इराकी प्रदर्शनकारियों पर ईरान से जुडे गुट ने चलाई गोलियां – २५ लोगों की मौत, १३० जख्मीं

तृतीय महायुद्ध, परमाणु सज्ज, रशिया, ब्रिटन, प्रत्युत्तरबगदाद: इराक सरकार के विरोधी प्रदर्शनकारियों पर हमलावरों ने अंधाधुंद गोलियां चलाई है| इस घटना में २५ लोग मारे गए है और १३० जख्मी हुए| इराक के पॉप्युलर मोबिलायझेशन फोर्सेस(पीएमएफ) इस ईरान से जुडे गुट ने यह गोलीबारी की है| इस हमले के बाद इराक की जनता ईरान के प्रति बडा गुस्सा व्यक्त कर रही है| ईरान के समर्थन पर काम कर रही इराक की सरकार का तख्तापलट करने की मांग अब और भी जोर पकड रही है|

राजधानी बगदाद के एक चौराहे के निकट होनेवाले सिनाक, जम्हुरिया और आहर पुलों पर सैकडों इराकी प्रदर्शनकारी ग्रीन झोनमें प्रवेश करने की कोशिश में थे, तभी यह हमला हुआ| एक गाडी से घटनास्थल पर पहुंचे हमलावरों ने प्रदर्शनकारियों पर अंधाधुंद गोलियां बरसाई| तीनों पुलों पर ऐसे हमलें हुए है| शुक्रवार की रात शुरू हुए यह हमलें शनिवार की सुबह तक जारी थे| इस गोलिबारी में २५ लोग मारे गए है और १३० जख्मी होने की जानकारी इराकी यंत्रणाओं ने साझा की| पर, इस हमलें की तीव्रता देखे तो इस घटना में जान से जानेवाले लोगों की संख्या बढने की कडी संभावना व्यक्त हो रही है|

इस हमले के पीछे ईरान से जुडी पीएमएफयह हथियारी गुट होने का आरोप प्रदर्शनकारियों ने किया है| इस हमले से कुछ ही घंटे पहले पीएमएफके हमलावरों ने राजधानी बगदाद में १३ लोगों पर चाकू से हमला किया था| इराकी प्रदर्शनकारियों ने ईरान के विरोध में की नारेबाजी और ईरान के दुतावास एवं ईरानी गुप्तचर यंत्रणा के खुफिया अड्डे पर किए हमलों पर जवाब देने के तौर पर पीएमएफयह हमलें कर रहा है, यह कहा जा रहा है| साथ ही दो दिन पहले अमरिका ने पीएमएफके बडे कमांडर पर की कार्रवाई का प्रतिशोध लेने के लिए भी यह हमलें किए होंगे, यह भी चर्चा है|

अमरिका ने पिछले हफ्ते में ही पीएमएफके तीन कमांडर्स पर प्रतिबंध जारी किए थे| ईरान के रिव्होल्युशनरी गार्डस् के साथ संपर्क रखने का आरोप रखकर अमरिका ने पीएमएफके कईस अल खझाली, लैथ अल खझाली और हुसैन फलिल अझिझ अल लमी इन तीनों पर प्रतिबंध लगाने का ऐलान किया| इन प्रतिबंधों पर जवाब देने के लिए पीएमएफने दो दिन पहले बगदाद में अमरिका के लष्करी अड्डे पर राकेट हमलें किए| वही, शुक्रवार के दिन इराकी प्रदर्शनकारियों पर हुआ गोलीबार भी अमरिका के लिए दिया जवाब होने का दावा हो रहा है| ‘पीएमएफने इन आरोपों पर जवाब देने से अभी इन्कार किया है|

अक्टुबर १ से इराक में सरकार के विरोध में हो रहे प्रदर्शनों में अबतक ४५० से भी अधिक लोग मारे गए है| प्रधानमंत्री महदी ने इस्तीफा दिया है, फिर भी प्रदर्शनकारी पुरी सरकार बरखास्त करने की मांग कर रहे है| ईरान के इशारे पर काम करनेवाली इराक की सरकार बरखास्त की गई तो देश की अर्थव्यवस्था में सुधार होगा और शांति स्थापित होगी, यह दावा इराकी जनता कर रही है| साथ ही इराक में नए से चुनाव करें, यह मांग भी प्रदर्शनकारी कर रहे है|

इसी बीच इराक में प्रदर्शनकारियों को अमरिका, ब्रिटेन, इस्रायल और सौदी अरब का समर्थन होने का आरोप ईरान ने किया है| इसके अलावा यह प्रदर्शन कुचलने के लिए इराक की सरकार ईरान का अनुकरण करें, यह सलाह ईरान के सर्वोच्च धार्मिक नेता आयातुल्ला खामेनी ने दिया था| ईरान की इस सलाह के बाद इराकी सुरक्षा यंत्रणाओं ने प्रदर्शनकारियों के विरोध में आक्रामक कार्रवाई शुरू की थी| पर, शुक्रवार और शनिवार को हुई घटना में इराक में मौजुद ईरान से जुडी पीएमएफगुट का हाथ होने की बात सामने आने से सीर्फ इराक की जनता ही नही, बल्कि अन्य देशों से भी गुस्से से भरी प्रतिक्रिया उमड रही है|

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