परमाणु करार का उल्लंघन करने से ईरान को गंभीर परिणाम झेलना  होगा- अमरिकी राष्ट्रपति का संकेत

वॉशिंगटन/तेहरान: ईरान से परमाणु करार तोंड़ने में असफल रहे अमरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने ईरान को किसी भी प्रकार की छूट नही मिलेगी यह कहते हुए चेतावनी दी| अमरिका से किये करार का थोड़ा भी उल्लंघन ईरान के लिए बड़े संकटों का निमंत्रण होगा यह भी कहा| पर ईरान अमरिका से नहीं डरता और अमरिका से लगे प्रतिबन्ध को ईरान कड़ा जवाब देगा यह ईरान के राष्ट्रपति हसन रोहानी ने कहा|

भूतपूर्व राष्ट्रपति ओबामा ने ईरान से किये परमाणु करार को राष्ट्रपति ट्रम्प तोड़ेंगे यह बात उन्होंने चुनाव प्रचार में की थी| पद स्वीकार के बाद राष्ट्रपति ट्रम्प ने इस मामले में प्रयास शुरू किया पर देश अंतर्गत और युरोपीय देशों का विरोध देखकर उन्हें ईरान के परमाणु करार के मामले में पीछे होना पड़ा| ईरान के विषय में राष्ट्रपति को लगा यह पहला धक्का होने की बात ईरान तथा अमरिकी माध्यमों से बताई जा रही है|

पर ईरान के परमाणु करार तोड़ने के निर्णय पर हम आज भी कायम है यह घोषणा ट्रम्प ने की| अगले तीन महीनों के बाद इस परमाणु करार की समीक्षा की जायेगी यह भी ट्रम्प ने स्पष्ट किया| साथ ही परमाणु क़रार भले ही न टूटा हो पर ईरान इसका पालन क्या ठीक से कर रही है इसे अमरिका बारीकी से देखेगी| ईरान अगर इस क़रार का उल्लंघन करेगी तो उन्हें गंभीर परिणामों को झेलना होगा यह चेतावनी भी ट्रम्प ने दी| कुछ दिनों पहले ईरान पर नये प्रतिबंध लगाकर ईरान को तैयारी के संकेत दिए थे|

इन प्रतिबंधो को अमरिका के प्रतिनिधिगृह में मान्यता मिली है जिसपर राष्ट्रपति ट्रम्प जल्द ही हस्ताक्षर करेंगे| अमरिका के इन प्रतिबंधो के बदले ईरान से प्रतिक्रिया आयी| अमरिका के प्रतिबंधो पर उन्ही की भाषा में जवाब दिया जायेगा यह संकेत ईरान के राष्ट्रपति रोहानी ने दिए| साथ ही अमरिका के प्रतिबंधो से ईरान के प्रक्षेपास्त्र निर्माण में कोई बदलाव नहीं होते हुए वह वैसे ही शुरू रहेगा यह जानकारी रोहानी ने दी| अमरिका ने कब्ज़ा किये ईरानी नागरिक और संपत्ति वापस देने की मांग ईरान सरकार ने की है| पर पहले ईरान ने कैद किये अमरिकी नागरिकों को रिहा करने की मांग ट्रम्प प्रशासन ने की है|

अमरिका ने ईरान से किया परमाणु करार तोडा तो उसका विपरीत परिणाम अमरिका पर होगा यह कुछ विशेषज्ञों का मानना है| इस परमाणु करार के टूटने के बाद ईरान अधिक तेज़ी से परमाणु निर्मिती करेगी और तब उन्हें रोकना बहुत मुश्किल होगा यह विशेषज्ञों का अनुमान है| पर ईरान का यह परमाणु करार तोड़ने की मांग सऊदी अरेबिया और इस्राइल एवं आखाती मित्र देश लगातार करते आ रहे है|

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