ईरान की सरकार ने दो प्रदर्शनकारियों को फांसी चढ़ाया – ईरान के अल्पसंख्यांकों ने किया प्रदर्शनकारियों पर जारी कार्रवाई रोकने का आवाहन

तेहरान – हिज़ाब सख्ति विरोधी जारी प्रदर्शनों के बीच में रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ के सैनिकों की हत्या करने का आरोप लगाकर ईरान ने दो प्रदर्शनकारियों को फांसी दी है। साथ ही अमरीका और यूरोपिय महासंघ ने प्रतिबंध लगाए सैन्य अधिकारी को ईरान के पुलिस प्रमुख पद पर नियुक्ती की है। इसके ज़रिये ईरान की सरकार प्रदर्शनकारियों के खिलाफ जारी कार्रवाई बंद नहीं करेंगे, ऐसे स्पष्ट संकेत दे रही हैं। लेकिन, ईरान की हुकूमत प्रदर्शनकारियों पर जारी कार्रवाई तुरंत रोक दे, नहीं तो नए प्रदर्शन भड़केंगे, ऐसी चेतावनी ईरान के अल्पसंख्यांक धार्मिक नेता ने दी है।

ईरान में हिज़ाब सख्ति विरोधी शुरू हुए प्रदर्शन पिछले ११३ दिनों से लगातार जारी हैं। ईरान की सरकार ने माध्यमों पर पाबंदी लागने की वजह से यहां के प्रदर्शनों की पुरी जानकारी विस्व के सामने आने में समय जा रहा हैं। लेकिन, सोशल मीडिया के माध्यम से ईरान के प्रदर्शनों की जानकारी प्रसिद्ध हो रही हैं। पिछले महीने ईरान की सरकार ने सार्वजनिक स्तर पर प्रदर्शन करने पर पाबंदी लगाने के बावजूद ईरान के ८० से भी धिक शहरों के सड़कों पर हिज़ाब सख्ति विरोधी प्रदर्शन हो रहे हैं।

इन प्रदर्शनों में अबतक कम से कम ६०० लोग मारे गए हैं और २५ हज़ार से भी अधिक की गिरफ्तारी होने का दावा किया गजा रहा हैं। साथ ही ईरान की सरकार ने गिरफ्तार प्रदर्शनकारियों पर आरोप तय करके उन्हे फांसी चढ़ाने की प्रक्रिया तेज़ की हैं। कुछ दिन पहले रिवोल्युशनरी गार्डस्‌‍ के सैनिक पर हमला करने के मामले में ईरान की अदालत ने मोहम्मद महदी करामी और सईद मोहम्मद हुसैनी को फांसी सुनाई और इसपर शनिवार को अमल भी किया गया।

लेकिन, फांसी चढ़ रहे प्रदर्शनकारियों के परिवारजनों का साक्षात्कार प्रसिद्ध करने वाले पत्रकार को भी ईरान की यंत्रणा ने हिरासत में लिया हैं। इसके अलावा ईरान के जेलों में बंद प्रदर्शनकारियों पर बड़े अत्याचार हो रहे हैं, ऐसा दावा विदेशों में बसे ईरानी वंशी कर रहे हैं। महिला और बेटियों पर भीषण अत्याचार होने के आरोप ईरानी हुकूमत के विरोधी गुट लगा रहे हैं। प्रदर्शनकारियों के पक्ष में अदालत में गुहार लगा रहे वकीलों पर भी कार्रवाई शुरू होने से प्रदर्शनकारी मुश्किलों से घिरे हैं। इसी बीच ईरान के सर्वोच्च धार्मिक नेता आयातुल्ला खामेनी के आदेश के बाद ईरान के पुलिस प्रमुख पद पर विवादित अधिकारी की नियुक्ति होने की जानकारी सामने आ रही हैं।

इसी बीच विशेष समुदाय को लक्ष्य करके हो रही कार्रवाई ईरान की हुकूमत रोक दे, ऐसा आवाहन ईरान के अल्पसंख्यांक धार्मिक नेता, प्रभावी व्यक्ति और समर्थकों ने किया हैं। ईरान की स्थिति इतनी गंभीर बनी नहीं हैं। लेकिन, समय पर इसे काबू करना मुमकिन नहीं हुआ तो ईरान में प्रदर्शन और साथ ही हिंसा का नया विस्फोट होगा, ऐसी चेतावनी इन नेताओं ने दी हैं।

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