चीन के कमांड सेंटर में पाकिस्तानी लष्कर के अधिकारियों का समावेश

नई दिल्ली – साल भर पहले गलवान के संघर्ष में भारत से मार खाए चीन ने अपनी लष्करी योजनाओं में पाकिस्तान की सहायता लेने की खबरें सामने आ रही हैं। चीन ने अपने लष्कर के वेस्टर्न और सदर्न कमांड सेंटर में पाकिस्तान के लष्करी अधिकारियों को शामिल करने का दावा किया जाता है। भारतीय सेना के संदर्भ में महत्वपूर्ण जानकारी चिनी लष्कर को देने के लिए इन पाकिस्तानी अधिकारियों की तैनाती हुई है, ऐसा बताया जाता है।

चीन की पिपल्स लिबरेशन आर्मी के पाँच थिएटर कमांड सेंटर्स में वेस्टर्न कमांड सबसे बड़ा है। पिछले साल तक चीन का यह वेस्टर्न कमांड सबसे सुसज्जित और किसी भी परिस्थिति का सामना करने के लिए तैयार होने के दावे किए जाते थे। लेकिन गलवान के संघर्ष के बाद परिस्थिति पूरी तरह बदल चुकी है। क्योंकि भारत के विरोध में अपेक्षित सफलता प्राप्त न होने के कारण नाराज़ हुए चीन के राजनीतिक नेतृत्व ने इस वेस्टर्न कमांड के अधिकारी चार बार बदले थे। इन चार अधिकारियों में इनके राष्ट्राध्यक्ष जिनपिंग के निकटवर्ती और विश्वसनीय अधिकारियों का भी समावेश था।

भारतीय सेना ने चीन के लष्कर की आँखों के सामने लद्दाख के पँगाँग सरोवर की दक्षिणी पहाड़ियों पर कब्ज़ा किया था। भारत के स्पेशल फ्रंटिअर फोर्सेस के सैनिकों का यह प्रदर्शन देखने के बाद चीन के लष्करी अधिकारियों की पैरों तले की जमीन खिसक गई थी। उसी समय, भारतीय सेना से टक्कर लेने के बजाय चीन के जवानों को, लद्दाख के हवामान से मेल बिठाना यही बड़ी चुनौती लगने लगी थी। इस वातावरण में बीमार पड़नेवाले चिनी जवानों की संख्या बहुत बड़ी थी।

इससे चिनी लष्कर की मर्यादाएँ स्पष्ट हुईं। इसी कारण भारत पर दबाव डालने के लिए अन्य विकल्पों का इस्तेमाल करने की तैयारी चीन ने शुरू की। पाकिस्तान के लष्करी अधिकारियों की सहायता से उनसे अधिक से अधिक जानकारी प्राप्त करने कोशिश, यह उसी का भाग साबित होता है।

साथ ही, चीन के लष्कर को लद्दाख का हवामान और वातावरण इनका अनुभव न होकर, इसके लिए चीन पाकिस्तानी लष्कर के अधिकारियों पर निर्भर होने की हैरान करनेवाली बात इससे सामने आ रही है। उसी समय, भारतीय सेना का अधिक अध्ययन करने की ज़रूरत चीन को प्रतीत होने लगी है, यह बात भी गौरतलब साबित होती है। भारत के साथ इस प्रकार टक्कर लेने की नौबत चीन पर आएगी, इसके बारे में चीन ने इससे पहले नहीं सोचा था, यह बात भी इससे उजागर हो रही है।

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