चीन पर दबाव कायम रखने के लिए ‘इंडो-पैसिफिक’ क्षेत्र में अमरीका और मित्रदेशों के व्यापक नौसेना अभ्यास

टोकिओ/गुआम/बीजिंग – अफगानिस्तान के मुद्दे का बहाना बनाकर चीन ताइवान समेत ‘आसियन’ देशों पर दबाव बढ़ा रहा है , ऐसे में अमरीका ने अपने मित्र देशों के साथ ‘इंडो-पैसिफिक’ के मुद्दे पर आक्रामक भूमिका अपनाई है। पिछले कुछ हफ्तों में अमरीका ने इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में एक के बाद एक नौसेना अभ्यास शुरू किए होकर, ये अभ्यास चीन पर दबाव बनाए रखने की नीति का भाग साबित होते हैं। जापान के नज़दीक अमरीका के दो ‘सुपरकॅरिअर्स’ और ब्रिटेन के विमानवाहक युद्धपोत ‘एचएमएस क्वीन एलिझाबेथ’ अपने ‘कॅरिअर स्ट्राईक ग्रुप’ समेत अभ्यास कर रहे हैं। उसी समय, गुरुवार से अमरीका के गुआम अड्डे के पास ‘क्वाड’ गुट के देशों का ‘मलाबार २१’ इस नौसेना अभ्यास का भी प्रारंभ हुआ है।

पिछले हफ्ते तालिबान ने अफगानिस्तान पर कब्ज़ा करने की पृष्ठभूमि पर चीन फिर एक बार आक्रामक हुआ है। अफगानिस्तान में हुई अमरीका की हार का इस्तेमाल करके, चीन ने ताइवान तथा आग्नेय एशिया के अन्य देशों को धमकाने की शुरुआत की है। उसी समय, साउथ चाइना सी क्षेत्र में चीन ने अपने विस्तारवादी कारनामें भी तेज़ किए हैं। चीन के इन कारनामों की पृष्ठभूमि पर, अमरीका और सहयोगी देशों ने भी इंडो-पैसिफिक में गतिविधियाँ तेज़ कीं दिख रहीं हैं।

ब्रिटेन का विमानवाहक युद्धपोत ‘एचएमएस क्वीन एलिझाबेथ’ अपने ‘कॅरिअर स्टाईक ग्रुप’ के साथ पिछले महीने में ही इंडो-पैसिफिक में दाखिल हुआ है। पिछले कुछ दिनों से ब्रिटिश नौसेना के बेड़े ने जापान में ही डेरा जमाया होकर, जापान और अमरीका की नौसेनाओं के साथ ‘ट्रायलॅटरल नॅव्हल एक्सरसाईज’ में उसने हिस्सा लिया। उसके बाद ईस्ट चाइना क्षेत्र में अमरीका और ब्रिटेन का स्वतंत्र नौसेना अभ्यास शुरू हुआ है। इसमें अमरीका का ‘युएसएस अमरीका’ और ‘युएसएस कार्ल विन्सन’ ये दो सुपरकॅरिअर्स और उनका स्ट्राईक ग्रुप सहभागी हुआ है। दोनों नौसेनाओं के २० से अधिक युद्धपोतों समेत, लगभग ८० से अधिक प्रगत लड़ाकू विमान इस नौसेना अभ्यास का भाग है, ऐसा बताया जाता है।

इस अभ्यास के जारी रहते ही, अमरीका के गुआम इस रक्षा अड्डे के पास ‘क्वाड’ गुट के मलाबार इस नौसेना अभ्यास की शुरुआत हुई है। इस अभ्यास में अमरीका, भारत, ऑस्ट्रेलिया और जापान के नौ युद्धपोत, पनडुब्बी, हेलीकॉप्टर्स तथा मेरिटाईम पेट्रोल एअरक्राफ्ट्स सहभागी हुए हैं। चार दिन चलनेवाले इस व्यापक नौसेना अभ्यास में ‘अँटी सबमरिन वॉरफेअर’ समेत अँटी सरफेस और अँटी एअर वॉरफेअर तथा ‘टॅक्टिकल एक्सरसाईजेस’ का समावेश होगा, ऐसी जानकारी सूत्रों ने दी। ‘मलाबार’ यह नौसेना अभ्यास सन १९९२ से आयोजित किया जा रहा होकर, इस बार आयोजित किया हुआ अभ्यास २५वां है, ऐसी जानकारी अमरिकी अधिकारियों द्वारा दी गई।

जापान और गुआम के करीब जारी व्यापक नौसेना अभ्यासों से पहले, पिछले महीने में अमरीका और ऑस्ट्रेलिया के बीच ‘तालिस्मान सॅबर २१’ यह द्विपक्षीय नौसेना अभ्यास संपन्न हुआ। उसके बाद पिछले ही हफ्ते में अमरीका और दक्षिण कोरिया में के बीच भी युद्धाभ्यास की शुरुआत हुई है। इन सभी अभ्यासों के माध्यम से अमरीका और मित्र देशों की नौसेनाएँ बड़े पैमाने पर ‘इंडो-पैसिफिक’ क्षेत्र में तैनात हैं। उसमें से चीन को उचित संदेश गया होने का दावा विश्लेषकों द्वारा किया जा रहा है।

Leave a Reply

Your email address will not be published.