रुपये में आयी गिरावट को लेकर अवास्तविक चिंता करने की ज़रूरत नहीं

नई दिल्ली – मंगलवार को भी रुपये में गिरावट कायम रही होकर, प्रतिडॉलर रुपया 80.05 तक गिर गया। यह रिकार्ड़ गिरावट होकर, देश के लिए चिंता की बात होने की चेतावनियाँ दी जा रही हैं। लेकिन इसकी अवास्तविक चिंता करने की ज़रूरत ना होने का यक़ीन आर्थिक व्यवहार विभाग के सचिव अजय सेठ ने दिलाया। हालाँकि डॉलर की तुलना में रुपये में गिरावट हुई है, फिर भी ब्रिटिश पौंड, जापान का येन और युरो इन करेंसियों की तुलना में रुपये का मूल्य बढ़ा है, इसपर अजय सेठ ने ग़ौर फ़रमाया। उसी समय, रुपये में हो रही गिरावट को उचित रूप में हैंडल किया जा रहा होकर, रिज़र्व बैंक ने भी इसके लिए कदम उठाये हैं, ऐसा आर्थिक व्यवहार विभाग के सचिव ने कहा है।

रुपये में गिरावटरुपये में आयी रिकार्ड़ स्तर पर गिरावट यह बहुत बड़ी चिंता की बात साबित होती है। आगे आनेवाले आर्थिक संकट की चेतावनी इस गिरावट से मिल रही है, ऐसे दावे कुछ विश्लेषकों ने किये हैं। लेकिन डॉलर की तुलना में केवल भारत के रुपये में ही नहीं, बल्कि अन्य देशों की करेंसियों में भी गिरावट आयी है, इसपर कुछ अर्थविशेषज्ञों ने ग़ौर फ़रमाया था। ब्रिटेन, जापान तथा युरोझोन की सामूहिक मुद्रा होनेवाले युरो में भी गिरावट आयी है। पहली ही बार युरो डॉलर से भी कम दर पर उतर आया है। इससे पहले ऐसा कभी नहीं हुआ था, ऐसा कहते हुए, दुनियाभर की अन्य करेंसियों की दरों में हो रही गिरावट अमरीका का डॉलर मज़बूत बनने के कारण हो रही है, इस बात पर अर्थविशेषज्ज्ञ ध्यान आकर्षित कर रहे हैं।

अमरीका के फेडरल रिज़र्व ने ब्याजदर कम करने के कारण अमरीका का डॉलर मज़बूत हुआ। उससे अन्य देशों की करेंसियों की दरें, मज़बूत बन चुके डॉलर की तुलना में फिसल गयीं। भारत के आर्थिक व्यवहार विभाग के सचिव ने भी इस बात की ओर निर्देश किया। उसी समय, हालाँकि डॉलर की तुलना में रुपये का मूल्य घट चुका है, फिर भी ब्रिटिश पौंड, जापान का येन और युरो की तुलना में रुपये की दर बढ़ी है, इसपर अजय सेठ ने ग़ौर फ़रमाया। इसी कारण, रुपये की गिरावट के लिए अवास्तविक चिंता करने की ज़रूरत नहीं है। रिज़र्व बैंक ने इस समस्या को हैंडल करने के लिए उचित कदम उठाये हैं, ऐसा कहकर अजय सेठ ने देशवासियों को आश्वस्त किया है।

इसी बीच, रिज़र्व बैंक ने ‘एक्स्टर्नल कमर्शिअल बॉरोईंग्ज्‌ – ईसीबी’ की मर्यादा 75 करोड़ डॉलस से बढ़ाकर 1.5 अरब डॉलर्स पर ले जाने का फ़ैसला किया है। इससे देश में आनेवाला विदेशी निवेश बढ़ेगा, ऐसी उम्मीद ज़ाहिर की जाती है।

केंद्रीय वित्तराज्यमंत्री पंकज चौधरी ने भी, हालाँकि डॉलर की तुलना में रुपया कमज़ोर पड़ा है, फिर भी ब्रिटिश पौंड, येन और युरो की तुलना में रुपये की क़ीमत बढ़ी है, ऐसा राज्यसभा में पूछे गये सवाल के दिये हुए लिखित उत्तर में कहा है। साथ ही, देश के फ़ॉरेन रिज़र्व्ज़् का रिज़र्व बैंक द्वारा लगातार मुआयना किया जाता है। उसमें आनेवाले उतार-चढ़ावों को बारिक़ी से मद्देनज़र करके, उसपर उचित फ़ैसले भी रिज़र्व बैंक द्वारा किये जाते हैं, ऐसा पंकज चौधरी ने कहा है।

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