इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में चीन की गतिविधियों को रोकने के लिए फिलिपाईन्स में अमरीका सैन्य तैनाती बढ़ाएगी – ‘सॉलोमन आयलैण्ड’ पर फिर से शुरू होगा दूतावास

मनिला/होनिआरा – इंडो-पैसिफिक क्षेत्र की सुरक्षा को चीन के खतरे की पृष्ठभूमि पर अमरीका ने इस क्षेत्र में मोर्चा खड़ा करना करने की जोरदार गतिविधियां शुरू की हैं। इसी के एक हिस्से के तौर पर अमरिकी रक्षा मंत्री इंडो-पैसिफिक क्षेत्र के दौरे पर हैं और उन्होंने दक्षिण कोरिया और फिलिपाईन्स की यात्रा की। इस दौरे में फिलिपाईन्स में अमरीका की सैन्य तैनाती बढ़ाने के समझौते पर सहमति होने की जानकारी दोनों देशों ने साझा की है। इस समझौते के अनुसार अमरिकी फौज फिलिपाईन्स के चार अतिरिक्त अड्डों पर तैनात करने के लिए मंजूरी दी गई है। फिलहाल अमरीका और फिलिपाईन्स के ‘बेस एग्रीमेंट’ के अनुसार पांच अड्डों पर अमरिकी सेना तैनात है।

अमरीका और फिलिपाईन्स ने साल १९५१ में ‘म्युच्युअल डिफेन्स ट्रीटि’ पर हस्ताक्षर किए थे। इसके तहत अमरिकी फौज फिलिपाईन्स में तैनात की गई है। लेकिन, चीन के बढ़ते प्रभाव और दबाव के बाद फिलिपाईन्स ने इस समझौते से बाहर होने का इशारा दिया था। पर, अमरीका ने चीन के बढ़ते खतरे का अहसास कराकर फिलिपिनी सरकार को यह निर्णय लेने से रोक दिया था। बल्कि, अमरीका की तैनाती बढ़ाने का प्रस्ताव भी दिया गया।

अमरिकी रक्षा मंत्री लॉईड ऑस्टिन के दौरे में अमरीका और फिलिपाईन्स के ‘बेस एग्रीमेंट’ में सुधार करने पर सहमति होने का ऐलान किया गया। इस बीच ऑस्टिन ने फिलिपाईन्स के राष्ट्राध्यक्ष फर्डिनांड मार्कोस ज्युनियर और रक्षा मंत्री कार्लिटो गैल्वेज़ जुनियर से मुलाकात की। अमरीका की यह अतिरिक्त तैनाती ताइवान के समुद्री क्षेत्र के करीब होगी। इसकी वजह से यह तैनाती ताइवान पर चीन के संभावित हमले का मुकाबला करने के लिए होती दिख रही है।

इसी बीच, अमरीका ने पैसिफिक द्वीप देश ‘सॉलोसम आयलैण्ड’ पर अपना दूतावास फिर से शुरू करने का ऐलान किया। बुधवार को अमरिकी अधिकारियों की मौजूदगी में इस दूतावास का उद्घाटन किया गया। यह दूतावास फिर से शुरू होना इस क्षेत्र के लिए काफी अहम पल होने की प्रतिक्रिया अमरिकी विदेश मंत्री एंथनी ब्लिंकन ने दी।

पैसिफिक क्षेत्र के सामरिक नज़रिये से अहम छोटे द्वीप देशों पर नियंत्रण करने के लिए चीन पिछले कुछ सालों से विभिन्न प्रलोभन दे रहा है। इसमें अरबों डॉलर्स की आर्थिक सहायता का भी समावेश है। सॉलोमन आयलैण्ड जैसे द्वीप देश ने चीन के साथ रक्षा संबंधित समझौते पर हस्ताक्षर किए थे। चीन की हरकतों को चुनौती देने के लिए अमरीका ने इस क्षेत्र में जोरदार राजनीतिक गतिविधियां शुरू की हैं।

पिछले साल अमरीका ने पैसिफिक द्वीप देशों की स्वतंत्र परिषद आयोजित की थी। इससे पहले अमरिकी विदेश उप-मंत्री वेंडी शेर्मन ने भी पैसिफिक के द्वीप देशों का दौरा किया था।

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