‘लोंगेवाला’ से प्रधानमंत्री ने दिया चीन और पाकिस्तान को सख्त संदेश

नई दिल्ली – भारत को किसी ने चुनौती देने की कोशिश की तो उसे मुँहतोड़ जवाब मिले बिना नहीं रहेगा। पूरा विश्‍व विस्तारवादी मानसिकता से बड़ा परेशान है। यह विस्तारवाद १८ वीं सदी की विकृत मानसिकता दिखाता है, ऐसे तीखे शब्दों में प्रधानमंत्री मोदी ने चीन का नाम लिए बगैर चीन को लक्ष्य किया। साथ ही इस वर्ष सैनिकों के साथ दिवाली मनाने के लिए प्रधानमंत्री ने ‘लोंगेवाला’ पोस्ट का चयन करके पाकिस्तान को भी सीधा संदेश दिया। विश्‍व की कोई भी ताकत भारतीय सैनिकों को अपने देश की रक्षा करने से रोक नहीं सकती, यह बात प्रधानमंत्री ने ड़टकर कही।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जैसलमेर स्थित पाकिस्तान की सीमा पर बनी ‘लोंगेवाला पोस्ट’ पर तैनात सैनिकों के साथ दिवाली मनाई। वर्ष १९७१ में हुए भारत-पाकिस्तान युद्ध के दौरान जैसलमेर के लोंगेवाला में हुए कड़े संघर्ष ने युद्ध की दिशा बदली थी। मात्र १२० भारतीय सैनिकों ने दिखाई अतुलनीय वीरता की वजह से पाकिस्तानी सैनिकों को युद्धभूमि छोड़कर भागना पड़ा था। पाकिस्तान के ढ़ाई हजार सैनिक उनके ३६ टैंक इन वीर भारतीय सैनिकों के सामने नाकाम साबित हुए थे। अपने प्राणों का बलिदान करके भारतीय सैनिकों ने रातभर पाकिस्तानी सैनिकों को लोंगेवाला में रोक रखा था। इसके साथ ही बड़ी सराहनीय व्यूहरचना करके पाकिस्तान के कुछ टैंक भी तहस नहस किए थे। इस लड़ाई की गणना विश्‍व के अहम टैंक युद्ध में होती है।

प्रधानमंत्री ने इस युद्ध में वीरगति को प्राप्त हुए सैनिकों के स्मारक को भेंट देकर आदरांजली अर्पण की। साथ ही भारतीय सेना के टैंक पर सवार होकर शत्रु को संदेश भी दिया। मौजूदा स्थिति में भारत का सामर्थ्य वीर सैनिकों के कारण है। इसी वजह से भारत अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपना पक्ष ड़टकर रख सकता है, यह बात प्रधानमंत्री ने रेखांकित की। भारत अपने हितों के साथ किसी भी स्थिति में समझौता नहीं करेगा। यह बात अब पूरे विश्‍व ने समझ ली है। आज पूरा विश्‍व जिस विस्तारवादी विकृत मानसिकता की वजह से चिंता से घिरा है, इसके विरोध में भारत एक प्रखर आवाज़ बन रहा है, यह कहकर प्रधानमंत्री ने भारत की ताकत रेखांकित की।

इसी बीच, लोंगेवाला के बाद जैसलमेर हवाई अड्डे पर पहुँचकर प्रधानमंत्री ने वायुसैनिकों के साथ संवाद किया। भारतीय सैनिकों के हुंकार से शत्रु के पैर कांपने लगते हैं, उनके पसीने छुटते हैं, यह बयान प्रधानमंत्री मोदी ने किया। देश की सीमा की रक्षा करनेवाले सैनिक ही देश की ताकत हैं। सामर्थ्य ही विजय का विश्‍वास है और सामर्थ्य होता है तो ही शांति बरकरार रखना संभव होता है, यह बात भी प्रधानमंत्री ने रेखांकित की। दिवाली के अवसर पर दरवाजे पर शुभ लाभ लिखकर रंगोली बनाई जाती है। दिवाली में समृद्धि प्राप्त करने का विचार रहता है। लेकिन, अपने देश की समृद्धी और शुभ लाभ आपकी वजह से और आपके पराक्रम की वजह से है। इसी वजह से आज देश के हरएक घर में आप सभी का गौरवगान जारी है, इन शब्दों में प्रधानमंत्री मोदी ने सैनिकों की मुक्त स्वर से सराहना की।

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