शांति समझौते के बाद तालिबान ने अफ़गानिस्तान में किए हमलों में कुल 3,560 सैनिक मारे गए

काबुल – अफ़गानिस्तान के राष्ट्राध्यक्ष अश्रफ गनी ने अफ़गानिस्तान में तालिबान की हिंसा में बढ़ोतरी की बात को स्वीकार किया है। अमरीका और तालिबान के बीच हुए शांति समझौते के बाद तालिबान ने किए गए हमलों में मारे गए एवं घायल हुए सैनिकों की संख्या 10 हज़ार तक जा पहुँचीने की जानकरी राष्ट्राध्यक्ष गनी ने साझा की। इसके चलते तालिबान ने अफ़गानिस्तान में ईद के मौके पर तीन दिनों के युद्धविराम का ऐलान किया है।

अफ़गानिस्तान

तालिबान युद्धविराम का ऐलान कर रही थी तभी राष्ट्राध्यक्ष गनी ने तालिबान की बढ़ती हिंसा की जानकारी दी। 29 फ़रवरी को अमरीका और तालिबान के बीच शांति समझौता हुआ। इसके कुछ ही घंटों बाद तालिबान ने अफ़गानिस्तान में भीषण खूनख़राबा किया। तालिबान ने अफ़गानी सुरक्षा बलों पर किए हमलों में अब तक 3,560 सैनिक मारे गए हैं और 6,781 सैनिक घायल होने की जानकारी राष्ट्राध्यक्ष गनी ने प्रदान की। तालिबान के हमलों में 775 अफ़गान नागरीक भी मारे गए हैं और 1,609 नागरिकों के घायल होने की बात राष्ट्राध्यक्ष गनी ने बयान की। तालिबान ने अफ़गानिस्तान के 689 लोगों का अपरहण करने की चौकानेवाली जानकारी भी राष्ट्राध्यक्ष गनी ने दी। साथ ही अफ़गान राष्ट्राध्यक्ष ने तालिबान के साथ शांतिवार्ता करने के संकेत भी दिए।

अगले शुक्रवार से तालिबान के युद्धविराम की शुरूआत हो रही हैं। इन तीन दिनों में तालिबान अफ़गानिस्तान में हिंसा नहीं करेगी। पर यदि दुष्मन द्वारा हमला किया गया तो तालिबान प्रत्युत्तर दिए बिना नहीं रहेगी, यह इशारा तालिबान के प्रवक्ता ने दिया है। अफ़गानिस्तान ने भी तालिबान का यह प्रस्ताव स्वीकार कर लिया है और हफ़्तेभर में अफ़गनिस्तान और तालिबान के बीच शांतिवार्ता शुरू होने के संकेत राष्ट्राध्यक्ष गनी ने दिए। अमरीका और नाटो ने तालिबान के इस युद्धविराम का स्वागत किया है। साथ ही तालिबान को अफ़गान सरकार से शांतिवार्ता करने के लिए आवाहन भी किया है।

तालिबान ने शुरू किया हुआ युद्धविराम जारी रहे, यह इच्छा अफ़गान जनता चाहती है। लेकिन, इससे पहले तालिबान ने युद्धविराम के दौरान भी अफ़गानिस्तान में हिंसा की थी। इसलिए इस नए युद्धविराम का कब तक पालन होगा यह चिंता अफ़गान जनता को सता रही है। इसी बीच अफ़गानिस्तान और पाकिस्तान की सीमा पर पाकिस्तानी सेना तालिबान की सहायता से मॉर्टर्स के हमले कर रही हैं। पिछले कुछ दिनों से पाकिस्तानी सेना के अफ़गान सीमा पर हो रहे हमलों में बढ़ोतरी हुई हैं। इसके विरोध में पश्‍तून गुटों ने अलग अलग हिस्सों में प्रदर्शन करना शुरू कर दिया है।

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