इस्राइली विमान पाकिस्तान में प्रवेश करने से प्रधानमंत्री इम्रान खान की सरकार तकलीफ में

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इस्लामाबाद – इस्राइल के तेल अवीव से उडान भरने के बाद एक विमान पाकिस्तान के ‘नूर खान’ हवाई अड्डेपर उतरा, ऐसा दावा इस्राइल के एक अखबार ने किया है| अक्टूबर २३ और २४ के दरमियान यह इस्राइली विमान पाकिस्तान पहुंचा है, ऐसा इस अखबार ने कहा है| इस्राइल यह देश भारत और अमरिका जैसा ही पाकिस्तान का बडा शत्रु देश है, ऐसा दावा पाकिस्तान के कट्टरवादी करते है| पाकिस्तान के निर्माता मोहम्मद अली जीना इन्होंने अपना देश कभीभी इस्राइल का अस्तित्त्व मान्य करेगा नही, ऐसा घोषित किया था| इस कारन इस्राइली विमान ने पाकिस्तान में प्रवेश करने से पाकिस्तान में खलबली मची थी| लेकिन, इस विषय के वृत्त में सच्चाई नही है, इस विधान के साथ प्रधानमंत्री इम्रान खान की सरकारने अपना बचाव किया था| लेकिन, यह बचाव अब सरकार पर ही पलट गया है| ‘नूर खान’ हवाई अड्डे के कर्मचारी ने स्वयं इस्राइली विमान यहा उतरा था, ऐसा घोषित किया है|

इस्राइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेत्यान्याहू ओमान इस खाडी देश की यात्रा पर थे, तभी यह इस्राइली विमान पाकिस्तान में उतरा था| इसी विमान से इस्राइल के प्रधानमंत्री गोपनीय तरिके से पाकिस्तान में उतरे थे, ऐसे संकेत इस्राइली अखबार ने दिया है| इस के बाद पाकिस्तान में जोर से चर्चा हुई है| ईशनिंदा के आरोपों से आसिया बिबी इस इसाई महिला को पाकिस्तान की सर्वोच्च अदालत ने बरी किया है| इस के बाद सर्वोच्च अदालत के साथ ही पाकिस्तान सरकार को भी कट्टरवादी लक्ष्य कर रहे है| यह सरकार इस्लाम की विरोधक है, ऐसी आलोचना करके कट्टरपंथी सरकार और सेना के विरोध में विद्रोह के तौर पर उग्र रूप की घोषणा दे रहे है| ऐसी परिस्थिती में इस्राइल जैसे देश का विमान चोरी-छुपे पाकिस्तान में दाखिल होने का वृत्त कट्टरपंथीयों के क्रोध को भडकावा देने वाला साबित हुऔ|

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ज्यू धर्मियों के एजंट है, ऐसी आलोचना उनके विरोधी करने लगे है| इसी लिये चुप-चाप से इस्राइल का विमान पाकिस्तान में प्रवेश कर सका ऐसा दोष कट्टरपंथी जड रहे है| कुछ प्रसार माध्यमों ने भी इस विषय पर सरकार से खुलासे की मांग की थी| इस पर इम्रान खान की सरकारने स्पष्ट किया था की, इस्राइल से कोई भी विमान पाकिस्तान पहुंचा नही है| इस विषय की जानकारी शरारती है, ऐसा दावा भी पाकिस्तान सरकारने किया था| इसे कुछ ही दिन हुए थे तभी रावळपिंडी के ‘नूर खान’ हवाई अड्डे के कर्मचारीने पाकिस्तान सरकार का रहस्य सामने लाया है| इस्राइल के तेल अवीव शहर से उडान भरने के बाद यह विमान पाकिस्तान में दाखल हुआ, यह जानकारी इस हवाई अड्डे के कर्मचारी ने उजागर की है|

एक विदेशी वृत्त संस्था ने यह जानकारी प्राप्त करने से पाकिस्तान में फिर एक बार विस्फोटक परिस्थिती निर्मण होने की आशंका है| पाकिस्तान ने देश की स्थापना के साथ ही इस्राइल के विरोध में भुमिका रखी है| इस देश का अस्तित्व हमे मान्य नही है, ऐसा भी पाकिस्तान ने घोषित किया था| आज भी पाकिस्तान के पासपोर्ट के उपर ‘इस्राइल के अलावा विश्‍व के अन्य सभी देशों के लिये वैध’ यह विधान है| इस तरिके से इस्राइल का द्वेष कर रहे पाकिस्तान में इस्राइली विमान उतरना और इस्राइली प्रधानमंत्री ने चोरी-छुपे पाकिस्तान की भेट करने की संभावनाच उग्रवादीयों को आगबबुला करने वाली है| यह जानकारी उजागर होने से प्रधानमंत्री इम्रान खान सरकार के विरोध में उग्रवादी नई मुहिम शुरू करने की कडी आशंका है|

इम्रान खान इन्हें ज्यू धर्मियों का समर्थन है और इसी के बल पर उन्हें पाकिस्तान की सत्ता हथियाना संभव हुआ, उग्रवादीयों से हो रहे इस आरोप की तीव्रता अब और बढने के संकेत मिल रहे है| पाकिस्तान के पूर्व तानाशाह परवेझ मुशर्रफ इन्होंने खुले तौर पर इस्राइल को मान्यता देकर इस देश के साथ राजनयिक संबंध शुरू करने की योजना प्रस्तुत की थी| इस्राइल और पाकिस्तान में बनी दुरता का बडा लाभ भारत ले रहा है, ऐसा मुशर्रफ इनका कहना था| लेकिन उनकी इस प्रस्ताव को पाकिस्तान में कडा विरोध हुआ था| प्रधानमंत्री इम्रान खान खुलकर इस्राइल के विरोध में भुमिका ले नही रहे, फिर भी चोरी-छिपे इस्राइल के साथ बातचीत कर रहे है, इन आरोपों के कारण उनके विरोधकों को अधिक बल प्राप्त हो रहा है| इसी लिये पाकिस्तान सरकार के विरोध में शुरू प्रदर्शन फिल हाल ठंडे पड रहे है फिर भी नये सिरे से भडक ने की आशंका है और इन प्रदर्शनों का सामना करना इम्रान खान की सरकार के लिये मुश्किल होगा।

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