अमरिका के पूर्व राष्ट्राध्यक्ष जॉर्ज बुश इनका निधन

ह्यूस्टन – अमरिका के पूर्व राष्ट्राध्यक्ष जॉर्ज बुश वरिष्ठ इनका वृद्धावस्था से निधन हुआ| वह ९४ वर्ष के थे| अमरिका को शीत युद्ध में जीत देनेवाले और १९९१ में इराक पर हमला करनेवाले प्रभावशाली राष्ट्राध्यक्ष के तौर पर जॉर्ज बुश इनका नाम इतिहास में दर्ज हुआ है| शीत युद्ध के अंतिम समय में जॉर्ज बुश ने अमरिका को मजबूत नेतृत्त्व दिया, यह कहकर वर्तमान के राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प इन्होंने बुश इनके निधन पर शोक जताया|

अमरिका के ह्यूस्टन शहर में जॉर्ज बुश इन्होंने अंतिम सांस ली| पिछले कुछ महीनों से उनकी सेहत चिंताजनक थी| इस दौरान वरिष्ठ बुश का निधन हुआ, यह समाचार भी सामने आया था| लेकिन, यह समाचार झूठ है, यह खुलासा उनके पुत्र और अमरिका के पूर्व राष्ट्राध्यक्ष जॉर्ज बुश कनिष्ठ ने किया था| इस वर्ष के अप्रैल महीने में जॉर्ज बुश इनकी पत्नी बार्बरा बुश इनका निधन हुआ था| उसके बाद बुश इनकी स्वास्थ्य और भी बिगडा था|

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अमरिका के ४१ वे राष्ट्राध्यक्ष बने जॉर्ज बुश युवा अवस्था के दौरान दुसरे विश्‍वयुद्ध शुरू था तभी अमरिकी नौसेना में दाखिल हुए थे| विश्‍वयुद्ध समाप्त होने के बाद उन्होंने अमरिका के येल विद्यापीठ से अपनी पढाई पूरी की| उनके पिता प्रेस्कॉट बुश अमीर बैंकर के तौर पर प्रसिद्ध थे| जॉर्ज बुश इन्होंने इंधन व्यापार में प्रवेश किया था| लेकिन अगले समय में उन्होंने राजनीतिक अधिकारी के तौर पर खुद को सिद्ध किया| संयुक्त राष्ट्रसंघ में अमरिका के राजदूत की जिम्मेदारी भी उन्होंने संभाली थी| राष्ट्राध्यक्ष रोनाल्ड रिगन इनके प्रशासन में बुश अमरिका के उपराष्ट्राध्यक्ष बने थे|

१९८८ में भारी बहुमत के साथ जॉर्ज बुश अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष बने| इस दौरान सोव्हिएत रशिया के साथ शुरू चरम अवस्था में पहुंचा था| १९८९ में सोव्हिएत रशिया का विघटन होने के बाद ही शीत युद्ध की समाप्ति हुई थी| इस वजह से शीत युद्ध में अमरिका को जीत दिलानेवाले राष्ट्राध्यक्ष जॉर्ज बुश यह इतिहास में दर्ज हुआ| लेकिन १९९१ में इराक पर हमला करके जॉर्ज बुश इन्होंने पहले ‘गल्फ वॉर’ की?शुरूआत की| कुवैत पर हमला करके उस समय के इराक के तानाशाह सद्दाम हुसेन इन्होंने अन्य खाडी देशों को अपने आतंक के नीचे लाया था| लेकिन बुश इनकी नेतृत्त्व के नीचे अमरिका ने हवाई हमले करके सद्दाम हुसेन को घुटने के बल लाया था|

इसके बावजूद जॉर्ज बुश इन्हें राष्ट्राध्यक्ष पद के चुनाव में दुसरी बार जीत हासिल करना मुमकिन नही हुआ था| अमरिका के अर्थव्यवस्था को गति देने में असफल होने से जॉर्ज बुश डेमोक्रेट पार्टी के नेता बिल क्लिंटन इनके विरोध में हुए चुनाव में पराजित हुए थे| फिर भी अमरिका की राजनीति पर जॉर्ज बुश इनका प्रभाव बना रहा| उनके पुत्र जॉर्ज बुश कनिष्ठ २००१ में अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष बने| उनके प्रचार के लिये वरिष्ठ बुश ने अहम जिम्मेदारी निभाई?थी|

फिर भी बुश इनकी अंतरराष्ट्रीय प्रतिमा युद्धप्रिय राष्ट्राध्यक्ष यही बनी थी| उन्होंने इराक पर हमला करके खाडी इलाके में अस्थिरता निर्माण की, यह आरोप आज भी होता है| इसी दौरान जॉर्ज बुश इनका घराना हमेशा अमरिका की राजनीति पर अपना प्रभाव रखता है, यह आरोप भी ‘कान्स्पिरसी थिअरिस्ट’ करते है| बिल क्लिंटन १९९३ में जॉर्ज बुश इन्हे पराजित करके राष्ट्राध्यक्ष बने थे| फिर भी प्रशासन पर जॉर्ज बुश इन्हीं का नियंत्रण था| इतना ही नही बल्कि क्लिंटन को मिली जीत के पीछे बुश ही थे, यह आरोप ‘कान्स्पिरसी थिअरिस्ट’ करते है|

जॉर्ज बुश वरिष्ठ इनके पिता प्रेस्कॉट बुश यह अमीर कारोबारी थे और उन्होंने दुसरा विश्‍व युद्ध शुरू करनेवाले अडॉल्फ हिटलर की नाझी पार्टी को अर्थ सहाय किया था, यह आरोप अमरिका में किया जाता है| पूरा विश्‍व एकही सरकार के नियंत्रण में लाने के अंतरराष्ट्रीय षडयंत्र में बुश और उनके घराने का योगदान था, यह भी कुछ ‘कान्स्पिरसी थिअरिस्ट’ का कहना है| येल विद्यापीठ में अध्ययन करते समय जॉर्ज बुश ‘स्कल अँड बोन्स’ यह अमरिका में खुफिया तरीके से काम कर रहे अत्यंत प्रभावी गुट के सदस्य बने थे|

अमरिका के राष्ट्राध्यक्ष बनने के बाद ११ सितंबर, १९९१ के दिन जॉर्ज बुश इन्होंने माल्टा कान्फरन्स में बोलते समय ‘न्यू वर्ल्ड ऑर्डर’ की सिफारिश की थी| एकही वैश्‍विक सरकार स्थापित करके पूर विश्‍व को गिनेचुने धनवानों के आधिपत्य के नीचे लाने का षडयंत्र के तौर पर ‘न्यू वर्ल्ड ऑर्डर’ की पहचान होती है|

खुद जॉर्ज बुश वरिष्ठ या उनके घराने का दुसरा कोई भी अमरिका के वरिष्ठ अधिकारीक पदपर ना हो फिर भी अमरिका की उद्दिष्ट और नीति पर उनका प्रभाव कायम रह है| साथ ही गल्फ वॉर शुरू करनेक के पीछे बुश इनकी इंधन कंपनी के हिंतसंबंध जिम्मेदार थे, यह आरोप बुश परिवार पर लगातार हुए| बुश इनकी इंधन कंपनी के सऊदी अरेबिया के साथ स्थापित संबंध कायम विवाद का कारण बने थे| अमरिका के पूर्व राष्ट्राध्यक्षों को ‘सीआईए’ की खुफिया कागज जांचने का अधिकार होता है|

कई राष्ट्राध्यक्ष इस अधिकार का इस्तेमाल करते नही थे| लेकिन जॉर्ज बुश वरिष्ठ कायम ‘सीआईए’ के खुफिया रिपोर्ट और कागज देखते थे| यह होते हुए भी उन्होंने सऊदी अरेबिया में आतंकवादियों से संबं रखनेवाले कुछ लोगों से कारोबारी संबंध रखे थे| बुश इनकी कंपनी संकट में घिरी तो सऊदी के धनवान इस कंपनी में बडा निवेश करते थे, इसपर भी ‘कान्स्पिरसी थिअरिस्ट’ ध्यान आकर्षित करते आ रहे है|

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