाई। इस समय प्रदर्शनकारियों को रोकनेवाले पुलिस को भी लक्ष्य किया गया। पुलिस पर पथराव करके उनकी गाड़ियों को भी आग लगाई गई। इन मुठभेड़ों में लगभग २० से अधिक पुलिसकर्मी ज़ख्मी हुए हैं। दोनों देशों में सैकड़ों प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया होने की जानकारी सुरक्षा यंत्रणाओं ने दी। अगले कुछ दिनों में प्रदर्शन अधिक व्यापक और आक्रामक हो सकते हैं, ऐसा युरोपियन विश्लेषकों ने जताया है।

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