मौसम मे यकायक हुए बदलाव की वजह से जनरल रावत के हेलीकॉप्टर की दूर्घटना – जाँच रपट का अनुमान

नई दिल्ली – देश के पहले रक्षाबलप्रमुख जनरल बिपीन रावत की दूर्घटना में हुई मौत के लिए हेलीकॉप्टर में हुई तकनीकी खराबी, अनदेखी या साज़िश जिम्मेदार नहीं थी। बल्कि, मौसम में यकायक हुए बदलाव के कारण यह दूर्घटना हुई, यह जानकारी वायुसेना ने साझा की। इस दूर्घटना की गहराई से जानकारी प्राप्त करके यह अनुमान दर्ज़ किया गया है। साथ ही दूर्घटना की जाँच रपट में कुछ सुधारों की सिफारिश भी की गई है।

हेलीकॉप्टर की दूर्घटना८ दिसंबर २०२१ के दिन हेलीकॉप्टर दूर्घटना में रक्षाबलप्रमुख जनरल रावत समेत १२ लोगों की मौत हुई थी। पूरे देश को इससे सदमा लगा था। इस दूर्घटना के बाद वायुसेना के बेड़े के ‘एमआई-१७ वी ५’ हेलीकॉप्टर की गुणवत्ता पर सवाल उठाए गए थे। साथ ही पायलट की कुशलता पर भी कुछ लोगों ने आशंका जताई थी। या मानवी गलती या अनदेखी के भयंकर परिणाम स्वरूप से यह दूर्घटना हुई होगी, ऐसी आशंका भी कुछ लोगों ने व्यक्त की थी। इस पृष्ठभूमि पर वायुसेना ने इस दूर्घटना की गहराई से छानबीन शुरू की थी।

तीनों रक्षाबलों के ‘ट्राय सर्विस कोर्ट ऑफ इन्क्वायरी’ में इस दूर्घटना की जाँच रपट पेश की गई। इसमें ‘फ्लाईट डेटा रेकॉर्डर’, ‘कॉकपीट वॉईस रेकॉर्डर’ की जाँच करके एवं घटना स्थाल पर मौजूद गवाहों से जानकारी से यह रपट बनाई गई है। यकायक मौसम में हुआ बदलाव ही इस दूर्घटना का प्रमुख कारण था, यकायक बादल सामने आने से पायलट का हेलीकॉप्टर से नियंत्रण छूट गया और इसकी वजह से यह दूर्घटना हुई, ऐसा इस रपट में दर्ज़ किया गया है।

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