रशिया के ‘वैग्नर ग्रूप’ पर यूरोपिय महासंघ के प्रतिबंध

ब्रुसेल्स – रशिया के आदेशों पर यूक्रैन, लीबिया और सीरिया में गोपनीय कारवाईयॉं एवं मानव अधिकारों का उल्लंघन करने वाले ‘वैग्नर ग्रूप’ पर यूरोपिय महासंघ ने आर्थिक प्रतिबंधों का ऐलान किया है| मर्सिनरीज् यानी कान्ट्रैक्ट सैनिकों की आपूर्ति करनेवाली इस कंपनी का इ्स्तेमाल करके रशिया ने संबंधित देशों में अस्थिरता फैलाने की कोशिश की, यह आरोप यूरोपिय महासंघ ने लगाया है| तो, यूरोपिय महासंघ अमरीका और ब्रिटेन की सहायता से रशिया पर नए प्रतिबंध लगाने की सोच में है| इस वजह से अमरीका और यूरोपिय मित्रदेश रशिया पर वर्ष २०१४ की तरह सख्त आर्थिक प्रतिबंध लगाने की तैयारी कर रहे हैं, यह दावा किया जा रहा है|

रशियन सेना से निवृत्त हुए पूर्व सैनिकों को ‘वैग्नर’ कंपनी में स्थान दिया गया है| विदेश में अपनी सैन्य एवं गोपनीय अभियानों के लिए रशिया इन कान्ट्रैक्ट सैनिकों का इस्तमाल करती है| अमरीका के ‘ब्लैकवॉटर’, ‘जी४एस’, ‘ट्रिपल कैनोपी’, ‘विनेल कॉर्पोरेशन’ जैसी मर्सिनरी कंपनियों की तरह रशिया की ‘वैग्नर’ भी काम करती है| सोमवार को यूरोपिय महासंघ ने रशिया की इस कंपनी पर गंभीर आरोप लगाए|

यूक्रैन, सीरिया, लीबिया के साथ सेंट्रल अफ्रीकन रिपब्लिक (सीएआर), सुड़ान और मोज़ैम्बिक में मानव अधिकारों का गंभीर हनन करने के लिए वैग्नर के सैनिक ज़िम्मेदार होने का आरोप यूरोपिय महासंघ ने लगाया| इनमें से लीबिया के गृहयुद्ध में वैग्नर कंपनी के निजी सैनिकों पर फ्रान्स और जर्मनी ने तीव्र आपत्ति जताई थी| साथ ही माली के संघर्ष में भी रशियन मर्सिनरीज् शामिल होने के आरोप लगे थे|

वैग्नर कंपनी के इस सैन्य हस्तक्षेप का ज़िक्र करके यूरोपिय देशों के विदेश मंत्रियों की बैठक में इन प्रतिबंधों का ऐलान किया गया| वैग्नर कंपनी के अलावा आठ रशियन अधिकारी और ऊर्जा क्षेत्र की तीन कंपनियों का भी इन प्रतिबंधों में समावेश है| इसके अनुसार रशियन कंपनी एवं अफसरों को यूरोपिय देशों के प्रवेश पर पाबंदी रहेगी|

इसके साथ ही उनके बैंक अकाऊंटस् भी फ्रीज किए जाएँगे, यह जानकारी यूरोपिय महासंघ के अधिकारी ने माध्यमों से बातचीत करते समय प्रदान की| इस वजह से वैग्नर कंपनी के साथ काम करना किसी भी देश की सरकार के लिए मुमकिन नहीं होगा, यह दावा किया जा रहा है| लेकिन, रशिया ने यूरोपिय महासंघ ने लगाए इन आरोपों को ठुकराया है|

वैग्नर एक स्वतंत्र कंपनी है और इसका रशियन सरकार या यंत्रणाओं से किसी भी तरह के ताल्लुकात ना होने की बात रशियन सरकार ने स्पष्ट की| साथ ही यह कंपनी किसी भी तरह से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रशिया के हितों की रक्षा नहीं करती, यह कहकर इस निर्णय का असर रशिया पर नहीं पड़ेगा, ऐसा रशियन सरकार ने कहा है|

इसी बीच दो दिन पहले जी-७ देशों ने यूक्रैन के मुद्दे पर रशिया को गंभीर परिणामों का इशारा दिया था| यूक्रैन पर हमला करना रशिया की बड़ी गलती साबित होगी, यह चेतावनी ‘जी-७’ ने दी थी| इसके बाद यूरोपिय महासंघ ने निजी कान्ट्रैक्ट कंपनी के खिलाफ इन प्रतिबंधों का ऐलान करके रशिया को चेतावनी देने की बात दिख रही है|

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