ग्यारहवें दिन भी पुंछ में ऑपरेशन जारी; श्रीनगर में भी मुठभेड़ – बारामुल्ला में से आयईडी बरामद

श्रीनगर – जम्मू-कश्मीर के पुंछ में भिंबार गली के जनरल क्षेत्र में आतंकवादियों के खिलाफ जारी ऑपरेशन का गुरुवार को ग्यारहवाँ दिन था। लष्कर के जवान जंगल में प्रवेश करके आतंकवादियों की खोज कर रहे हैं। आतंकवादियों से होनेवाली गोलीबारी रुकी होने की खबरें आ रही हैं। दूसरी ओर जम्मू-कश्मीर के अन्य भागों में भी आतंकवादियों के ख़िलाफ ज़ोरदार कार्रवाई जारी है। गुरुवार शाम को श्रीनगर के छानपोरा इलाके में भी आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ शुरू हो गई है। यहाँ दो से तीन आतंकवादी फँसे होने के दावे किए जा रहे हैं। इसके अलावा बारामुल्ला में गुरुवार को महामार्ग पर घातपात कराने के उद्देश्य से आतंकवादियों ने छुपाया हुआ शक्तिशाली आईईडी, सुरक्षाबलों ने बरामद करके नाकाम किया। इससे बड़ा घातपात टला है।

बारामुल्लापिछले कुछ दिनों में जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों ने किया टारगेट किलिंग और सर्दी के मौसम से पहले जम्मू- कश्मीर में घुसपैंठ करने के लिए सीमा पर जारी आतंकवादियों की गतिविधियाँ, इस पृष्ठभूमि पर ‘ऑपरेशन ऑल आऊट’ अधिक व्यापक किया है। जम्मू कश्मीर में एक ही समय पर अलग-अलग स्थानों पर खोज मुहिम जारी है। इसमें पुंछ के भिंबर गली पीर पंजाल के जंगल का भाग होनेवाले जंगल क्षेत्र में पिछले १८ साल का सबसे बड़ा ऑपरेशन जारी है।

१८ साल पहले हिलकाक भाग के जंगल में बहुत बड़ा ऑपरेशन सुरक्षाबलों को हाथ में लेना पड़ा था। सन २००३ में इस भाग में आतंकवादियों ने घुसपैंठ करके यहीं पर अपने प्रशिक्षण अड्डे बनाए थे। ५०० लोगों को पर्याप्त होगी इतनी राशन सामग्री के साथ हथियारों और विस्फोटकों का बहुत बड़ा संग्रह यहाँ पर किया गया था। यह घुसपैंठ कारगिल युद्ध के बाद ही शुरू हुई थी। इस कारण इस घने जंगल को आतंकवादियों से मुक्त करने के लिए पीर पंजाल के पहाड़ी क्षेत्र में एक ही समय पर डेढ़ सौ वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में कार्यवाही शुरू कर दी गई थी। इस ऑपरेशन में ६२ आतंकवादी ढेर हुए थे। वहीं, दो जवान वीरगति को प्राप्त हुए थे।

पुंछ में फिलहाल जारी ऑपरेशन में अब तक नौं जवान शहीद हुए हैं। आतंकवादियों से होनेवाली गोलीबारी रुकी है। सुरक्षा बल के जवान जंगल में अंदर तक घुसे होकर, आतंकवादियों की खोज कर रहे हैं। पीर पंजाल के इस जंगल का भाग पुंछ की भिंबार गली से शुरू होता है, वह शोपियान तक फैला हुआ है। राजौरी और पुंछ इन दोनों जिलों में यह जंगल बँटा होकर सर्दी के मौसम में यहाँ पर भारी बर्फबारी होती है। उससे पहले आतंकवादियों को घुसपैंठ करके यहाँ से कश्मीर की घाटी में प्रवेश करना होता है, ऐसे दावे किए जा रहे हैं।

इसी बीच केंद्रीय गृहमंत्री अमित शहा शनिवार को तीन दिन के जम्मू-कश्मीर दौरे पर पहुँच रहे हैं। जम्मू-कश्मीर में अशांति फैलाने के लिए आतंकवादियों ने बदली हुई कार्यपद्धती और सीमा पर जारी घुसपैंठ की कोशिशें, इस पृष्ठभूमि पर केंद्रीय मंत्री का यह दौरा बहुत ही अहम साबित होता है। वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक बुलाकर केंद्रीय गृहमंत्री यहाँ की परिस्थिति और अगली कार्रवाई का जायज़ा लेंगे। तीन ही दिन पहले लष्कर प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे ने भी जम्मू कश्मीर का दौरा किया था।

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