कोरोना का फायदा उठाकर विदेशी ताकतें रशिया के प्रदर्शनकारियों को प्रोत्साहन दे रही हैं – रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन

मॉस्को – कोरोना की महामारी के कारण रशियन जनता में निर्माण हुई विफलता एवं नाराजगी का फायदा उठाकर विदेशी ताकतें रशिया में प्रदर्शनों को बढ़ावा दे रही हैं, ऐसा आरोप रशिया के राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन ने किया। रशिया में फिलहाल पुतिन के विरोधक ऍलेक्सी नॅव्हॅल्नी पर हुई कार्रवाई के विरोध में देशभर में प्रदर्शन जारी हैं। इन प्रदर्शनों की पृष्ठभूमि पर, अमरीका और युरोपीय देशों ने रशिया पर दबाव लाने की शुरुआत की होकर, प्रतिबंधों की भी चेतावनी दी है। इस पर प्रतिक्रिया देते समय पुतिन ने रशिया में चल रहे प्रदर्शनों के लिए विदेशी ताकतें ही जिम्मेदार होने का दोषारोपण किया है।

russia-protests-putinपिछले साल अगस्त महीने में ऍलेक्सी नॅव्हल्नी पर प्राणघातक विषप्रयोग हुआ था। पुतिन के कड़े विरोधक माने जानेवाले नॅव्हॅल्नी पर हुए इस विषप्रयोग के लिए रशियन सरकार ही जिम्मेदार होने का आरोप हुआ था। पिछले महीने नॅव्हॅल्नी रशिया मैं लौटने के बाद उन्हें शीघ्रता से गिरफ्तार करके जेल भेजा गया था। इस कारण रशिया में नॅव्हॅल्नी के समर्थकों और पुतिन के विरोध को ने बड़े पैमाने पर प्रदर्शन शुरू किए हैं। इन प्रदर्शनकारियों पर रशियन सुरक्षा यंत्रणा ने अब तक की कार्रवाई में हजारों लोगों को हिरासत में ले लिया है। इसमें युवा वर्ग का बड़े पैमाने पर समावेश है।

कुछ दिन पहले रशिया के विदेश मंत्री सर्जेई लॅव्हरोव्ह ने एक इंटरव्यू के दौरान, अमरीका और यूरोप द्वारा लगाए जाने वाले संभाव्य प्रतिबंधों को लेकर कड़ी चेतावनी दी थी। उसके बाद अब राष्ट्राध्यक्ष पुतिन द्वारा, प्रदर्शनों के पीछे ठेंठ विदेशी ताकतों का हाथ होने का उल्लेख किया जाना गौरतलब साबित होता है।

russia-protests-putinकोरोना की महामारी के कारण दुनिया के सभी प्रमुख देशों को मंदी का झटका लगा होकर, रशिया भी उसके लिए अपवाद नहीं है। कोरोना के कारण जनता के जीवनमान में गिरावट आई होकर, लोग असंतुष्ट और चिढ़चिढ़े बन चुके हैं । ऐसे हालातों में देश की सभी गलतियों के लिए सरकार को दोषी करार देना इसमें गलत कुछ भी नहीं है। लेकिन रशिया के विरोधकों ने, जनता में मौजूद इस नाराजगी का इस्तेमाल रशियन हुकूमत के खिलाफ भावनाओं को भड़काने के लिए किया’, ऐसा आरोप राष्ट्राध्यक्ष पुतिन ने किया।

‘नॅव्हॅल्नी जैसे महत्त्वाकांक्षी और सत्ता के भूखे लोगों को खास तैयार किया गया है। रशिया की ताकत को कमजोर बनाने के लिए और उस पर कब्जा करने के लिए विदेशी ताकतें उनका इस्तेमाल कर रहीं हैं। रशिया को कई क्षेत्रों में बड़ी सफलता मिली है और यह सफलता विदेशी हुकूमतों को चुभ रही है। इस कारण रशिया को नियंत्रण में रखने की नीति बनाई गई है। रशियन अर्थव्यवस्था के विरोध में किए जाने वाले फैसलों का भी उसमें समावेश है’, इन शब्दों में पुतिन ने अमरीका और युरोपीय देशों को खरी खरी सुनाई।russia-protests-putin

पिछले ही महीने, डॅव्होस में हुई वर्ल्ड इकॉनॉमिक फोरम की बैठक को संबोधित करते हुए राष्ट्राध्यक्ष पुतिन नी विदेशी ताकतों को चेतावनी दी थी। व्यापारी रोड़ें तथा आर्थिक और तंत्रज्ञान विषयक प्रतिबंध लष्करी कार्रवाई को न्योता दे सकते हैं और यह लष्करी कार्रवाई सबके लिए ही घातक बात साबित होगी, ऐसा राष्ट्राध्यक्ष व्लादिमिर पुतिन ने जताया था। इस समय रशियन राष्ट्राध्यक्ष ने तंत्रज्ञान क्षेत्र की ताकतवर कंपनियों की भी जमकर आलोचना की थी।

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