अफ़गानिस्तान में हिंसा कम करने के लिए पाकिस्तान तालिबान पर दबाव ड़ाले – इंटरनैशनल क्राइसिस ग्रूप

International-crisis-groupब्रुसेल्स – ‘अफ़गानिस्तान में हिंसा कम करके वहां पर शांति स्थापित करने के लिए पाकिस्तान तालिबान पर दबाव ड़ाले। इसके लिए पाकिस्तान तालिबान के साथ अपने संबंधों का इस्तेमाल करे क्योंकि, अफ़गानिस्तान की शांतिवार्ता विफल होती है तो इसका सबसे बड़ा झटका पाकिस्तान को ही लगेगा’, यह इशारा ‘इंटरनैशनल क्राइसिस ग्रूप’ नामक संगठन ने दिया है। तालिबान ने अफ़गानिस्तान की सत्ता हथियाई तो पाकिस्तान अपनी सीमा बंद करेगा, यह ऐलान पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इम्रान खान ने पांच दिन पहले ही किया था। इसके बाद ब्रुसेल्स में स्थित अंतरराष्ट्रीय संगठन ने यह इशारा दिया है।

पाकिस्तान का तालिबान के साथ कोई संबंध नहीं है, पाकिस्तान ने तालिबान का वकालतनामा नहीं स्वीकारा है, ऐसा बयान पाकिस्तान के विदेशमंत्री ने हाल ही में किया था। तभी, पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इम्रान खान ने भी अफ़गानिस्तान के संघर्ष से हमारे देश के ताल्लुकात ना होने की भूमिका अपनाई थी। लेकिन, पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में अफ़गान तालिबानीयों के आश्रय स्थान मौजूद होने की एवं वहीं पर स्थित अस्पताल में इनका इलाज़ हो रहा है, यह बात पाकिस्तान के ही अंदरुनि सुरक्षा मंत्री स्वीकार कर रहे हैं।

International-crisis-group-01-300x175तालिबान ने शुरू की हुई इस हिंसा की ओर पीठ दिखा रहे पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय संगठन एवं विश्‍लेषक इशारे दे रहे हैं। ‘इंटरनैशनल क्राइसिस ग्रूप’ नामक संगठन ने दो दिन पहले ही जारी किए ‘पाकिस्तान शोरिंग अप अफ़गानिस्तान्स पीस प्रोसेस’ नामक बीस पन्नों की रपट के माध्यम से पाकिस्तान को इशारा दिया है। ‘अफ़गानिस्तान से नाटो की जल्द हो रही वापसी का असर अफ़गान सरकार और तालिबान की शांतिवार्ता पर पड़ रहा है। ऐसी स्थिति में पाकिस्तान अफ़गानिस्तान की गनी सरकार और तालिबान के बीच निर्माण हुए तनाव को घटाए’, यह आवाहन किया गया है।

‘अफ़गानिस्तान की यह शांतिवार्ता विफल होती हैं तो पाकिस्तान के अफ़गानिस्तान और अमरीका के साथ जारी संबंध भी बिगड़ेंगे। अफ़गानिस्तान की अस्थिरता या तालिबान का इस देश पर कब्ज़ा होना तालिबान के साथ सहयोग कर रहे पाकिस्तान के आतंकियों को बल प्रदान करनेवाला साबित होगा। इस वजह से पाकिस्तान में भी अस्थिरता बढ़ेगी। ऐसे में अपने देश की सुरक्षा के लिए पाकिस्तानी नेता तालिबान पर दबाव ड़ालें’, ऐसी सलाह इस रपट के माध्यम से दी गई है।

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