‘डीआर कांगो’ में ४४ लोगों की हत्या – ‘आयएस’ से जुड़ी संगठन संदिग्ध

बेनी – अफ्रीका के ‘डीआर कांगो’ स्थित मुकोंदी गांव में आतंकवादियों ने ४४ लोगों को मौत के घाट उतारा। इनमें से कुछ की बड़ी क्रूरता से हत्या की गई है, ऐसी जानकारी इस देश की सेना ने प्रदान की। गांव के कुछ नागरिक अब भी लापता हैं और उनकी भी इस हमले में मौत हुई होगी, ऐसी संभावना जताई जा रही है। ‘आयएस’ से संबंधित ‘अलाईड डेमोक्रैटिक फोर्सस’ (एडीएफ) नामक आतंकी संगठन इन हत्याओं के पीछे होने की आशंका जताई जा रही है। एडीएफ के डीआर कांगो में बढ़ते हमलों की पृष्ठभूमि पर संयुक्त राष्ट्रसंघ ने चेतावनी जारी की है।

‘डीआर कांगो-डीआरसी’ की सेना ने साझा की हुई जानकारी के अनुसार गुरुवार को नॉर्थ किवू प्रांत के मुकोंदी गांव में भीषण आतंकी हमला हुआ। लगभग पांच घंटे चले इस हमले में एडीएफ के आतंकवादियों ने गांव के स्थानीय लोगों को मार डाला। इस दौरान कम से कम ४४ लोग मारे गए हैं और मृतकों में महिलाएं, बच्चे और बुज़ुर्ग भी हैं। ‘एडीएफ’ के आतंकवादियों ने इस हमले के लिए बंदूकों का इस्तेमाल नहीं किया बल्कि, तेज़ धार वाले हथ्यारों से गांववालों की हत्या कर दी, ऐसा स्थानीय लोगों का कहना है।

आतंकवादी यहीं नहीं रुके बल्कि, उन्होंने कुछ गांववालों को घर में बंद करके पूरे घर को ही आग के हवाले कर दिया। कुछ साल पहले आयएस के आतंकवादियों ने सीरिया और इराक में इस्तेमाल किए गए हत्याकांड के तरीके का इस्तेमाल ‘एडीएफ’ ने मुकोंदी के गांववालों पर करने का दावा किया जा रहा है। कुछ गांववाले अब भी लापता होने की जानकारी सामने आ रही है। मुकोंदी गांव पिछले कुछ सालों से डीआरसी की सेना के नियंत्रण में था। इस गांव में व्यवस्था स्थापित करने की कोशिश की जा रही थी। लेकिन, ‘एडीएफ’ के हमलों से मुकोंदी गांव में आतंक का नया माहौल फैला है, ऐसा स्थानीय माध्यमों का कहना है।

लेकिन, अब तक डीआरसी की सेना को सफलता हासिल नहीं हुई है। इसके लिए डीआरसी की राजनीतिक अस्थिरता ज़िम्मेदार होने का दावा किया जा रहा है।

अफ्रीका के अन्य देशों की तरह ही ‘डीआरसी’ में भी सत्ता के लिए संघर्ष जारी है। पिछले कुछ दशकों से डीआरसी के १२० से अधिक सशस्त्र संगठन सत्ता और प्रभाव एवं वहां पर कुदरती खनिज संपत्ति पाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। इनमें ‘आयएस’ से जुडे एडीएफ  नामक आतंकी संगठन ‘डीआरसी’ का बड़ा आतंक होने का दावा किया जा रहा है। इस संगठन का आतंक ‘डीआरसी’ के अलावा पड़ोसी देश युगाण्डा में भी है।

साल २०१३ में एडीएफ’ ने डीआरसी में किए हमलों में ६,००० से अधिक लोग मारे गए थे। वहां के नॉर्थ किवू और इतूरी प्रांत पर एडीएफ वर्चस्व पाने की कोशिश में जुटा हुआ है। इन दोनों प्रांतों में काफी भारी मात्रा में खनिज संपत्ति होने का दावा किया जा रहा है।

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