होर्मूज़ की खाड़ी से सुएज़ नहर तक ईरान हमले कर सकेगा – रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ के वरिष्ठ अधिकारी की धमकी

तेहरान – ईरान के हित को खतरा निर्माण होने की कोशिश की गई तो ईरान होर्मुज़ की खाड़ी या बाब अल-मंदेब ही नहीं बल्कि, सुएज़ नहर तक हमले कर सकता है, ऐसी चेतावनी ईरानी रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ के प्रमुख हुसेन सलामी ने दी। होर्मुज़ की खाड़ी से सुएज़ तक हो रही ईंधन और व्यापारी यातायात रोककर विश्व को बंधक बनाए रखने की क्षमता हम में है, इसका अहसास ईरान इस धमकी से करा रहा है। इस्रायल ईरान के परमाणु प्रकल्प पर हमले करने के गंभीर इशारे दे रहा है और ऐसे में ईरान ने अपने सैन्य अधिकारियों के ज़रिये दी हुई यह धमकी सनसनी निर्माण कर सकती है।

यह धमकी देने के अलावा इस्रायल विरोधी कार्रवाई के लिए लेबनान की हिज़बुल्लाह और गाज़ापट्टी की हमास जैसे आतंकी संगठनों को आर्टिफिशियल इंटेलिजेन्स से लैस ड्रोन्स प्रदान करने का ऐलान सलामी ने किया। ईरान के रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ ने पर्शियन खाड़ी में नया युद्धाभ्यास किया था। इस युद्धाभ्यास में रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ की नौसेना ने क्रूज़ मिसाइलें, ड्रोन्स का भारी मात्रा में इस्तेमाल किया। एम्फिबियन युद्धपोतों से दागी गई मिसाइल ईरानी ड्रोन्स ने नष्ट करने के फोटो प्रसिद्ध किए थे। इस युद्धाभ्यास के दौरान मेजर जनरल सलामी ने इस्रायल और अमरीका समेत अन्य देशों को भी बंधक बनाए रखने का इशारा दिया।

ईरान ने अब तक होर्मुज़ की खाड़ी या पर्शियन खाड़ी को घेरने की धमकी अमरीका और यूरोपिय देशों को दी थी। ईरान के रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ को प्राप्त गश्तपोत, मिसाइलें और ड्रोन्स के ज़रिये ईरान ने होर्मुज़ की खाड़ी में आतंक फैलाने की आलोचना खाड़ी देशों ने की थी। येमन में स्थित ईरान से जुड़े हौथी विद्रोहियों ने पर्शियन खाड़ी एवं रेड सी के क्षेत्र में सौदी अरब, यूएई और इस्रायल के जहाज़ों को ड्रोन्स से लक्ष्य किया था। लेकिन, अब ईरान के वरिष्ठ सैन्य अधिकारी ने सीधे सुएज़ तक ड्रोन हमले करने की धमकी बडी गंभीर बात होने का दावा किया जा रहा है।

होर्मुज़ की खाड़ी ईरान के कब्ज़े में है और विश्व के ईंधन की २० प्रतिशत आपूर्ति केवल होर्मुज़ की खाड़ी से होती है। एशिया और यूरोप को जोड़ने वाले इजिप्ट के सुएज़ नहर से विश्व के लगभग १० प्रतिशत ईंधन की यातायात होती है। पर्शियन खाड़ी और होर्मुज़ की खाड़ी से आगे बढ़ने वाले ईंधन और व्यापारी जहाज़ सुएज़ का इस्तेमाल करते हैं। इसकी वजह से किसी भी कारण से सुएज़ नहर बाधित हुई तो खाड़ी से हर दिन यूरोप पहुंचने वाले १० लाख बैरल्स कच्चे तेल की आपूर्ति बंद हो सकती है, यह दावा अंतरराष्ट्रीय अध्ययन मंडल कर रहे हैं।

इसी बीच पिछले कुछ दिनों से यूरोपिय देश ईरान के रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ पर प्रतिबंध लगाने के एवं इसे आतंकी संगठन घोषित करके ब्लैक लिस्ट करने की चेतावनी दे रहे हैं। यूरोपिय महासंघ की संसद में इससे संबंधित प्रस्ताव भी पेश किया गया है। रशिया-यूक्रेन युद्ध शुरू होने के साथ ही यूरोपिय देश ईंधन संकट का सामना कर रहे हैं। ऐसी स्थिति में होर्मुज़ की खाड़ी से सुएज़ नहर तक हमले करने की धमकी देकर ईरान यूरोपिय देशों का ईंधन संकट अधिक बढाने का संदेश देता दिख रहा है।

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