विश्‍व ‘कोरोना’ की दूसरी और तीसरी लहर के लिए भी तैयार रहें – जागतिक स्वास्थ्य संगठन की चेतावनी

ब्रुसेल्स – ‘कोरोना वायरस’ का टीका नज़दीकी समय में प्राप्त होना मुमक़िन नहीं हैं और आंतर्राष्ट्रीय समुदाय कोरोना की दूसरीं एवं तीसरीं लहर का मुकाबला करने के लिए तैयार रहें’, यह चेतावनी ‘जागतिक स्वास्थ्य संगठन’ (डब्ल्यूएचओ) ने दी है। ‘डब्ल्यूएचओ’ यह संगठन चीन की पब्लिसिटी करनेवाली कंपनी की तरह काम कर रही है, ऐसा तीखा आरोप अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष डोनाल्ड ट्रम्प ने कुछ घंटे पहले ही किया था। कोरोना वायरस की महामारी चीन में तेज़ गति से फैल रही थी, तभी चीन के सामने मुश्‍किलें खडीं ना हों इसलिए ‘डब्ल्यूएचओ’ ने इस महामारी से जुडी जानकारी सार्वजनिक नहीं की थी। इस वजह से यह महामारी दुनियाभर में फैली, यह आरोप अमरीका, जापान और तैवान ने किया है। यह आरोप होना शुरू हुआ था, तब भी ‘डब्ल्यूएचओ’ ने, ‘कोरोना वायरस’ मानव का निर्माण नहीं हैं, यह कहकर फिर एक बार चीन को बचाने की कोशिश की हुई दिखाई पडी है।

‘कोरोना वायरस’ की महामारी नज़दीकी भविष्य में ख़त्म नहीं होगी। दुनिया का हर एक देश इस महामारी की अगली लहर के लिए तैयार रहें। इस महामारी का पहला स्तर जब नियंत्रण में होगा, तब जितना समय प्राप्त होगा, उतनें समय में दुनिया को इस महामारी की दूसरी और तीसरी लहर का मुकाबला करने की तैयारी करनी होगी या आनेवाले दिनों में टूट गिरनेवाली, इससे भी भीषण महामारी के लिए तैयारी करें’, यह इशारा ‘डब्ल्यूएचओ’ के युरोप में नियुक्त प्रमुख अफसर डॉ. हैंस क्लूग ने दिया है। साथ ही, युरोप अभी भी इस महामारी की चपेट में है, यह चेतावनी भी क्लूग ने दी। कोरोना वायरस की दूसरी और तीसरी लहर से संबंधित इशारा देने के साथ ही क्लूग ने, कोरोना का विषाणू लैब में तैयार नहीं हुआ है, यह बात स्पष्ट की है।

अमरीका, ब्रिटन, जापान, तैवान और ऑस्ट्रेलिया जैसे देश, चीन के वुहान स्थित लैब में ही कोरोना वायरस का निर्माण हुआ है, यह आशंका व्यक्त कर रहे हैं। इनमें से कुछ देशों ने स्पष्ट रूप में, कोरोना वायरस चीन के जैविक युद्ध का हिस्सा होने का आरोप करना शुरू किया है। चीन के सरकारी समाचार चैनलों ने बनाईं डॉक्युमेंटरीज़् से इसके सबूत प्राप्त होते हैं, ऐसे दावे पश्‍चिमी माध्यमों ने किए हैं। इस वजह से, स्वयं का बचाव करने में चीन को कठिनार्इ हो रही है। ऐसे में, कोरोना वायरस के बडे झटके का सामना कर रहें देशों ने, चीन से बडा हर्जाना वसूल करने के संकेत दिए हैं। ऐसी स्थिति में, स्वयं को सुरक्षित करना भी चीन के लिए अधिक से अधिक कठीन हो रहा है।

इसके बावजूद, ‘डब्ल्यूएचओ’ अभी भी चीन का समर्थन करने की नीति छोडने के लिए तैयार नहीं है। कोरोना वायरस मानव का निर्माण नहीं हैं, बल्कि प्राकृतिक है, ऐसा दावा ‘डब्ल्यूएचओ’ के वरिष्ठ अफसर कर रहे हैं। फिलहाल ‘डब्ल्यूएचओ’ पर चीन का ज्यादा प्रभाव दिखाई दे रहा है और यह संगठन चीन का प्रमुख प्रचारक होने जैसा बर्ताव कर रहा है, ऐसी कडी आलोचना अमरिकी राष्ट्राध्यक्ष ने कुछ दिन पहले ही की थी। इस आलोचना पर जवाब या इसपर खुलासा करने के बजाए ‘डब्ल्यूएचओ’ ने, ‘कोरोना वायरस’ की नई लहर के तैयार रहें, यह चेतावनी पूरी दुनिया को दी है। यह बात सूचक साबित हो रही है और अमरीका समेत अन्य देशों ने की हुई आलोचना की हमें परवाह नहीं है, यही संदेशा देने की कोशिश ‘डब्ल्यूएचओ’ का नेतृत्व कर रहा है।

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